दिल्ली के इंदिरा नगर गली नंबर 9 से प्रेम नाथ ने मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कंपनी में काम करने के दौरान उनकी ऊँगली कट गयी थी। ऊँगली कटने के बाद उन्हें कंपनी के द्वारा कोई आर्थिक सहायता नहीं दिया गया। साथ ही उन्हें कंपनी से भी निकाल दिया गया है

दिल्ली के इंदिरा नगर से रोहित ने मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि उनकी माँ कंपनी में जॉब करती थी। और काम के दौरान उनकी माँ की ऊँगली कट गयी थी। ऊँगली कटने के कारण उन्हें पेंशन तो मिल रही है लेकिन कंपनी उन्हें काम पे नहीं रख रही है

दिल्ली के इंदिरा नगर से दीपक ने मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि उनकी माँ कंपनी में जॉब करती थी। और काम के दौरान उनकी माँ की ऊँगली कट गयी थी। ऊँगली कटने के कारण उन्हें पेंशन तो मिल रही है लेकिन कंपनी के द्वारा कोई आर्थिक सहायता नहीं दिया गया। साथ ही उन्हें कंपनी से भी निकाल दिया गया है

ख़ुशी ने श्रमिक वाणी के माध्यम से बताया कि उनके पापा का नाम जीतेन्द्र है और काम करते दौरान उनकी चार उँगलियाँ कट गयी है। इसके लिए उन्हें कोई सहायता नहीं मिली है और कंपनी से भी उन्हें निकाल दिया गया है

दिल्ली आईएमटी मानेसर से राम करण ने श्रमिक वाणी के माध्यम से प्रसिद्ध कंपनियों में काम करने वाले कर्मचारी से बात की। उनसे बात करने पर उन्होंने बताया कि वे निर्माण कार्य करते हैं।कभी कभी काम की तलाश में दो दिन लग जाते हैं।बेरोजगार बैठने पर पैसे की कोई आस नहीं रहती।

तमिलनाडु तिरुपुर से मीना कुमारी ने श्रमिक वाणी के माध्यम से बताया कि श्रमिकों को वोट देने की व्यवस्था प्रसाशन को करानी चाहिए। ताकि वे जहाँ भी रहे वही से वोट दे सके ,क्योंकि कंपनी प्रबंधक उन्हें वोट देने के लिए छुट्टी नहीं देती है

उत्तरप्रदेश राज्य के उन्नाव से रामकरण श्रमिक वाणी के माध्यम से बताया कि उन्हें जयपुर में फंसे एक कारीगर द्वारा पता चला कि जयपुर में कई सिलाई कारीगरों का पैसा कंपनी प्रबंधन या ठेकेदार द्वारा नहीं दिया जा रहा है ,जिस कारण वे परेशान है

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दिल्ली एनसीआर श्रमिक वाणी के माध्यम से रीना परवीन की बातचीत तानिया से हुई तानिया बताती हैं मैं तारा लिमिटेड खिलौना फैक्ट्री में काम करती हूं हमारे यहां पर खिलौने बनते हैं हमारी फैक्ट्री में 28 वर्कर काम करते हैं इसमें से 10 महिलाएं 18 पुरुष काम करते हैं हमारा 3 महीने से पीएफ नहीं मिल रहा है और हमारा ईएसआई कार्ड भी नहीं बना हुआ है इलाज करने के लिए हमें सरकारी अस्पताल या प्राइवेट डॉक्टर को दिखाना पड़ता है तब हमारा इलाज होता है