बिहार राज्य के जिला मुंगेर से बिपिन कुमार मोबाइल वाणी के माध्यम से बता रहे है कि 22 सितंबर से राष्ट्रीय पोषण अभियान के पोषण एवं वानिकी कार्यक्रम के तहत हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर इटहरी नौवागढ़ी मुंगेर में सीएचओ अर्चना कुमारी के नेतृत्व में पोषण वाटिका निर्माण के लिए फल, सब्जी और औषधीय पौधों का पौधारोपण किया गया।इस अवसर पर सीएचओ अर्चना कुमारी ने बताया कि "कुपोषण छोड़ पोषण कि ओर, थामें भोजन की डोर" थीम के तहत 01 से 30 सितंबर तक राष्ट्रीय पोषण माह मनाया जा रहा है। इस दौरान पोषण एवं वानिकी कार्यक्रम के तहत हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पर पोषण वाटिका का निर्माण कराया जा रहा है। इसके लिए फल, सब्जी के साथ कुछ औषधीय पौधों को लगाया गया है। इसके साथ ही यहां गर्भवती और धातृ महिलाओं को पोषण युक्त आहार लेने के लिए प्रेरित करने के लिए पोषण परामर्श केंद्र का संचालन किया जा रहा है। जिसमें इन सभी महिलाओं को अपने -अपने घरों में पोषण वाटिका का निर्माण करने के साथ- साथ उसके उत्पाद का अधिक से अधिक खुद के साथ अपने परिवार के सही पोषण के लिए इस्तेमाल करने के लिए जागरूक किया जा रहा है ताकि उनके परिवार में कुपोषण की समस्या समाप्त हो सके।
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बिहार के मधुबनी जिले में स्थित वाटसन उच्च विद्यालय के शिक्षक अब्बू हरैरा जी मोबाइल वाणी के माध्यम से बिहार सरकार द्वारा चलाया जा रहा बाल विवाह एवं दहेज़ प्रथा के खिलाफ अभियान के विषय में कहते कि राज्य में इस तरह के तहरीक का पहले से ही जरुरत रही है और आज भी है।सरकार द्वारा उठाई गई यह एक बेहतरीन कदम है लेकिन सरकार की यह पहल उस वक्त तक कामयाब नहीं हो सकता है जब तक आम लोग इस अभियान से नहीं जुड़ेंगे। अगर बात की जाये बेटियों की तो ये पुरानी बात है कि हर ज़माने में किसी न किसी तरह से बेटियों को जुल्म सहना पड़ा है।और आज भी हमारे समाज में बेटियां तेहरी मार बर्दास्त कर रही हैं। एक तो बेटियों को जन्म लेने से पहले ही मार दिया जाता है , दूसरी ओर जब बेटियां जन्म लेती हैं , तो सिर्फ घर के काम काज के लिए ही होती हैं उन्हें पढ़ाया नहीं जाता है।और जब बेटियों की शादी करनी होती है, तो बिना दहेज़ के वे अपनी बेटियों की शादी नहीं कर पाते हैं। अत: लोगों को ये समझना होगा की बेटियां किसी भी तरह से बेटों से कम नहीं होती हैं।और जिस तरह से लोग अपने बेटों को पढ़ाते हैं उसी तरह से अपनी बेटियों को भी शिक्षा दे।
बिहार के मधुबनी जिले में स्थित वाटसन उच्च विद्यालय के शिक्षकों ने मोबाइल वाणी के माध्यम से समाज में व्याप्त दहेज़ प्रथा पर आधारित बहुत ही खूबसूरत सामूहिक गीत प्रस्तुत किया है।
बिहार के मधुबनी जिला से टीएन ब्रह्मऋषि जी मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि मधुबनी के प्लस-टू वार्डसँग उच्च विद्यालय के शिक्षकगण ने बेटी पढ़ाओ ,बेटी बचाओ कार्यक्रम पर अपनी राय देते हुए कहते हैं कि सरकार द्वारा चलाये गए योजना बेटी पढ़ाओ ,बेटी बचाओ बहुत ही महत्वपूर्ण योजना है। खास कर बेटियों को विद्यालय जरूर भेजना चाहिए और उन्हें हर प्रकार की सुरक्षा प्रदान करानी चाहिए
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बिहार के मधुबनी जिला से टीएन ब्रह्मऋषि जी मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि मधुबनी के प्लस-टू वार्डसँग उच्च विद्यालय के शिक्षक हेमंत कुमार झा ने बताया कि बेटियों को बचाना अनिवार्य है साथ ही समाज के उत्थान के लिए यह पहली शर्त है क्योंकि पुरुष और नारी की समानता से ही समाज का कल्याण हो सकेगा। मध्यकाल में नारियों के प्रति भावनाओं में बदलाव हुई है ,शायद यही कारण है कि बेटियों को शुरू से ही कम प्राथमिक्ता मिली।
बिहार के मधुबनी जिला से टीएन ब्रह्मऋषि जी मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि मधुबनी के प्लस-टू वार्डसँग उच्च विद्यालय के शिक्षकगण ने बताया कि सरकार द्वारा चलाई जा रही बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान बहुत ही अच्छी योजना है। इन कुरीतियों के खिलाफ हमें आवाज़ उठानी चाहिए।
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