झारखण्ड राज्य के हज़ारीबाग़ जिला से रंजन साझा मंच मोबाइल वाणी के माध्यम से जानना चाह रहे है कि छात्रों को छात्रवृति क्यों दी जाती है ?
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हमारे एक श्रोता तुषार ने साझा मंच मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि उन्हें मीना का अगला भाग सुन कर बहुत अच्छा लगा
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झारखंड से सर्वेश साझा मंच मोबाईल वाणी के माध्यम से प्रवासी मज़दूर नेता बीरबल पंडित से बात कर बता रहे हैं कि दूसरे राज्यों में काम कर रहे झारखंड के सत्तर से अस्सी प्रतिशत प्रवासी श्रमिक अपने घर वापस आ चुके हैं। गिरीडीह ज़िले से रोज़ एक से दो बस प्रवासी श्रमिकों को वापस काम पर बेंगलोर, मुम्बई, पूना इत्यादि जगहों पर लेकर जा रही है। बीरबल पंडित बता रहे हैं कि अब श्रमिकों की स्थिति बहुत ख़राब हो गयी है। कम्पनी के बुलावे पर वापस गए श्रमिकों को कार्यस्थल पर कोई सुविधा नहीं मिल रही है। वेतन भुगतान की भी कोई निश्चित व्यवस्था नहीं है। इसलिए भविष्य में उनकी वापसी निश्चित है।
मोबाइल वाणी के साझा मंच पर झारखंड से सर्वेश तिवारी बताते हैं कि ऐसे नागरिक जिनके पास किसी भी प्रकार के राशन कार्ड नहीं है उन्हें राज्य सरकार द्वारा झारखंड राज्य खाद्य सुरक्षा योजना के तहत स्थापना दिवस 15 नवंबर के मौके पर योजना का लाभ देने की घोषणा की गई।
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आपको बताना चाहते हैं कि किसी भी छात्र को छात्रवृत्ति के रूप में आर्थिक सहायता उसकी पढ़ायी पूरी करने के लिए दी जाती है, ताकि वह उसकी सहायता से अपनी पढ़ाई के खर्च पूरे कर सके, जैसे- उसके विद्यालय की फ़ीस, किताब-कॉपी का खर्च इत्यादि और आर्थिक अभाव में उसकी शिक्षा अधूरी न रह जाय, धन्यवाद।
Oct. 7, 2020, 2:53 p.m. | Tags: int-PAJ education stipend