झारखंड राज्य के बोकारो जिला के नावाडीह प्रखंड से अंशु कुमारी अब मेरी बारी कार्यक्रम के माध्यम से बताती हैं कि युवाओ को युवा मैत्री केन्द्रो के बारे में पहल कोई जानकारी नहीं थी। लेकिन मोबाइल वाणी में चलाए गए कार्यक्रम अब मेरी बारी के माध्यम से जाना कि युवा मैत्री केन्द्रो में किशोर किशोरियों को मुक्त रूप यौन प्रजनन अंगो का इलाज किया जाता है। साथ ही इसकी जानकारी आंगनबाड़ी केन्द्रो में भी दी सहिया दीदी के द्वारा दी जाती है। वहीँ विद्यालय एवं महाविद्यालय में प्रजनन अंगों के बारे में जानकारी दी जाने लगी।

झारखंड राज्य के धनबाद जिला के राजगंज से अनीता कुमारी अब मेरी बारी कार्यक्रम के माध्यम से बताती हैं कि युवाओ को युवा मैत्री केन्द्रो के बारे में पहल कोई जानकारी नहीं थी। लेकिन मोबाइल वाणी में चलाए गए कार्यक्रम अब मेरी बारी के माध्यम से जाना कि युवा मैत्री केन्द्रो में किशोर किशोरियों को मुक्त रूप जानकारी तथा गुप्त रोगों की निःशुल्क इलाज की जाती है। साथ ही इसकी जानकारी आंगनबाड़ी केन्द्रो में भी सहिया दीदी के द्वारा दी जाती है। वहीँ विद्यालय एवं महाविद्यालय में प्रजनन अंगों के बारे में जानकारी दी जाने लगी।

झारखंड राज्य के बोकारो जिला के नावाडीह प्रखंड से पिंकी देवी अब मेरी बारी कार्यक्रम के माध्यम से बताती हैं कि युवाओ को युवा मैत्री केन्द्रो के बारे में पहल कोई जानकारी नहीं थी। लेकिन मोबाइल वाणी में चलाए गए कार्यक्रम अब मेरी बारी के माध्यम से जाना कि युवा मैत्री केन्द्रो में किशोर किशोरियों को गुप्त रूप यौन प्रजनन अंगो का इलाज किया जाता है। साथ ही इसकी जानकारी आंगनबाड़ी केन्द्रो में भी दी सहिया दीदी के द्वारा दी जाती है। वहीँ विद्यालय एवं महाविद्यालय में प्रजनन अंगों के बारे में जानकारी दी जाने लगी

झारखंड राज्य के बोकारो जिला के नावाडीह प्रखंड से ममता देवी अब मेरी बारी कार्यक्रम के माध्यम से बताती हैं कि युवाओ को युवा मैत्री केन्द्रो के बारे में पहल कोई जानकारी नहीं थी। लेकिन मोबाइल वाणी में चलाए गए कार्यक्रम अब मेरी बारी के माध्यम से जाना कि युवा मैत्री केन्द्रो में किशोर किशोरियों को गुप्त रूप यौन प्रजनन अंगो का इलाज किया जाता है। साथ ही इसकी जानकारी आंगनबाड़ी केन्द्रो में भी दी सहिया दीदी के द्वारा दी जाती है

हमारी एक श्रोता ने अब मेरी बारी मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि पहले युवाओं को युवा मैत्री के बारे में जानकारी नहीं थी परन्तु अब मेरी बारी अभियान के माध्यम से युवाओं को यह जानकारी मिली कि युवा मैत्री केंद्रों में किशोर-किशोरियों को गुप्त रोगों की जानकारी प्रदान करने के साथ साथ गुप्त रोगों का निशुल्क इलाज़ भी किया जाता हैं। इसके बाद से आँगनबाड़ी केंद्रों एवं ग्राम स्वास्थ्य समीति की सहिया दीदी द्वारा भी इसकी जानकारी दी जाती  हैं। यहाँ तक की विद्यालयों और महाविद्यालयों में भी प्रजनन अंगों में होने वाले रोगों की जानकारी दी जा रही हैं।

झारखण्ड राज्य के सराईकेला-खरसावां ज़िला के गमहरिया प्रखंड से सुजाता ज्योत्सि ने अब मेरी बारी मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि समाज की एक रूढ़िवादी भावना यह हैं कि लड़कों के जन्म होने पर उनकी पढाई और नौकरी की चिंता करते हैं पर लड़कियों के जन्म होते ही उनकी शादी की तैयारियाँ। यह भेदभाव बहुत ही गलत हैं। इसलिए अब मेरी बारी अभियान के माध्यम से ज़्यादा से ज़्यादा लड़कियाँ जागरूक हो और अपना निर्णय खुद से लेकर अपने जीवन में आगे बढ़े। परिवार के दबाव में आ कर कोई ग़लत फ़ैसला लेने से बचे।सुजाता ने यह भी बताया कि कई क्षेत्रों में अभी भी बाल विवाह होता हैं जिस कारण कुपोषित बच्चों की संख्या में भी बढ़ोतरी देखी जा रही हैं।

झारखण्ड राज्य के सराईकेला-खरसावां ज़िला के गमहरिया प्रखंड से सुजाता ज्योत्सि ने अब मेरी बारी मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि उन्हें अब मेरी बारी अभियान के द्वारा बहुत की जानकारियाँ मिली। उन्हें यौन स्वास्थ्य की जानकारी मिली , माहवारी के दौरान लड़कियों को सैनेटरी नैपकिन का इस्तेमाल करना चाहिए लेकिन ग़रीबी के कारण सैनेटरी नैपकिन ख़रीदने में असमर्थ रहती हैं इसलिए लड़कियों को विशेषकर सैनेटरी नैपकिन उपलब्ध करवाना चाहिए। कपड़ा का इस्तेमाल से गुप्तांग में समस्या आ जाती हैं जिससे लड़कियों के शिक्षा में बुरा असर पड़ता हैं। बाल विवाह के विषय में सुजाता का कहना हैं कि बाल विवाह होने से लड़कियों को बहुत परेशानी होती हैं और ज़ल्द गर्भधारण कर लेने से जच्चा-बच्चा के स्वास्थ्य में बुरा असर पड़ता हैं।सुजाता ने यह भी बताया कि उनके क्षेत्र के युवा मैत्री केंद्र में कॉउंसलर द्वारा युवाओं को अच्छे से जानकारी प्रदान की जाती हैं।

अब मेरी बारी अभियान के तेरहवीं कड़ी में साझा किया जाएगा बीतें लम्हों के बारें में  जिसमें किशोर-किशोरियों के स्वास्थ्य,शिक्षा ,पोषण,बाल विवाह जैसे विषयों एवं अधिकारों के प्रति जारूकता की बातें बताई गई हैं।

टिपि-टिप दीदी बता रही हैं कि बाल विवाह में लड़की गर्भवती हो जाती हैं तो बच्चे के भरण पोषण की पूरी ज़िम्मेदारी पिता की होती हैं। अगर पिता खुद नाबालिक होता है तो बच्चे की जिम्मेदारी किसे और किस प्रकार उठानी होगी ,ये सुनने के लिए क्लिक करें ऑडियो पर...

टिपि-टिप दीदी बता रही हैं कि अगर किसी कारणवश बाल विवाह हो जाता है तो कमिटी या नियुक्त अधिकारी द्वारा नाबालिक लड़की से पूछताछ की जाती हैं .... टिपि-टिप दीदी की पूरी बात सुनने के लिए क्लिक करें ऑडियो पर...