सुनिए डॉक्टर स्नेहा माथुर की संघर्षमय लेकिन प्रेरक कहानी और जानिए कैसे उन्होंने भारतीय समाज और परिवारों में फैली बुराइयों के ख़िलाफ़ आवाज़ उठाई! सुनिए उनका संघर्ष और जीत, धारावाहिक 'मैं कुछ भी कर सकती हूं' में...
सुनिए डॉक्टर स्नेहा माथुर की संघर्षमय लेकिन प्रेरक कहानी और जानिए कैसे उन्होंने भारतीय समाज और परिवारों में फैली बुराइयों के ख़िलाफ़ आवाज़ उठाई! सुनिए उनका संघर्ष और जीत, धारावाहिक 'मैं कुछ भी कर सकती हूं' में...
दोस्तों, मोबाइलवाणी के अभियान क्योंकि जिंदगी जरूरी है में इस बार हम इसी मसले पर बात कर रहे हैं, जहां आपका अनुभव और राय दोनों बहुत जरूरी हैं. इसलिए हमें बताएं कि आपके क्षेत्र में बच्चों को साफ पानी किस तरह से उपलब्ध हो रहा है? क्या इसमें पंचायत, आंगनबाडी केन्द्र आदि मदद कर रहे हैं?आप अपने परिवार में बच्चों को साफ पानी कैसे उपलब्ध करवाते हैं? अगर गर्मियों में बच्चों को दूषित पानी के कारण पेचिस, दस्त, उल्टी और पेट संबंधी बीमारियां होती हैं, तो ऐसे में आप क्या करते हैं? क्या सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों से बच्चों का इलाज संभव है या फिर इलाज के लिए दूसरे शहर जाना पड रहा है? जो बच्चे स्कूल जा रहे हैं, क्या उन्हें वहां पीने का साफ पानी मिल रहा है? अगर नहीं तो वे कैसे पानी का इंतजाम करते हैं?
दोस्तों, एक बार फिर से उन्हीं दिनों को जीने की कोशिश करते हैं अपने बच्चों के संग उनके बचपन को एक त्यौहार की तरह मनाते हुए हंसते हुए, खेलते हुए, शोर मचाते बन जाते हैं उनके दोस्त और जानने की कोशिश करते हैं इस बड़ी सी दुनिया को उनकी आंखों से | घर और परिवार ही बच्चों का पहला स्कूल है और माता पिता दादा दादी और अन्य सदस्य होते हैं उनके दोस्त और टीचर हो. साथ में ये भी कि बच्चों के दिमाग का पचासी प्रतिशत से अधिक विकास छह वर्ष की आयु तक हो जाता है.
साथियों, हमें बताएं कि क्या आपके क्षेत्र के सरकारी जिला अस्पतालों, उपस्वास्थ्य केन्द्रों, स्वास्थ्य केन्द्रों, आंगनबाडी में पानी की कमी है? क्या वहां प्रशासन ने पानी की सप्लाई व्यवस्था दुरूस्त नहीं की है? अगर अस्पताल में पानी नहीं मिल रहा है तो मरीज कैसे इलाज करवा रहे हैं? क्या पानी की कमी के कारण बीमार होते हुए भी लोग इलाज करवाने अस्पताल नहीं जा रहे? या फिर आपको अपने साथ घर से पानी लेकर अस्पताल जाना पड़ रहा है? अपनी बात अभी रिकॉर्ड करें, फोन में नम्बर 3 दबाकर.
चेवाड़ा अंबेडकर भवन में आंगनबाड़ी सीडीपीओ के नेतृत्व में पोषण पखवाड़ा मनाया गया. पोषण पखवाड़ा कार्यक्रम में विभिन्न आंगनबाड़ी केंद्र के सेविका हुई शामिल. कार्यक्रम में प्रवेश का द्वारा गर्भवती महिलाओं एवं बच्चों को संतुलित आहार लेने का सुझाव दिया गया .कार्यक्रम में अभियान के तहत फलाहार पोषण आहार के संबंध में विस्तृत जानकारी सेविका को दी गई. साथी ही लोगों को पोषण युक्त आहार के बारे में बताया गया. वहीं गर्भवती महिलाओं एवं बच्चों को संतुलित आहार लेने का सुझाव दिया गया. मौके पर विभिन्न प्रकार की सब्जी एवं फल से कुपोषण के जन जागरूकता के तहत प्रदर्शनी लगाई गई .मौके पर सीडीपीओ अमृता रंजन ने कहा कि सामुदायिक स्तर पर गर्भवती एवं धात्री महिलाओं किशोरियों तथा 6 वर्ष से कम उम्र के बच्चों के पोषण स्तर में सुधार लाने के जन आंदोलन के रूप देने का प्रयास किया जा रहा है.पोषण पखवाड़ा के तहत मोटे अनाजों को इस्तेमाल पर जोर दिया गया. इस दौरान आंगनबाड़ी सेविका, पर्यवेक्षिका,प्रखंड विकास पदाधिकारी बिपीन कुमार,सीडीपीओ अमृता रंजन इत्यादि लोग मौजूद थे.
आंगनबाड़ी केंद्रों पर नियमित टीकाकरण कार्य हुआ शुरू चेवाड़ा शेखपुरा चेवाड़ा नगर पंचायत के विभिन्न आंगनबाड़ी केंद्रों पर नियमित टीकाकरण किया गया. शून्य से पांच वर्ष तक के बच्चों को जानलेवा बीमारियों से बचाने के लिए नियमित टीकाकरण एवं जच्चा-बच्चा की सुरक्षा को लेकर गर्भवती महिलाओं को आंगनबाड़ी केंद्रों पर बुधवार को टीकाकरण किया गया. आंगनबाड़ी केंद्रों पर शून्य से पांच वर्ष के बच्चों को जरूरत के अनुसार टीका एवं गर्भवती महिलाओं को टेटनस एवं डिप्थेरिया का टीका लगाया गया.इसके तहत संबंधित पोषक क्षेत्र की महिलाओं को आंगनबाड़ी केंद्र पर एकत्रित कर एएनएम, सेविका द्वारा उन्हें स्वस्थ रहने एवं साफ-सफाई के प्रति जागरूक किया गया.वहीं, एएनएम, सेविका सहायिका इत्यादि लोग मौजूद थे.
सीडीपीओ कार्यालय में सीडीपीओ के नेतृत्व में एक बैठक का किया गया आयोजन चेवाड़ा (शेखपुरा) गुरुवार को सीडीपीओ कार्यालय में सीडीपीओ के नेतृत्व में एक बैठक का किया गया आयोजन.इस बाबात जानकारी देते हुए सीडीपीओ अमृता रंजन ने बताया कि प्रधानमंत्री वंदना योजना, कन्या उत्थान योजना एवं अन्य योजना के बारे में चर्चा की गई .जिसमें विशेष रूप से आंगनबाड़ी केंद्रों पर बिजली का कनेक्शन कराया जाना है जिसको लेकर चर्चा की गई.इस दौरान प्रखंड क्षेत्र के सभी आंगनबाड़ी सेविका मौजूद थी.
घाटकुसुम्भा प्रखंड के डीहकुसुम्भा गांव के आंगनबाड़ी केंद्र संख्या 24 पर गुरुवार को एएनएम सलिता कुमारी की अध्यक्षता में सास-बहू सम्मेलन का आयोजन किया गया। इस आयोजन में आठ जोङी सास बहूओं ने भाग लिया। मौके पर सास बहू के बीच एक मौखिक प्रतियोगिता भी आयोजित की गई।
आंगनवाड़ी सेविका के साथ सीडीपीओ अमृता रंजना कि हुई बैठक हुई जिसमें 10फरबरी से फलेरिया का दवा खिलाना होगा शुरू चेवाड़ा (शेखपुरा) समेकित बाल विकास परियोजना कार्यालय में सीडीपीओ अमृता रंजना के साथ एक बैठक हुई जिसमें 10 फरबरी से शुरू होने वाले फाइलेरिया उन्मूलन अभियान को लेकर चर्चा की गई . वहीं फाइलेरिया रोग व उससे बचाव के संबंध में जिला फाइलेरिया ऑफिसर ने आंगनबाड़ी सेविका को जानकारी दिया तथा आंगनबाड़ी सेविका को सीडीपीओ के द्वारा बताया गया कि आंगनवाडी सेविका अपने-अपने पोषक क्षेत्र में जा जा कर घर घर फलेरिया की गोली लोगों को खिलाएंगे उन्होंने बताया कि फलेरिया रोग हो जाने के बाद वह बीमारी जल्दी जाती ही नहीं जिसको लेकर सभी आंगनबाड़ी सेविकाओं को दिशा निर्देश भी दिया गया की कोई व्यक्ति फलेरिया की गोली खाने से छुटे ना.