जलवायु की पुकार कार्यक्रम के अंतर्गत इस अंतिम प्रोमों में हम जानेंगे कि हमने जलवायु से सम्बंधित अनेक बातें की हैं और जानकारियों पर विचार भी किया है

दिल्ली एनसीआर श्रमिक वाणी के माध्यम से रीना परवीन की बातचीत फलक से हुई फलक बताती हैं पर्यावरण बचाना है तो अपने घर के आसपास पेड़ पौधे लगाने से सांस लेने में दिक्कत नहीं होती है बल्कि आराम मिलता है जबकि अब तो दिल्ली एनसीआर में पोलूशन की मात्रा भी बहुत ज्यादा बढ़ चुकी है जिसकी वजह से सांस लेने में दिक्कत हो रही है जगह-जगह फ्लाईओवर बन रहे हैं जैसे कि पोलूशन की मात्रा बहुत ज्यादा हो चुकी है बुजुर्गों को सांस लेने में मुश्किल हो गया है हम पेड़ पौधे लगाएंगे ताभी सांस लेने परेशानी नहीं होगी इसी तरीके से आप अपने घर के आस-पास पेड़ पौधे जरूर लगाइए ताकि पर्यावरण को भी फायदा पहुंचे और बुजुर्गों और बच्चों को भी फायदा मिलेगा अपने शरीर के लिए भी कुछ सोचे पेड़ पौधे लगाएंगे पेड़ पौधे लगाओगे तभी पृथ्वी पर हरियाली आएगी नहीं तो भयानक बीमारियां हमारा पीछा नहीं छोड़ेंगे

दिल्ली के श्री राम कॉलोनी से रीना की बातचीत श्रमिक वाणी के माध्यम से मुस्कान से हुई। मुस्कान बताती है कि पर्यावरण बचाना है तो अपने घर के आसपास पेड़ पौधे लगाने चाहिए। इससे सांस लेने में दिक्कत नहीं होती है बल्कि आराम मिलता है। अब तो दिल्ली एनसीआर में प्रदूषण की मात्रा भी बहुत ज्यादा बढ़ चुकी है ,जिसकी वजह से सांस लेने में दिक्कत हो रही है। जगह-जगह फ्लाईओवर बन रहे हैं , बुजुर्गों को सांस लेने में मुश्किल हो गया है। पेड़ पौधे लगाएंगे ताभी सांस लेने में परेशानी नहीं होगी। अपने घर के आस-पास पेड़ पौधे जरूर लगाइए ताकि पर्यावरण को भी फायदा पहुंचे और जीवों को भी फायदा मिलेगा

जलवायु की पुकार [ एक नए सफर का अंत ] कार्यक्रम के अंतर्गत हम जानेंगे की कैसे दुनिया भर में तापमान तेजी से बढ़ रहा है जिसके कारण लोगों के जीवन पर प्रभाव पड़ रहा है ।

दिल्ली के श्री राम कॉलोनी से रीना परवीन ,श्रमिक वाणी के माध्यम से कहती है कि बिमारियों से बचने के लिए घर के आसपास पेड़ पौधे लगाना चाहिए। पेड़ रहेगा तो स्वास सम्बन्धी समस्या नहीं होगी। दिल्ली एनसीआर में प्रदूषण बढ़ चुका है ,जगह जगह फ्लाईओवर बनने का कार्य चल रहा है। इस कारण वायु प्रदुषण बढ़ा है और बुजुर्गों को स्वास्थ्य सम्बन्धी समस्या हो रही है। इसीलिए पेड़ लगाना चाहिए ताकि पर्यावरण स्वच्छ रहे और मनुष्य स्वस्थ रहे

दिल्ली से राजेश कुमार पाठक मोबाइल वाणी के माध्यम से बताना चाहते है की, जलवायु परिवर्तन एक बहुत बड़ी समस्या बन गई है। कूड़ा-कचरा फेंके जाने से दूषित हो रहा नदी का पानी, हम अगर जलवायु परिवर्तन को कम करना है तो ज्यादा से ज्यादा पेड़ लगाना चाहिए और प्लास्टिक का इस्तेमाल हम सभी को बिलकुल नहीं करना चाहिए। प्लास्टिक हमारे पर्यावरण को बहुत पहुँचता है।

दिल्ली से राजेश कुमार पाठक मोबाइल वाणी के माध्यम से बताना चाहते है की, जलवायु परिवर्तन एक बहुत बड़ी समस्या बन गई है। कूड़ा-कचरा फेंके जाने से दूषित हो रहा नदी का पानी, लोग आज कल पेड़ लगा कम रहे है काट ज्यादा रहे है

झारखण्ड राज्य के पलामू जिला से शंकर पाल श्रमिक वाणी के माध्यम से बताना चाहती है की, बारिश नहीं होने के वजह से धान की खेती नहीं हो पा रही है, खेतो में बीज पड़े पड़े सुख रहे है । इसे वजह से किसानो को बहुत समस्या हो रही है। किसान अब सरकार से मदद की उम्मीद लगाए बैठे है।

जलवायु की पुकार [श्रोताओं की सरगम] कार्यक्रम के अंतर्गत हम जानेंगे अलग अलग लोगों के योगदान के बारे में की कैसे पर्यावरण के समस्याओं का समाधान निकाला जा सके।

उत्तर प्रदेश राज्य, चित्रकूट से अरुण मोबाइल वाणी के माध्यम से कह रहें हैं कि, इन्हें मोबाइल वाणी पर व्रिक्ख से सम्बंधित ऑडियो सुन कर काफी अच्छा लगा और इनका कहना है की श्रमिक वाणी काफी अच्छा प्लेटफार्म है। साथ ही कह रहें हैं की वृक्ष रोपण से संबधित काफी अच्छी जानकारियां मिली इस प्लेटफार्म से, और इस प्लेटफार्म के कारण सुदूर क्षेत्र में रहने वाले लोगों को अच्छी जानकारी मिलती है। साथ ही कह रहें हैं की वृक्छ को काटने के बजाय अधिक से अधिक वृक्छ लगाएं ताकि पर्यावरण सुधर सके