ये किरण यादव अहमदाबाद, गुजरात से बोल रही हैं, जो दिहाड़ी मज़दूर हैं। अपने दो बच्चों और पति के साथ लॉक डाउन में फंसी हैं। इन्हें अभी तक कोई मदद नहीं मिली है और इन्हें डर है कि कोरोना से नहीं, बल्कि भूखमरी से मर जाएँगी। साझा मंच के माध्यम से मदद की गुहार लगा रही हैं।