गुरुवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा वर्चुअल माध्यम से चित्रकूट में श्री राम पथ गमन योजना के निर्माण कर्म का शिलान्यास किया गया ।मोहन यादव उपस्थित रहे । मुख्यमंत्री मोहन यादव ने चित्रकूट से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से संस्था दिवस समारोह का वर्चुअल शुभारंभ किया । प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वर्चुअल रूप से चित्रकूट में स्वदेश दर्शन योजना 2.0 के तहत मां मंदाकिनी घाट के उन्नयन और विकास कार्यों का भूमि पूजन किया । कार्यक्रम की अध्यक्षता मुख्यमंत्री मोहन यादव ने की , इस अवसर पर चित्रकूट में मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने सतना जिले में 139 करोड रुपए लागत के अन्य विकास कार्यों का लोकार्पण भूमि पूजन किया ।

दरअसल सतना जिले के मझगवां ब्लाक अंतर्गत शासकीय माध्यमिक शाला तुर्रा में पदस्थ प्राथमिक शिक्षक राय करण सिंह पर आरोप है कि वह शराब के नशे में दूध होकर विद्यालय आते हैं ।इतना ही नहीं उनके द्वारा में स्कूल के छात्र-छात्राओं के साथ अभद्रता की जाती है। इसके बाद मामले की जांच के लिए जिला शिक्षा अधिकारी द्वारा बीआरसीसी को निर्देश दिए गए। जांच प्रतिवेदन में बताया गया है कि छात्रों द्वारा की गई शिकायत सही पाई गई है। जिला शिक्षा अधिकारी ने शिक्षक रायकरण सिंह को तत्काल प्रभाव से निलंबित करते हुए विकासखंड शिक्षा अधिकारी रामपुर बाघेलान में पदस्थ कर दिया है।

समर्थन मूल्य पर गेहूं उपार्जन के लिए किसान पंजीयन की तिथि पूर्व में 1 मार्च निर्धारित की गई थी ।जिसे बढ़ाकर बाद में 6 मार्च कर दिया गया था ।लेकिन पिछले वर्ष की तुलना में इस वर्ष किसानों का पंजीयन बहुत कम हुआ है ।लिहाजा सतना जिले के बाकी किस भी पंजीयन कर सके इसके लिए पंजीयन की तारीख बढ़ाकर अब 10 मार्च कर दी गई है।

स्मार्ट सिटी सतना सिर्फ नाम की स्मार्ट रह गई है ।पिछले 8 वर्षों में शहर के विकास के नाम पर करोड़ों रुपए खर्च किए गए हैं। लेकिन शहर में एक भी ऐसी सड़क नहीं है जिसे देखकर कहा जा सके कि यह स्मार्ट सिटी सतना है ।शहर की हर गली हर मोहल्ले में नालियां जाम है सड़कों में गड्ढे हैं। लेकिन इन्हें दुरुस्त करने का काम नहीं किया जा रहा है। स्वच्छता के नाम पर कचरा गाड़ी चलाई जा रही है। इसके बाद भी हर गली चौराहे में कचरे के ढेर लगे हुए हैं। इंदिरा कॉलेज के सामने नाली जाम होने के कारण गंदा पानी सड़क पर बह रहा है। छात्र-छात्राएं मजबूर होकर गंदे बदबूदार पानी के ऊपर से गुजर रहे हैं।

राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग द्वारा टेली काउंसलिंग के माध्यम से बच्चों को मनोवैज्ञानिक सामाजिक सहायता प्रदान करने के लिए योग्य और परामर्शदाओं का एक नेटवर्क बनाया गया है ।

टाइफाइड का एकमात्र प्रभावी इलाज एंटीबायोटिक्स है। सबसे अधिक इस्तेमाल किया जाने वाला सिप्रोफ्लोक्सासिन (गैर- गर्भवती वयस्कों के लिए) और सेफ्ट्रिएक्सोन है। एंटीबायोटिक दवाओं के अलावा, पर्याप्त पानी पीना और खानपान का विशेष ध्यान रखना जरूरी है। अधिक गंभीर मामलों में, पेट में नुकसान पहुंचता है और सर्जरी की आवश्यकता हो सकती है।टाइफाइड के दौरान क्या खाएं-पीएं उबला हुआ पानी गाय का दूध नारियल पानी लौंग का पानी अगला लेख सेब, मौसम्बी, अनार, अंगूर, पपीता, मनुक्का दाना दलिया, चावल, मूंग की दाल की पतली खिचड़ी ऐप पर पढ़ें उबली हुई मूंग की दाल और चपाती सब्जियों में पालक, लौकी, गिलकी, करेला। पूरी तरह आराम करें नहाएं नहीं

हाल ही में हुई बारिश और ओलावृष्टि के कारण फसलें नष्ट हो गई हैं। जिसका मुआवजा दिलाए जाने की मांग करते हुए चित्रकूट क्षेत्र के किसानों ने तहसीलदार बिरसिंहपुर को ज्ञापन सौंपा है। किसानो ने भाजपा सरकार के संकल्प पत्र में की गई घोषणा अनुसार गेहूं 2700 रूपये तथा धान 3100 रूपये के रेट से खरीदी किए जाने की मांग की है।

पलटवार भी करता है टाइफाइड...डॉ. अजय मोहन के अनुसार, बुखार बना रहता है, लेकिन कोई बड़ी समस्या न आए तो तीन से चार हफ्तों में बीमारी अपने आप ठीक होने लगती है। जो लोग एंटीबायोटिक्स से ठीक हो जाते हैं, उनमें बीमारी के लौटकर आने की आशंका बनी रहती है। सावधानी न बरती जाए तो एक से दो हफ्ते बेहतर महसूस करने के बाद 10 फीसदी लोगों में बीमारी लौट आती है। अगला लेख अधिक जानकारी के लिए देखें: https://www.myupchar.com/disease/typhoid- fever

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