बिहार राज्य के जमुई जिला के गिद्धौर प्रखंड के सहरसा गांव से प्रिया कुमारी मोबाईल वाणी के माध्यम से बता रही हैं कि लड़का और लड़की में कोई फर्क नहीं करना चाहिए। दोनों को समान शिक्षा देना चाहिए। यदि लड़की को पढ़ाया जाये तो वो पढ़ लिख कर अपने समाज का नाम आगे कर सकती हैं और अपने बच्चों को भी पढ़ा लिखा सकती है
बिहार राज्य के जमुई जिला के गिद्धौर प्रखंड से सुजाता मोबाइल वाणी के माध्यम से गिद्धौर प्रखंड के सेवा गांव के सेवा पंचायत निवासी से साक्षात्कार लिया है। जिसमें उन्होंने बताया कि उनका एक बेटा और एक बेटी है और वह दोनों को पढ़ाती है और एक सामान व्यवहार करती हैं।उन्होंने बताया कि बेटी पढ़ लिख कर अपने पैरों में खड़ी हो सकती है। अपना व्यवसाय कर सकती है और एक अच्छी सी नौकरी कर सकती है अपने बच्चों का अच्छे से भरण पोषण कर सकती है अपने परिवार को और अपने गांव समाज को शिक्षित एवं सुराक्षित रख सकती है ।
बिहार राज्य के जमुई जिला के गिद्धौर प्रखंड से भारती कुमारी ने मोबाईल वाणी के माध्यम से बताया कि वे सातवीं क्लास में पढ़ती हैं। उनके स्कूल में खाना भी मिलता है। स्कूल दूर होने के वजह से उन्हें काफी दिक्कत होती है क्यूंकि उनके पास साईकिल की सुविधा नहीं है
बिहार राज्य के जमुई जिला के गिद्धौर प्रखंड से संध्या देवी ने मोबाईल वाणी के माध्यम से बताया बेटी को पढ़ाना अति आवश्यक है क्योंकि बेटी पढ़ लिखकर अपने पैर पर खड़ा हो सकती है और अपने समाज और अपने परिवार का नाम रोशन कर सकती हैं
बिहार राज्य के जमुई जिले के गिद्धौर प्रखंड अंतर्गत पूर्वी घुघूलडीह में मिथुन कुमार ने अशोक पंडित से "बेटियों की शिक्षा " विषय पर साक्षात्कार लिया। अशोक पंडित ने बताया कि बेटा और बेटी में भेदभाव नहीं होनी चाहिए और सभी को समान शिक्षा मिलनी चाहिए। विस्तार पूर्वक बातचीत सुनने के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी बात ।
बिहार राज्य के जमुई जिले के गिद्धौर प्रखंड से मोबाइल वाणी संवाददाता रंजन कुमार ने जानकारी दी कि बेटी की पढाई लिखाई,शादी विवाह आदि में हो रही परेशानी,बाल विवाह में अंकुश लगाने के लिए केंद्र सरकार ने बेटी के जन्म होने पर उसे सुकन्या समृद्धि योजना प्रारम्भ किया ताकि इस योजना से जुड़ कर गरीब परिवार के लोग अपनी बेटी की पढाई लिखे करवा सके लेकिन जानकारी के अभाव में बेटी के माता पिता सुकन्या समृद्धि योजना का लाभ नहीं उठा पा रहे हैं क्योंकि इस योजना की जानकारी ग्रामीण क्षेत्र के परिवारों को नहीं है। विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।
बिहार राज्य के जमुई जिला के गिद्धौर प्रखंड से सुबाषा जी मोबाइल वाणी के माध्यम से स्वेता कुमारी जी से बातचीत किया। बातचीत के दौरान श्वेता जी ने बताया की उनकी पढ़ाई अच्छी चल रही है। स्मार्ट फ़ोन नहीं होने के वजह से ये ऑनलाइन पढ़ाई नहीं कर पा रही थी
बिहार राज्य के जमुई जिला के गिद्धौर प्रखंड से गुड़िया कुमारी ने मोबाईल वाणी के माध्यम से बताया की, ये एक दिव्यांग लड़की है, ये अभी स्नातक की पढाई कर रही है। ये अपनी पढ़ाई इंटरनेट की मदद से करना चाहती है। लेकिन मोबाइल फ़ोन की सुविधा ना होने के वजह से ये ऐसा नहीं कर पा रही है
बिहार राज्य के जमुई जिले के गिद्धौर प्रखंड से रंजन कुमार ने मोबाईल वाणी के माध्यम से बताया कि बेटी पढ़-लिख कर समाज में परिवर्तन लाती है।समाज में बेटी को दुर्गा एवं लक्ष्मी का स्वरुप समझा जाता है और बेटी का मान-सम्मान भी किया जाता है।परन्तु समाज में कुछ ऐसे भी लोग हैं जो बेटी को बोझ समझते हैं। इस प्रकार की सोच के पीछे सबसे बड़ा कारण है दहेज-प्रथा। जिस परिवार में तीन -चार बेटियाँ जन्म लेती हैं ,उसके माता-पिता समय से पहले ही बूढ़े हो जाते हैं। आज के समाज में भी दहेज का दानव मुँह फाड़े खड़ा रहता है। आय दिन हम समाज में देखते हैं कि दहेज के कारण बेटियाँ आत्महत्या करने का प्रयास करती हैं,ताकि उनके माता-पिता को कोई परेशानी ना हो। अशिक्षित बेटी की शादी में दिक्कत होती है ,इसलिए बेटियों को शिक्षित तो किया जाता है परन्तु गरीबी और असुरक्षा के कारण उनकी पढ़ाई अधूरी रह जाती है।
बिहार राज्य के जमुई जिला के गिद्धौर प्रखंड से संगीता कुमारी मोबाइल वाणी के माध्यम से बता रही है कि जिस लड़की की शादी 15 साल से पहले हो जाता है यानी बाल विवाह हो जाता है उस लड़की का मानसिक शारीरिक एवं बौद्धिक विकास रूक जाता है और वह पढ़ाई से दूर हो जाती है क्योंकि जब वह ससुराल जाती है तो ससुराल में उसे कई तरह की परेशानियों का मुकाबला करना पड़ता है और वह उसी में उलझ कर रह जाती है