कोटवा दिलमन छपरा का आशुतोष प्रिय ने इंटर विज्ञान में 446 अंक लाकर प्रखण्ड टॉपर बना है। बेहतर प्रदर्शन के बाद गांव और परिवार के सभी लोग खुशी में एक दूसरे को मिठाई खिलाई। आशुतोष को सभी विषय में डिस्टिंग्सन अंक आया है। उसे हिंदी में 91, अंग्रेजी में 92, भौतिकी में 87, रसायन विज्ञान में 82, गणित में 94 कुल 89.2 अंक प्राप्त किया। आशुतोष दिलमन छपरा के शिक्षक लोकप्रिय राजेश व सविता देवी का पुत्र है। उसने अपने सफलता का श्रेय दादा उमाकांत सिंह दादी सुनीता देवी व बड़े पापा राजन कुमार सिंह के आशीर्वाद व कठिन मेहनत को दिया है। वह यूएचएस टकटकापुर में पढ़ता था। व घर पर ही रह कर पिता के सानिध्य में इंटर की तैयारी किया। व आगे यूपीएससी की तैयारी कर देश की सेवा करना चाहता है।

भारत में शादी के मौकों पर लेन-देन यानी दहेज की प्रथा आदिकाल से चली आ रही है. पहले यह वधू पक्ष की सहमति से उपहार के तौर पर दिया जाता था। लेकिन हाल के वर्षों में यह एक सौदा और शादी की अनिवार्य शर्त बन गया है। विश्व बैंक की अर्थशास्त्री एस अनुकृति, निशीथ प्रकाश और सुंगोह क्वोन की टीम ने 1960 से लेकर 2008 के दौरान ग्रामीण इलाके में हुई 40 हजार शादियों के अध्ययन में पाया कि 95 फीसदी शादियों में दहेज दिया गया. बावजूद इसके कि वर्ष 1961 से ही भारत में दहेज को गैर-कानूनी घोषित किया जा चुका है. यह शोध भारत के 17 राज्यों पर आधारित है. इसमें ग्रामीण भारत पर ही ध्यान केंद्रित किया गया है जहां भारत की बहुसंख्यक आबादी रहती है.दोस्तों आप हमें बताइए कि *----- दहेज प्रथा को लेकर आप क्या सोचते है ? और इसकी मुख्य वजह क्या है ? *----- समाज में दहेज़ प्रथा रोकने को लेकर हमें किस तरह के प्रयास करने की ज़रूरत है ? *----- और क्यों आज भी हमारे समाज में दहेज़ जैसी कुप्रथा मौजूद है ?

समूह के लोन से बच्चो की पढ़ाई लिखाई करवाती है महिलाएं

सुनिए डॉक्टर स्नेहा माथुर की संघर्षमय लेकिन प्रेरक कहानी और जानिए कैसे उन्होंने भारतीय समाज और परिवारों में फैली बुराइयों के ख़िलाफ़ आवाज़ उठाई! सुनिए उनका संघर्ष और जीत, धारावाहिक 'मैं कुछ भी कर सकती हूं' में।

पीपराकोठी। चकिया प्रखंड के मकड़ी महुअवा गांव निवासी सत्यम कुमार ने जेईई मेन एग्जाम में 97.6 परसेंटाइल के साथ सफलता प्राप्त कर गांव और पंचायत ही नहीं बल्कि प्रखंड व जिले का नाम रौशन किया हैं।सत्यम व्यवसायी ध्रुव कुमार यादव का पुत्र है। उसकी माता ललिता देवी एक सफल गृहणी हैं। सत्यम ने दसवीं व बारहवीं कक्षा तक की पढ़ाई मोतिहारी के एक निजी विद्यालय से किया है। उसके बाद वह दो साल से पटना में तैयारी कर रहा था। सत्यम अपने सफलता का श्रेय माता पिता का आशीर्वाद व ईश्वर की अनुकम्पा सहित गुरुजनों की मार्ग दर्शन को देता है। बेटे के रिजल्ट पर पिता सहित पूरे परिवार में उत्सव का माहौल है। उन्होंने बताया कि सत्यम बचपन से ही काफी मेधावी रहा है। सभी कक्षाओं में वह बेहतर अंकों के साथ सफलता हासिल किया है।

हर्षोल्लास से मनाया गया सरस्वती पूजा व वसंत पंचमी का पर्व सुगौली,पू.च:--सरस्वती पूजा और बसन्त पंचमी का त्योहार पूरे धूमधाम से मनाया जा रहा है।प्रखंड में एक ओर जहां सरकारी और गैर सरकारी शैक्षणिक संस्थानों में माँ सरस्वती की पूजा अर्चना श्रद्धा भक्ति से की जा रही है। तो दूसरी ओर नगर और ग्रामीण क्षेत्रों में बसंत पंचमी और सरस्वती पूजा का उत्सव पूरे हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। इस अवसर पर स्कूल-कॉलेजों में ज्ञान,कला,विद्या और वाणी की देवी मां सरस्वती की प्रतिमा स्थापित की गयी और छात्र-छात्राओं ने पारंपरिक परिधनो में सज-धज कर पूरे विधि-विधान के साथ उनकी आराधना की। और माँ सरस्वती का पूजन किया गया। देवी मंदिरों पर प्रातः काल से हीं मॉ दर्शन के लिए भक्तों की भीड़ लगी रही। सुरक्षा व्यवस्था को लेकर पुलिस भी सतर्क रही। शिक्षण संस्थाओं में सरस्वती पूजा के मौके पर बच्चों द्वारा सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किया गया। चेम्बर्स ऑफ़ कॉमर्स अध्यक्ष अशोक कुमार गुप्ता ने कहा कि मां सरस्वती का पूजन बसंत पंचमी के दिन इसलिए भी किया जाता है कि इस दिन बसंत ऋतु का प्रारंभ माना जाता है इसलिए मां कल्याणी की पूजा इस कामना के साथ किया जाता है कि पूरे अखिल विश्व में विद्या,कला और कौशल का राज रहे।

दोनों बेटियों का पढ़ाई अच्छे से करा रही है दीदी

नमस्कार सुगौली से अमलालम खान विशेष रिपोर्ट सुगौली ब्लॉक श्यामपुर में एक उन्नत माध्यमिक प्लस टू स्कूल है और इसमें शिक्षण की प्रणाली अन्य स्कूलों से अलग है । स्कूल में शिक्षकों के आराम करने और बच्चों के नीचे से ऊपर तक धामपोड़ी में समय बिताने का कोई प्रभाव नहीं पड़ता है , जबकि स्कूल ऊपर से नीचे तक गंदगी से भरा होता है और शौचालय तक पहुंच नहीं होती है । दो सफाईकर्मी काम कर रहे हैं । विद्यालय परिसर के छात्रों के लिए अभी तक पीने के पानी की सुविधा नहीं है । विद्यालय के सामने का परिसर कचरे से भरा हुआ है और विद्यालय की खिड़की के टूटे हुए कांच के टुकड़े चारों ओर बिखरे हुए हैं । स्कूल के रखरखाव और पेंटिंग के लिए धन के बाद भी , केवल स्कूल के सामने के हिस्से और निचली मंजिल के कुछ हिस्सों को चित्रित किया गया है । कक्षा 1 से 12 तक के लिए कुल दस शिक्षकों की नियुक्ति की गई है , जिसमें इंटर के लिए एक शिक्षक भी शामिल है । गुरुवार को स्कूल की स्थिति को देखते हुए ऐसा लगा कि स्कूल की इमारत केवल सरकार के लिए है । खर्च करने के लिए केवल पैसा है , स्कूल में शिक्षा , सफाई , अनुशासन दूर नहीं है , लगभग तीन महीने पहले मिडिल स्कूल परिसर में लाखों रुपये से बना शौचालय पूरी तरह से ढह गया है । न्यायाधिकरण में कोई पाइप नहीं है , शौचालय की दवा है । उम्मीदवारों की टाइल्स टूटी हुई हैं , स्कूल भवन की खिड़कियां टूटी हुई हैं , कुल दो सौ छियासठ छात्र नामांकित हैं , जिनमें कक्षा एक से आठ तक के एक सौ इकासी छात्र और कक्षा नौ से बारह तक के एक सौ पाँच छात्र शामिल हैं , जिनमें से स्कूल को पूरा करना मुश्किल है ।

नमस्कार , यह विकास कुमार बोल रहे हैं और उनके गाँव की समस्या बहुत मायने रखती है । यह कम मात्रा में हो रहा है अब बच्चे ज्यादातर किसी गांव के हैं , माजरापुर मथुरापुर है और आप पर थोड़ा ध्यान दिया जाना चाहिए ताकि माजरापुर के बच्चे अच्छी तरह से शिक्षित हों और जब वे शिक्षित होंगे तभी वे समाज में नाम लाएंगे ।

2016 में 14% छात्र औपचारिक शिक्षा से बाहर थे जो कि देश में 2023 में भयानक सुधार होने के बाद भी अब मात्र 13.2 फीसद बाहर हैं ... 2016 में 23.4 फीसद अपनी भाषा में कक्षा 2 का पाठ नहीं पढ़ पाते थे आज 2023 में अति भयानक सुधार के साथ ये आंकड़ा 26.4 प्रतिशत है ... देश के आज भी 50 फीसद छात्र गणित से जूझ रहे हैं ... मात्र 8 साल में गणित में हालात बद से बदतर हो गए ... 42.7% अंग्रेजी में वाक्य नहीं पढ़ सकते हैं... अगर आप सरकार से जवाब माँगिए , तो वे कहती है कि वो लगातार बैठकें कर रहे हैं लेकिन असर की रिपोर्ट बताती है कि ये बैठकें कितनी बेअसर हैं... तो विश्व गुरु बनने तक हमें बताइये कि *-----आपके गांव या जिला के स्कूलों की स्थिति क्या है ? *-----वहां पर आपके बच्चों को या अन्य बच्चों को किस तरह की शिक्षा मिल रही है ? *-----और आपके गाँव के स्कूलों में स्कुल के भवन , बच्चों की पढ़ाई और शिक्षक और शिक्षिका की स्थिति क्या है ?

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Feb. 15, 2024, 1:28 p.m. | Tags: autopub