चुनावी बॉंड में ऐसा क्या है जिसकी रिपोर्ट सार्वजनिक होने से बचाने के लिए पूरी जी जान से लगी हुई है। सुप्रीम कोर्ट की डांट फटकार और कड़े रुख के बाद बैंक ने यह रिपोर्ट चुनाव आयोग को सौंप दी, अब चुनाव आयोग की बारी है कि वह इसे दी गई 15 मार्च की तारीख तक अपनी बेवसाइट पर प्रकाशित करे।

दोस्तों, यह साल 2024 है। देश और विश्व आगे बढ़ रहा है। चुनावी साल है। नेता बदले जा रहे है , विधायक बदले जा रहे है यहाँ तक की सरकारी अधिकारी एसपी और डीएम भी बदले जा रहे है। बहुत कुछ बदल गया है सबकी जिंदगियों में, लेकिन महिलाओं की सुरक्षा आज भी एक बड़ा सवाल बना हुआ है। देश की सरकार तो एक तरफ महिला सशक्तिकरण का दावा करती आ रही है, लेकिन हमारे घर में और हमारे आसपास में रहने वाली महिलाएँ आखिर कितनी सुरक्षित हैं? आप हमें बताइए कि *---- समाज में महिलाओं की सुरक्षा को लेकर हमें किस तरह के प्रयास करने की ज़रूरत है ? *---- महिलाओं को सही आज़ादी किस मायनों में मिलेगी ? *---- और घरेलू हिंसा को रोकने के लिए हमें क्या करना चाहिए ?

Transcript Unavailable.

देश की राजनीति और चुनावों पर नजर रखने वाली गैर सरकारी संस्था एडीआर के अनुसार लगभग 40 फीसदी मौजूदा सांसदों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं, जिनमें से 25 फीसदी ने उनके खिलाफ हत्या, हत्या के प्रयास, अपहरण और महिलाओं के खिलाफ अपराध जैसे गंभीर आपराधिक मामले दर्ज होने की घोषणा अपने शपथ पत्र में की है। सांसदों के आपराधिक रिकॉर्ड का विश्लेषण उनके ही द्वारा दायर किये शपथ पत्रों के आधार पर किया गया है। अगर संख्या के आधार पर देखा जाए तो मोजूदा संख्या 763 लोकसभा और राज्यसभा) में से 306 सांसदों पर आपराधिक मामले दर्ज हैं। जिनमें से 194 पर गंभीर आपराधिक मामले हैं जिसमें हत्या, लूट और रेप जैसे गंभीर मामले हैं। जिनमें अधिकतम सजा का प्रावधान किया गया है।

एडीआर संस्था ने अपनी एक और रिपोर्ट जारी की है। इस रिपोर्ट में राजनीतिक पार्टियों की कमाई और खर्च का उल्लेख है। यह रिपोर्ट बताती है कि कैसे राजनीतिक पार्टियां अपने विस्तार और सत्ता में बने रहने के लिए बड़े पैमाने पर खर्च करती हैं। इस रिपोर्ट के मुताबिक देश के सबसे बड़े सत्ता धारी दल ने बीते वित्तीय वर्ष में बेहिसाब कमाई की और इसी तरह खर्च भी किया। इस रिपोर्ट में 6 पार्टियों की आय और व्यय के आधार पर तैयार किया गया है। इसमें भाजपा, कांग्रेस, आम आदमी पार्टी, सीपीआई एम और बीएसपी और एनपीईपी शामिल हैं। दोस्तों, *---- आपको क्या लगता है, कि चुनाव लडने पर केवल राजनीतिक दलों की महत्ता कितनी जरूरी है, या फिर आम आदमी की भूमिका भी इसमें होनी चाहिए? *---- चुनाव आयोग द्वारा लगाई गई खर्च की सीमा के दायेंरें में राजनीतिक दलों को भी लाना चाहिए? *---- सक्रिय लोकतंत्र में आम जनता को केवल वोट देने तक ही क्यों महदूद रखा जाए?

कल्याणपुर विधानसभा के चकमेहसी मंडल के सोमनाहा गांव में ग्राम परिक्रमा यात्रा किया गया। भाजपा किसान मोर्चा के जिला उपाध्यक्ष सह जिला कार्यक्रम प्रभारी कृष्ण गोपाल शर्मा के नेतृत्व में कार्यक्रम किया गया। जिसकी अध्यक्षता चकमेहसी मंडल अध्यक्ष ओमप्रकाश कुशवाहा ने की।

कल्याणपुर प्रखंड क्षेत्र के बागमती नदी के नामापुर घाट पर बन रहे उच्च स्तरीय आरसीसी पुल निर्माण कार्य का स्थल निरक्षण विधायक महेश्वर हजारी ने किया।इस दौरान उन्होंने कार्य की गुणवत्ता की पड़ताल करने के साथ स्थानीय लोगों से निर्माण कार्य की देख रेख करने की सलाह दी।इस दौरान उन्होंने क्षेत्र के स्थानीय लोगों की समस्या से अवगत होते हुए उसका निराकरण करने का आश्वासन दिया।मौके पर मुखिया राम विनोद ठाकुर, पैक्स अध्यक्ष गोपाल साह आदि थे।

कल्याणपुर प्रखंड क्षेत्र के कलौजर पंचायत स्थित छोटी सलहा गांव में बाहा नहर पर सोमवार को स्थानीय विधायक महेश्वर हजारी ने वैदिक मंत्र उच्चारण के बाद नारियल फोड़कर व फीता काट कर आरसीसी पुल निर्माण कार्य का शिलान्यास किया।पुल निर्माण की कुल लागत साढ़े तीन करोड़ की राशि से की जाएगी। इस दौरान समारोह को संबोधित करते हुए श्री हजारी ने कहा कि क्षेत्र के विकास उनकी पहली प्राथमिकता में शामिल है। मौके पर पूर्व मुखिया विजय कुमार शर्मा, जदयू प्रखंड अध्यक्ष राजकुमार सिंह,जेपी सेनानी सुरेंद्र ठाकुर ,भाजपा के जिला किसान मोर्चा के उपाध्यक्ष कृष्ण गोपाल शर्मा, श्याम नारायण शर्मा ,धीरज ठाकुर , मुखिया सुनील पासवान आदि मौजूद थे।

घरेलू हिंसा सभ्य समाज का एक कड़वा सच है।आज भले ही महिला आयोग की वेबसाइट पर आंकड़े कुछ भी हो जबकि वास्तविकता में महिलाओं पर होने वाली घरेलु हिंसा की संख्या कई गुना अधिक है। अगर कुछ महिलाएँ आवाज़़ उठाती भी हैं तो कई बार पुलिस ऐसे मामलों को पंजीकृत करने में टालमटोल करती है क्योंकि पुलिस को भी लगता है कि पति द्वारा कभी गुस्से में पत्नी की पिटाई कर देना या पिता और भाई द्वारा घर की महिलाओं को नियंत्रित करना एक सामान्य सी बात है। और घर टूटने की वजह से और समाज के डर से बहुत सारी महिलाएं घरेलु हिंसा की शिकायत दर्ज नहीं करतीं। उन्हें ऐसा करने के लिए जो सपोर्ट सिस्टम चाहिए वह हमारी सरकार और हमारी न्याय व्यवस्था अभी तक बना नहीं पाई है।बाकि वो बात अलग है कि हम महिलाओं को पूजते ही आए है और उन्हें महान बनाने का पाठ दूसरों को सुनाते आ रहे है। आप हमें बताएं कि *-----महिलाओं के साथ वाली घरेलू हिंसा का मूल कारण क्या है ? *-----घरेलू हिंसा को रोकने के लिए हमें अपने स्तर पर क्या करना चाहिए? *-----और आपने अपने आसपास घरेलू हिंसा होती देखी तो क्या किया?

विद्यापतिनगर लोकसभा चुनाव के मद्देनजर मंगलवार को जिलाधिकारी के निर्देश पर विद्यापतिनगर बीडीओ महताब अंसारी एवं थानाध्यक्ष फिरोज आलम ने संयुक्त रूप से प्रखंड के विभिन्न मतदान केंद्रों का भौतिक सत्यापन किया। इस दौरान अधिकारियों ने मतदान केंद्रों के भवन, शौचालय, पेयजल, बिजली सहित कई बिंदुओं पर गहनता से जांच कर जरुरी आवश्यकताओं को चिन्हित किया। बीडीओ महताब अंसारी ने कहा कि जिस मतदान केंद्र पर उक्त बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध नहीं है, वहां मतदान से पहले सारी व्यवस्था कर ली जाएगी। मौके पर थानाध्यक्ष फिरोज आलम समेत संबंधित बूथों के बीएलओ मौजूद थे।