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झारखण्ड शिक्षा परियोजना परिषद स्कूली शिक्षा में मुखिया की भागीदारी को लेकर प्रखंड सह अंचल कार्यालय के सभागार में गुरुवार को एक दिवसीय मुखिया सम्मेलन का आयोजन बीआरसी पेटरवार की ओर से किया गया. सम्मेलन का उद्घाटन बीडीओ संतोष कुमार महतो, अतिरिक्त जिला कार्यक्रम पदाधिकारी उदय कुमार सिंह एवं मुखिया जनप्रतिनिधियों ने दीप प्रज्वलित कर संयुक्त रूप से किया. बीडीओ ने कहा कि राज्य में निःशुल्क एवं अनिवार्य बाल शिक्षा का अधिकार अधिनियम के तहत शिक्षा के विकास हेतु पंचायती राज संस्थान के प्रतिनिधियों को अत्यंत ही महत्वपूर्ण जिम्मेवारी दी गयी है. ग्राम स्तर पर मुखिया पंचायती राज संस्थान का प्रमुख प्रतिनिधि है. प्रारंभिक विद्यालयों के विद्यालय प्रबंधन समिति में पंचायती राज संस्थान के प्रतिनिधि को शामिल किया गया है. विद्यालय के सुचारू रूप से संचालन में इनकी अहम भूमिका है. देखा गया है कि जिस पंचायत के विद्यालयों का देखभाल पंचायत के मुखिया द्वारा किया जाता है, वैसे विद्यालयों में व्यवस्था व गुणवत्ता देखने को मिलता है. कहा कि निःशुल्क एवं अनिवार्य बाल शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2009 एवं नई शिक्षा नीति का प्रमुख उद्देश्य 3-18 आयु वर्ग के बच्चे को स्कूली शिक्षण व्यवस्था से जोड़ते हुए स्कूली शिक्षा पूर्ण कराना है. निःशुल्क एवं अनिवार्य बाल शिक्षा-अधिकार अधिनियम के तहत मुखिया को कई दायित्व सौपे गए हैं. सौपे गए अधिकार के तहत अपने क्षेत्राधीन 6-14 आयु वर्ग के सभी बच्चों का ग्राम शिक्षा रजिस्टर तैयार करना, प्राथमिक शिक्षा बीच में छोड़ने वाले बच्चों को चिन्हित कर उनका नामांकन पुनः विद्यालय में कराना, बच्चों को दी जाने वाली सुविधाओं का वितरण एवं मध्याहन भोजन वितरण का निरीक्षण करना, प्रारंभिक शिक्षा के लिए स्कूलों का सामाजिक अंकेक्षण एवं ग्राम सभा का आयोजन करना, क्षेत्र में  स्थित विद्यालयों का निरीक्षण करना एवं निरीक्षण टिप्पणी विद्यालय प्रबंधन समिति को उपलब्ध कराना, प्रारंभिक विद्यालयों के शिक्षकों (पारा शिक्षकों सहित) की नियमित उपस्थिति का निरीक्षण करना, विद्यालय में यह सुनिश्चित करना कि किसी भी बालक -बालिका के साथ से जाति, वर्ग, धार्मिक या लिंग संबंधी विभेद पैदा नहीं हो सके. बैठक में विभिन्न पंचायतों के मुखिया, बीपीओ इकबाल अतहर वारसी, कस्तूरबा गांधी उच्च विद्यालय के वार्डेन पूनम कुमारी, कम्प्यूटर ऑपरेटर कुमार कौशलेश सहित अन्य उपस्थित थे.

झारखण्ड राज्य के बोकारो जिला के जरीडीह प्रखंड से मोबाइल वाणी संवाददाता शिवनारायण महतो ने 29-12-2024 को ग्रामीणों के आग्रह पर एक समस्या, मोबाइल वाणी पर रिकॉर्ड किया था। जिसमे बताया गया था कि जरीडीह प्रखंड अंतर्गत,गायछंदा पंचायत के ग्राम तिरोटोला धवाटांड़ के नीचे टोला स्थित बजरंगबली मंदिर के पास का चापाकल लगभग दो महीने से ख़राब पड़ा हुआ था। ग्रामीणों को पानी की दिक्कत हो रही थी। मगर इसका सुध कोई भी जनप्रतिनिधि नही ले रहा था। इस खबर को मोबाइल वाणी पर प्रसारित किया गया और मोबाइल वाणी संवाददाता शिवनारायण महतो ने व्यापक पैमाने पर जनप्रतिनिधियों और विभागीय कर्मचारियों को खबर फॉरवर्ड किया और सुनाया । इसका असर यह हुआ कि पंचायत की मुखिया श्रीमती सोनी कुमारी ने त्वरित कार्यवाई करते हुए,ख़राब पड़े चापाकल की मरम्मत करवा दी। चापाकल की मरम्मत हो जाने से अब ग्रामीणों को पानी की समस्या से जूझना नही पड़ेगा।

बोकारो पुलिस लाइन स्थित फोरलेन से सप्तनपुर तक जाने वाली सड़क वर्षों से अंधेरी और सुनसान रहती थी। लेकिन समाजसेवी रतन लाल लाइक राजेश सिंह मृत्युंजय, जी. एन. के. पी. सिंह और अन्य लोगों ने जर्जर सड़क को रोशन करने के लिए खुद आर्थिक रूप से मदद कर लाइट की व्यवस्था की। विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।

चंद्रपुरा प्रखंड मुख्यालय के समक्ष पंचायत समिति सदस्य का आमरण अनशन 10 दिसम्बर से।विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।

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गर्री और कसमार वासी ग्रामीण कर रहे मुक्त कंठ से प्रशंसा मोबाइल वाणी के प्रयास की कर रहे तारीफ

दोस्तों, मोबाइलवाणी के अभियान क्योंकि जिंदगी जरूरी है में इस बार हम इसी मसले पर बात कर रहे हैं, जहां आपका अनुभव और राय दोनों बहुत जरूरी हैं. इसलिए हमें बताएं कि आपके क्षेत्र में बच्चों को साफ पानी किस तरह से उपलब्ध हो रहा है? क्या इसमें पंचायत, आंगनबाडी केन्द्र आदि मदद कर रहे हैं?आप अपने परिवार में बच्चों को साफ पानी कैसे उपलब्ध करवाते हैं? अगर गर्मियों में बच्चों को दूषित पानी के कारण पेचिस, दस्त, उल्टी और पेट संबंधी बीमारियां होती हैं, तो ऐसे में आप क्या करते हैं? क्या सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों से बच्चों का इलाज संभव है या फिर इलाज के लिए दूसरे शहर जाना पड रहा है? जो बच्चे स्कूल जा रहे हैं, क्या उन्हें वहां पीने का साफ पानी मिल रहा है? अगर नहीं तो वे कैसे पानी का इंतजाम करते हैं?

मुख्यमंत्री पशुधन विकास योजना के तहत बुधवार को पेटर वार प्रखंड अंतर्गत ओरदाना पंचायत सचिवालय में शिविर लगाकर प्रखंड के सात पंचायतों के लाभुकों के बीच बतख चूजा का वितरण किया गया. ओरदाना पंचायत की मुखिया इंद्रा देवी, उलगढ़ा मुखिया अरविंद कुमार मुर्मू और विधायक प्रतिनिधि कौशल्या देवी ने सात पंचायतों के 148 लाभुकों के बीच 90 और 75 प्रतिशत अनुदान पर बतख चूजा का वितरण किया. बतख चूजा का वितरण प्रखंड के ओरदाना, कोह, अरजुवा, चरगी, उलगढ़ा, सदमाकला और चांपी पंचायत के लाभुकों को अनुदान पर दिया गया. प्रखंड पशुपालन पदाधिकारी डॉ अनंत सागर ने बताया कि इस योजना के तहत एसटी और एससी के लाभुकों को 90 प्रतिशत और अन्य को 75 प्रतिशत अनुदान पर दिया गया है. एक यूनिट बतख चूजा में 15 बतख के बच्चें रहते हैं. मौके पर ओरदाना पंचायत के पूर्व मुखिया गुलाब चंद मांझी, शशि शेखर सहित लाभुक व ग्रामीण उपस्थित थे.