"गांव आजीविका और हम" कार्यक्रम के अंतर्गत कृषि विशेषज्ञ श्री जीबदास साहू आम के मंजर झड़ने के कारण और उपचार के बारे में जानकारी दे रहे हैं। पूरी जानकारी विस्तार से सुनने के लिए ऑडियो पर क्लिक करें.
मोबाइल वाणी और माय कहानी की खास पेशकश कार्यक्रम भावनाओं का भवर में। साथियों, वो कहते हाँ न की मन स्वस्थ तो तन स्वस्थ यानि की मानसिक और शारीरिक दोनों ही तरह से स्वस्थ रहना। हम खुद को हर रोज फ्रेश और तरोताज़ा महसूस करे इसके लिए जरुरी अपने मानसिक स्वास्थ्य का ख्याल रखना और यह हम सभी जानते भी हैं पर फिर भी हम इस मामले में बहुत ही लापरवाह होते हैं।क्यूंकि , शायद हम इस बात से अनजान होते हैं कि वास्तविक रूप में स्वास्थ्य का मतलब होता क्या है ? और हमारे जीवन में स्वास्थ्य की भूमिका क्या है? तो चलिए आज की कड़ी में इसी विषय पर बात करते हैं और जानते हैं कि हमारे लिए अपने स्वास्थ्य का ख्याल रखना क्यों महत्वपूर्ण है। क्यूंकि मानसिक विकार किसी की गलती नहीं इसलिए इससे जूझने से बेहतर है इससे जुड़ी पहलुओं को समझना और समाधान ढूंढना. तो आइये सुनते हैं स्वास्थ्य की महत्ता और स्वस्थ रहने के फायदों के बारे में। ....... साथियों अभी हमने सुना की हमारे लिए अपने स्वास्थ्य का ख्याल रखना क्यों महत्वपूर्ण है ? अब अगली कड़ी में जानेंगे की पैसो के बिना भी खुश कैसे रहा जाता है . तब तक आप हमें बताए कि आपको क्या लगता है, क्या स्वस्थ रहने का मतलब सिर्फ अपना वजन घटाना है? या फिर इसमें और भी कुछ चीजें होती है? आप के अनुसार मानसिक स्वास्थ्य हमारे शारीरिक स्वास्थ्य को किस प्रकार से प्रभावित करता है और क्या आप ने ऐसा होते हुए कभी देखा है ? अगर हाँ तो अपनी कहानी हमें बताएं।आपके अनुसार हमारे वे कौन कौन सी आदतें होती हैं जो हमारे स्वास्थ्य को प्रभावित करते हैं ? दोस्तों, अगर आज के विषय से जुड़े आपके मन में कोई सवाल है तो हमें जरूर बताएं अपने फ़ोन में नंबर 3 दबाकर। हम कोशिश करेंगे उनका जवाब ढूंढ के लाने की। साथ ही इसी तरह की और भी जानकारी सुनने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें https://www.youtube.com/@mykahaani
"गांव आजीविका और हम" कार्यक्रम के अंतर्गत कृषि विशेषज्ञ श्री जीबदास साहू आलू के भण्डारण घर पर कैसे करे इसके बारे में जानकारी दे रहे हैं। पूरी जानकारी विस्तार से सुनने के लिए ऑडियो पर क्लिक करें.
मोबाइल वाणी और माय कहानी की खास पेशकश कार्यक्रम भावनाओं का भवर में। दोस्तों, प्यार एक ऐसा शब्द है जो हर रिश्ते में एक अलग स्थान रखता है पर क्या आप जानते हैं कि प्यार का एक और रूप सेल्फ लव यानि कि खुद से प्यार भी होता है। तो चलिए आज की कड़ी में जानते हैं कि आखिर सेल्फ लव यानि कि खुद से प्यार आखिर होता क्या है और यह हमारे मानसिक स्वास्थ्य से कैसे जुड़ा हुआ है ? दोस्तों आज के समय में मानसिक स्वास्थ्य का ख्याल रखना हर किसी के लिए उतना ही जरुरी है जितना की हमें जीवित रहने के लिए खाना और पानी की, इसलिए खुद का ख्याल स्वयं रखें और स्वस्थ्य रहे। क्यूंकि मानसिक विकार किसी की गलती नहीं इसलिए इससे जूझने से बेहतर है इससे जुड़ी पहलुओं को समझना और समाधान ढूंढना. तो अब आइये सुनते हैं सेल्फ लव और इसके फायदे के बारे में....अब अगली कड़ी में जानेंगे कि हमारे लिए स्वस्थ्य रहना क्यों महत्वपूर्ण है। तब तक बात करते हैं सेल्फ लव के बारे में जी हां दोस्तों यह कहा जाता है कि दूसरों से पहले खुद से प्यार करना सीखो क्यूंकि जब एक इंसान खुद से प्यार करता है,खुश रहता है तो वो अपने आस पास के लोगों को भी खुश सकता है। पर क्या वास्तव में ऐसा होता है ?आपके नाज़रीय में सेल्फ लव का क्या मतलब है यानी की आप सेल्फ लव को कैसे देखते हैं और यह खुदगर्ज़ी से कैसे अलग है? अगर मानसिक स्वास्थ्य के दृष्टि से देखा जाए तो सेल्फ लव यानि कि खुद से प्यार करना और सेल्फ फॉर गिवनेस यानि की खुद को माफ़ करना हमारे मानसिक स्वास्थ्य से कैसे जुड़ा है ?आखिर ऐसा क्यों कहा जाता है कि लोग खुद से पहले दूसरों के बारे में सोचते हैं ? क्या सच में ऐसा होता है ? इस पर राय, प्रतिक्रिया या फिर इससे जुड़ा आपके मन में कोई सवाल है तो जरूर रिकॉर्ड अपने फ़ोन में दबाएं नंबर 3 . साथ ही इसी तरह की और भी जानकारी सुनने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें https://www.youtube.com/@mykahaani
बुढ़मू : बुढ़मू प्रखंड के खिजुरटोला में तीन दिवसीय भव्य यज्ञ सह संगीतमय श्री राम कथा का प्रारंभ शनिवार को भव्य कलश यात्रा के साथ हुआ। कलश यात्रा स्थानीय उत्तरवाहिनी नदी से प्रारंभ होकर यज्ञ स्थल पहुँची, जिसमें 551 कुंवारी कन्याओं व महिलाओं ने भाग लिया।
बुढ़मू : यादव परिवार में जन्म लिए लोग भगवान श्री कृष्ण के बताए मार्ग पर चलकर समाज में परिश्रम,धर्म, संस्कृति,न्याय, शिक्षा, भाईचारा के ध्वज को बुलंद कर सनातन समाज को मजबूती प्रदान करने में अपना योगदान दे क्योंकि यही हमें अपने आराध्य देव भगवान श्रीकृष्ण से प्राप्त हुआ है. उक्त बातें सीसीएल के सेवानिवृत्त अभियंता रामलायक सिंह ने रविवार को राय कोलियरी स्थित यादव परिवार के द्वितीय वार्षिक बैठक सह वनभोज कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कही. पिपरवार यादव परिवार द्वारा आयोजित इस बैठक को यादव समाज के रांची जिला अध्यक्ष रामविलास गोप, चतरा पुलिस एसोसिएशन के अध्यक्ष राहुल यादव, रामाशीष यादव, कृष्णा यादव,गोल्टेन प्रसाद यादव,श्री प्रसाद,प्रशांत यादव, डॉ.किशोर यादव,अजय यादव, उमेश यादव, मंटू यादव,प्रतिक यादव, मुन्ना यादव, गणेश यादव आदि ने भी संबोधित किया। बैठक में निर्णय लिया गया कि समय-समय पर परिवार के लोग आपस में मिलते-जुलते रहें और एक दूसरे का सुख-दुख में सहभागी बनकर परिवार के उत्थान में अपना योगदान दें। कार्यक्रम की अध्यक्षता सुशील यादव, संचालन रविन्द्र यादव और धन्यवाद ज्ञापन कृष्णा यादव ने किया। इस अवसर पर एसपी सुमन, गणेश यादव, कामेश्वर यादव, मनोज यादव, एवं यादव समाज के जिला मीडिया प्रभारी सह बुढ़मू के पत्रकार राजेश यादव, सुनील यादव सहित बड़ी संख्या में महिलाएं व बच्चे और परिवार से जुड़े रांची, चतरा, रामगढ़, बुढ़मू आदि से कई गणमान्य लोग मौजूद थे।
मोबाइल वाणी और माय कहानी की खास पेशकश कार्यक्रम भावनाओं का भवर में। दोस्तों यह सच है कि एक निर्णय इंसान का जीवन बदल देता है। अगर सही वक्त पर सही निर्णय लिया जाये तो जीवन सुधर जाता है। लेकिन जल्दबाजी में लिए गए एक गलत निर्णय इंसान को अर्श से फर्श तक ले आता है. पर यह भी सच है कि कोई भी निर्णय लेने में हमारा मन और मस्तिष्क का बहुत बड़ा योगदान होता है. जी हां दोस्तों हमारे द्वारा लिया जाने वाले हर निर्णय के पीछे हमारा मन मस्तिष्क का खेल होता है तभी तो हम कई बार मानसिक दबाव में आकर इतने उलझ जाते हैं कि हमें पता ही नहीं चलता कि आखिर सही डिसीजन यनि की निर्णय कब और कैसे लिया जाए। हम अपने जीवन में सही निर्णय ले सके इसके लिए जरूरी है की हम अपने मानसिक स्वास्थ्य का ख्याल रखें। क्यूंकि मानसिक विकार किसी की गलती नहीं होती। .......तो चलिए, आज की कड़ी में जानते हैं की हमारे फैसलों में मानसिक स्वस्थ्य की क्या भूमिका है और हमें मानसिक स्वास्थ्य का ख्याल कैसे रखना चाहिए। ...हां तो साथियों अभी आपने सुना की मानसिक तनाव का प्रभाव हमारे ऊपर कैसे पड़ता है। अब आप बताये कि क्या आपके साथ कभी ऐसा हुवा है कि आप जल्दबाज़ी में कोई फैसला लेने ही वाले थे पर ऐन वक्त पर किसी ने आप को रोक लिया हो और बाद में आप को समझ आया हो की आप का लिया गया फैसला गलत होता ? ऐसे स्थिति में कैसा अनुभव था आप का ? और आप के अनुसार हमारे ज़िन्दगी के फैसलों में करीबी लोगो की क्या भूमिका होती है ? क्या सच में ज़िन्दगी के बड़े फैसले हमें खुद ही लेने होते है ? या यह केवल एक सुनी सुनाई बातें है ?इस पर अपनी राय, प्रतिक्रिया या फिर इससे जुड़े आपके मन में कोई सवाल है तो वो भी हमें जरूर बताएं अपने फ़ोन में नंबर 3 दबाकर। साथ ही इसी तरह की और भी जानकारी सुनने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें https://www.youtube.com/@mykahaani
यह नौकरी उन लोगों के लिए है जो सुप्रीम कोर्ट ऑफ़ इंडिया के द्वारा निकाली गई जूनियर कोर्ट असिस्टेंट के 241 पदों पर काम करने के लिए इच्छुक हैं। वैसे उम्मीदवार इन पदों के लिए आवेदन कर सकते हैं, जिन्होंने किसी भी विश्वविद्यालय से ग्रेजुएशन किया हो। उम्मीदवार की न्यूनतम आयु सीमा 18 वर्ष और अधिकतम आयु सीमा 30 वर्ष होनी चाहिए। इच्छुक उम्मीदवार अपना आवेदन ऑनलाइन भर सकते हैं।अधिक जानकारी के लिए आवेदनकर्ता इस वेबसाइट पर जा सकते हैं। वेबसाइट है https://www.sarkariresult.com/2025/sci-junior-court-assistant-feb25/ .योग्य उम्मीदवारों का चयन ऑनलाइन परीक्षा के बाद किया जाएगा। याद रखिए इन पदों पर आवेदन करने की अंतिम तिथि 08/03/2025 है ।
प्रखंड के चकमें मदरसा में जलसा-ए-दस्तारबंदी का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि झारखंड सरकार में अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री हफीजुल हसन, विशिष्ट अतिथि अल्पसंख्यक कल्याण आयोग के उपाध्यक्ष शमशेर आलम उपस्थित हुए। कार्यक्रम की शुरुआत अतिथियों के स्वागत के बाद मुख्य अतिथि हफीजुल हसन के द्वारा फीता काटकर मंच का उद्घाटन किया गया। मौके पर वक्ताओं ने चकमें मदरसा की उपलब्धियों और इसके संचालन में हो रही कठिनाइयों से अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री को अवगत कराया।
बुढ़मू प्रखंड के ऑक्सफोर्ड हाईस्कूल आरा का वार्षिक उत्सव सह एग्जिबिशन कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्य अतिथि जैक के पूर्व अध्यक्ष डाक्टर अनिल कुमार महतो,पूर्व जिप उपाध्यक्ष रांची के पार्वती देवी, उपप्रमुख हरदेव साहू, बुढ़मू थाना प्रभारी रितेश कुमार महतो व अन्य अतिथियों ने संयुक्त रूप से किया. कार्यक्रम को संबोधित करते हुए अतिथियों ने कहा का ग्रामीण स्तर पर इस तरह के आयोजन से बच्चों के अंदर छिपी हुई प्रतिभा निखर कर सामने आती है. थाना प्रभारी रितेश कुमार ने कहा कि किसी भी बालिका को राह चलते कोई परेशानी हो तो 112 में फोन करें , इसके बाद प्रशासन द्वारा तत्काल सहयोग किया जाएगा. अतिथियों ने घुमकर बच्चों द्वारा बनाई गई प्रदर्शनी का अवलोकन किया, और उनकी हौसला अफजाई किया.