साथियों , कोरोना काल में बहुत से ऐसे परिवार हैं जिन्हें सरकार की उज्जवला योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा है. कई लोगों की शिकायत है कि उनके खाते में उज्जवला योजना की राशि नहीं आई, कुछ बतातें हैं कि उन्हें डीलर से सिलेंडर नहीं मिल रहा है. कई गरीब परिवार तो ऐसे हैं जो योजना के पंजीयन के लिए परेशान हैं.आखिर इस योजना का लाभ मिलेगा कैसे ? जानने के लिए इस ऑडियो को क्लिक करें

बिहार राज्य के जिला मुजफरपुर के प्रखंड मोतीपुर के पकरीबरावां से राजेश कुमार साथ में स्थानीय महिलाये मोबाइल वाणी के माध्यम से बता रही है कि कोरोना के समय सरकार ने सहायत राशि देने का वादा किया था। वह नहीं मिला ऊपर से अभी बाढ़ का कहर जारी है। गेहूं की फसल बर्बाद हो गया है। राशन में केवल चावल मिलता है। हमलोग कैसे जीवन यापन करेंगे

गारखा प्रखंड से अजय कुमार की रिपोर्ट। जनता की रिपोर्ट के अनुसार सरकारी महकमे से जनता को कोई लाभान्वित नहीं पहुंच रहा है जिसके कारण गरखा प्रखंड के केवानी क्षेत्र के ग्रामीण के द्वारा दिए हुए विचारों को ग्रामीणों ने व्यक्त किया और मोबाइल वाणी के साथ अपने मुद्दों को रखा

सोनपुर में कोरोना व बाढ़ से जनता कर रही त्राहिमाम सोनपुर -- सोनपुर प्रखंड के विभिन्न क्षेत्रों में आमजनता को जीना मुहाल हो गया है । एक तरफ कोरोना का डर तो दूसरी तरफ बाढ़ आने से आम जनता परेशानियों का सामना करना पड़ रहा हैं । सोनपुर के गोला बाजार स्थित मुगल कैनाल के सही ढंग से मरम्मती नहीं होने से नेशनल हाईवे 19 के बगल में चित्रसेनपुर के समीप बांध टूटने से अब पानी काफी तेजी से भरपुरा ,बाकरपुर, जहांगीरपुर ,मखदुमपुर ,इस्माइल चक, चितरसेनपुर, फकरबाद ,सबलपुर के साथ विभिन्न गाँव के घर के साथ खेतों के फैसले को बर्बाद करते हुए घरों में भी बाढ़ की पानी प्रवेश कर रहे हैं जिसके कारण अब कोरोना महामारी के डर से ज्यादा अब किसान को अपनी फसल की बर्बादी और घर की बर्बादी से डर सताने लगी है । हर बार सरकार से लेकर स्थानीय प्रशासन ,जनप्रतिनिधि बाढ़ आने के पूर्व बड़ी-बड़ी दावे व बातें करते हुय निजात दिलाने की बात करती है लेकिन उनकी सारे दावे व उनके कार्यप्रणाली को उस समय पोल खुलती है जब धरातल पर दावे की हकीकत देखी जाती है तो देखते और सुनते ही ऐसा लगता है उनकी सारे दावे झूठ की पुलिंदा बन कर रह गयी सही तरीके से धरातल पर कार्य नहीं होने के कारण हर साल जनता परेशान रहती है और हर साल आपदा से अपनी फसलें की बर्वादी व कई लोग अपनी जान गवा देते हैं लेकिन कोई ठोस कदम नहीं उठाने के कारण हर साल जनता परेशान होती रहती है और आपदा में अधिकारी से लेकर जनप्रतिनिधियों का मलाईदार बना कर आपदा चली जाती है और जनता अपने नसीबो को कोसते हुए सारे शिकवे को भूल जाते है ।

कोरोना के खिलाफ जंग लड़ रहे चिकित्सकों व स्वास्थ्य कर्मियों को दी जाएगी प्रोत्साहन राशि ,एक माह के मूल वेतन के समतुल्य प्रोत्साहन राशि देने की मिली स्वीकृति-- स्वास्थ विभाग छपरा: वैश्विक महामारी कोविड-19 के खिलाफ छिड़ी जंग में चिकित्सक व स्वास्थ्य कर्मी अपने कर्तव्यों का बखूबी निर्वहन रहे हैं। दिन-रात कोरोना की लड़ाई में अपना महत्वपूर्ण योगदान दे रहे हैं। ऐसे चिकित्सकों के लिए स्वास्थ्य विभाग ने एक अच्छी पहल की शुरुआत की है। वैश्विक महामारी कोरोना संक्रमण काल में स्वास्थ्य विभाग के सभी चिकित्सकों एवं स्वास्थ्य कर्मियों को 1 माह के मूल वेतन के समतुल्य प्रोत्साहन राशि देने का ऐलान किया गया है। इसको लेकर स्वास्थ्य विभाग की ओर से नोटिफिकेशन जारी कर दिया गया है। जारी नोटिफिकेशन में बताया गया है कि कोविड-19 के परिपेक्ष में राज्य के सभी चिकित्सकों एवं स्वास्थ्य कर्मियों के मनोबल को बनाए रखने के लिए वित्तीय प्रोत्साहन के रूप में एक माह के मूल वेतन के समतुल्य प्रोत्साहन राशि दिए जाने का निर्णय लिया गया है। प्रोत्साहन राशि के लिए चिकित्सक स्वास्थ्य कर्मी एवं स्वास्थ्य विभाग के अन्य कर्मी जिनके द्वारा कोरोना वायरस की रोकथाम एवं चिकित्सा में अपने कर्तव्यों का सम्यक निर्वहन किया गया हो उनको यह प्रोत्साहन राशि दी जाएगी। इसके लिए विभाग द्वारा चिन्हित नियमित एवं संविदागत कर्मी अहिर्त माने जाएंगे। सभी के संदर्भ में मूल वेतन का आधार 1 अप्रैल 2020 को प्राप्त मूल वेतन होगा। इस व्यय का वहन मांग संख्या 20 (स्वास्थ्य विभाग) के अंतर्गत चिकित्सकों एवं स्वास्थ्य कर्मियों के कार्यालय से संबंधित सुसंगत विपत्र कोड के सुसंगत विषय शीर्ष अंतर्गत वित्तीय वर्ष 2020-21 में उपबंधित राशि से की जाएगी। जारी नोटिफिकेशन में बताया गया है कि वैसे चिकित्सक एवं स्वास्थ्य कर्मी जिनके द्वारा कोविड 19 में अपने कर्तव्यों का निर्वहन नहीं किया गया है, उन्हें यह प्रोत्साहन राशि अनुमान्य नहीं होगा। इसे सुनिश्चित कराने के लिए जिम्मेदारी संबंधित कार्यालय प्रधान की होगी। कोविड-19 के खिलाफ पूरा देश जंग लड़ रहा है ऐसे में हमारे चिकित्सक व स्वास्थ्य कर्मी कोरोना योद्धा बनकर देश व समाज की रक्षा कर रहे हैं। ऐसे में हम सबकी जिम्मेदारी बनती है कि उनकी मनोबल को बढ़ाएं। इसी को ध्यान में रखते हुए स्वास्थ्य विभाग ने यह फैसला लिया है कि उन तमाम कोरोना योद्धाओं को प्रोत्साहन राशि दी जाएगी जो कोविड-19 के परिपेक्ष में अपने कर्तव्यों का बखूबी निर्वहन कर रहे हैं। कोरोना से जंग लड़ते लड़ते डॉक्टर और स्वास्थ्य कर्मी खुद कोरोना के चपेट में आ रहे हैं। ऐसे में उनकी भी विशेष रूप से ख्याल रखा जा रहा है। कोविड-19 पॉजिटिव बिना लक्षण वाले चिकित्सक एवं चिकित्सा कर्मियों और फ्रंटलाइनर वर्कर को सशर्त होम आइसोलेशन की सुविधा प्रदान की गई है। कई स्वास्थ्य कर्मी किराए के मकान में रहते हैं और घर पर सेल्फ आइसोलेशन एवं परिवारिक संपर्क को क्वारेंटिन करने की आवश्यक सुविधा उपलब्ध नहीं हो सकती है। इस को ध्यान में रखते हुए स्वास्थ विभाग की ओर से पेड आइसोलेशन की सुविधा प्रदान की गई है। ऐसे चिकित्सक या स्वास्थ्य कर्मी जिन्हें होम आइसोलेशन की सुविधा उपलब्ध नहीं है उनके लिए किराए के होटल में आइसोलेट किया जाएगा।ड्यूटी के दौरान कोरोना से अगर चिकित्सक व स्वास्थ्य कर्मियों की मौत होती है तो उनके स्वजन को सरकार के द्वारा 50 लाख का मुआवजा देने का प्रावधान भी पूर्व में किया गया है। कोरोना संक्रमित व्यक्ति के इलाज के दौरान कोई भी सरकारी, गैर सरकारी व संविदा आधारित चिकित्सक तथा कर्मी उसके प्रभाव में आकर ग्रसित होते हैं और उनकी मौत होती है तो उनके स्वजनों को 50 लाख रुपए की मुआवजा राशि दी जाएगी।

क्या आप जानते हैं लॉक डाउन में विद्यालय बंद है, लेकिन मध्याह्न भोजन योजना बंद नहीं बल्कि कुछ बदलावों के साथ अब भी हैं संचालित।लेकिन कुछ खामियों और जागरूकता की कमी के कारण कई विद्यार्थियों को इसका लाभ नहीं मिल पा रहा। लेकिन बड़ी ही सरलता से इन कमियों को दूर कर आप मध्याह्न भोजन योजना का लाभ ले सकते हैं। इस योजना से संबन्धित विस्तृत जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी जानकारी को और उठायें योजना का लाभ।

कोरोना महामारी के कारण बहुत से लोगो को अपनी नौकरी को छोड़ कर अपने राज्य वापस आना पड़ा. कई लोगो को उम्मीद थी कि उनके राज्य की सरकारें उनके लिए राहत सामग्री या वित्तीय सहायता उपलब्ध कराएंगी और कई राज्यों कराया भी . फिर भी बहुत से लोगो को मदद नहीं मिल पाईं . आखिर बिहार सरकार द्वारा 1000 रु. किसे दिया जाएगा ? जानने के लिए क्लिक करें

सारण जिला छपरा में रौज़ा वार्ड संख्या 44 में लॉकडाउन से उत्पन्न आर्थिक तंगी से परेशान युवक ने फन्दे से लटक कर आत्महत्या कर लिया, आत्महत्या करने वाले युवक का ना सच्चितानंद साह है जो स्वर्गीय शिवकुमार साह का बड़ा लड़का है आर्थिक तंगी से आत्म हत्या करने वाले युवक को दो लड़की और एक बेटा है जो अभी स्कूल में पढ़ाई करता है और पत्नी भी मानसिक रूप से अस्वस्थ्य है घर चलाने वाला अब कोई नहीं ना कोई और सहारा है आत्म हत्या करने वाले व्यक्ति को रहने के लिए घर भी नहीं जो दूसरे के मकान में आसरा लेकर रह रहा था अब देखना होगा की जिला प्रसासन और सरकार इस असहाय परिवार की किस प्रकार मदद करती है या यह आत्म हत्या एक घटना बन कर दब जाता है

मोतीपुर से राजेश कुमार की रिपोर्ट और आप सुन रहे हैं समाज की आवाज मोतीपुर के बरियारपुर पश्चिमी पंचायत के मुखिया पति वीरेंद्र सहनी जी से हुई बातचीत रोजी-रोटी अभियान को सफल बनाने के लिए मोबाइल बाणी रिपोर्टर पहुंचा बरियारपुर पश्चिमी पंचायत

महनार प्रखण्ड के पंचायत रोजगार सेवक रंजीत दास जी से हुयी बातचीत में उन्होंने बताया कि मनरेगा की योजनाओं से बाहर से आए मजदूरों को रोजगार उपलब्ध कराया जा रहा है। विशेष जानकारी के लिए ऑडियो सुनें...