उत्तरप्रदेश राज्य के जिला बस्ती से रमजान अली , मोबाइल वाणी के माध्यम से यह बताना चाहते है कि महिलाएं आत्मनिर्भर हो रही है। महिलायें कटाई , बुनाई , सिलाई , ब्यूटी पार्लर काम ,बकरी पालन का काम और अन्य काम करती है। तो इस तरह के काम करके महिलाएं आत्मनिर्भर हो रही है।

उत्तरप्रदेश राज्य के जिला बस्ती से रमजान अली , मोबाइल वाणी के माध्यम से यह बताना चाहते है कि महिलाएं धान की रोपाई कर रही है। अधिक से अधिक महिलाएं खेती कर रही है। कई बार देखा जाता है की पुरुष काम नहीं कर रहे है जबकि महिलाएं पुरुष के मुकाबले अधिक कार्य कर रही है। अगर महिला शिक्षित नहीं है तो वहां पर महिलाओं को समानता की निगाह से नहीं देकते है। वहां भेद भाव किया जाता है। लोगों को शिक्षित और जागरूक होना चाहिए ताकि महिला और पुरुष में भेद भाव नहीं हो।

उत्तरप्रदेश राज्य के जिला बस्ती से रमजान अली , मोबाइल वाणी के माध्यम से यह बताना चाहते है कि महिला और पुरुष में समानता होना चाहिए। महिला और पुरुष में भेद भाव नहीं होना चाहिए। दोनों वर्ग को समान सम्मान मिलना चाहिए। अगर पुरुष पैसा कमा कर लाता है तो एक कुशल महिला उस पैसे से अच्छी तरह से घर चला सकती है।

उत्तरप्रदेश राज्य के जिला बस्ती से रमजान अली , की बातचीत मोबाइल वाणी के माध्यम से मोहम्मद जुनैद रजा से हुई। मोहम्मद जुनैद रजा यह बताते है कि महिलाओं को जमीन पर अधिकार मिलना चाहिए। महिला और पुरुष में समानता होना चाहिए। महिला और पुरुष का समान सम्मान होना चाहिए। दोनों में भेद भाव नहीं होना चाहिए

उत्तरप्रदेश राज्य के जिला बस्ती से विजय पाल चौधरी ,मोबाइल वाणी के माध्यम से यह बताना चाहते है कि पहले लोग पढ़े लिखे नहीं थे इसीलिए लड़का और लड़की में भेद भाव किया करते थे। लेकिन आज के समय में एसा नहीं है , जो शिक्षित वर्ग है वह अपने बच्चे को अच्छी शिक्षा देना चाहते है। जिनकी स्थिति उतनी अच्छी नहीं है वह अपने बच्चों को सरकारी संस्थानों में पढ़ा रहे है और जिनकी स्थिति अच्छी है वह अपने बच्चों को प्राइवेट स्कूलों में पढ़ा रहा है। लड़का और लड़की में भेद भाव नहीं होना चाहिए। दोनों को समान अधिकार मिलना चाहिए।

उत्तरप्रदेश राज्य के बस्ती ज़िला से प्रशांत श्रीवास्तव की बातचीत मोबाइल वाणी के माध्यम से सौरभ से हुई। ये बताते है कि पहले के समय में महिलाओं के पास कोई अधिकार नहीं था। महिलाओं के साथ बुरा व्यवहार होता था। महिलाओं को शिक्षा का अधिकार ,वोट देने का अधिकार नहीं था। पर्दा के पीछे रहना पड़ता था ,बाल विवाह की समस्या थी। उनके साथ बहुत अत्याचार होता था। लेकिन जब से संविधान बना है तब से महिलाएं सुरक्षित है और उन्हें कई अधिकार दिया गया है। समाज में महिलाएँ को पुरुष के बराबर का दर्जा दिया गया है। हर एक क्षेत्र में उन्हें पुरुषों के सामान आँका गया है। शिक्षा का अधिकार भी दिया गया है। वहीं अभी संसद में बिल भी पास हुआ है जिसके तहत महिलाओं को 33 प्रतिशत का आरक्षण संसद में मिला है।

उत्तरप्रदेश राज्य के बस्ती ज़िला से प्रशांत श्रीवास्तव की बातचीत मोबाइल वाणी के माध्यम से अरुण कुमार से हुई। ये बताते है कि पुरुष की अपेक्षा महिलाओं के पास कम अधिकार है। इस कारण महिलाएँ अपमानित होती है। अधिकार नहीं रहने से वो अयोग्य महसूस करती है। महिलाओं को उनका अधिकार देना बहुत ज़रूरी है। आज के समय में सरकार महिला के अधिकार के प्रति सचेत है। कुछ न कुछ नियम सरकार लाती है जिससे महिलाओं के सम्मान की रक्षा हो सके।

उत्तरप्रदेश राज्य के बस्ती ज़िला से मोहम्मद इमरान ,मोबाइल वाणी के माध्यम से कहते है कि देश में संपत्ति के अधिकार को लेकर तीन मुख्य कानून हैं- भारतीय उत्तराधिकार अधिनियम, हिंदू उत्तराधिकार अधिनियम और मुस्लिम पर्सनल लॉ। इन कानूनों के प्रावधानों के मुताबिक, सिर्फ शादी से एक महिला को अपने पति और ससुराल की संपत्ति में हक नहीं मिल जाता। पति के जीवित रहते उसकी स्वयं अर्जित संपत्ति पर पत्नी का कोई अधिकार नहीं होता. पति की मौत के बाद की पत्नी का हक होगा। महिला अपने पति से सिर्फ मेंटेनेंस पाने की हकदार है। अलग होने पर महिला अपने पति की संपत्ति में अधिकार नहीं मांग सकती। हिंदू उत्तराधिकार अधिनियम के सेक्शन 8 के तहत पत्नी का अपने ससुराल या पति के पैतृक संपत्ति पर कोई अधिकार नहीं होता है। पति की मौत के बाद यानी विधवा का अपने ससुराल की संपत्ति पर अधिकार होता है। वो उतना हिस्सा पा सकती, जितना उसके पति का बनता हो

उत्तरप्रदेश राज्य के बस्ती जिला से अरविन्द श्रीवास्तव ने मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि सदियों से समाज में यह चला आ रहा है कि महिलाओं को संपत्ति में अधिकार नहीं दिया जाता है। लेकिन आज के समय में महिलाएं हर जगह पुरुषों की बराबरी कर रही है। आज भी महिलाओं को अपना अधिकार प्राप्त करने के लिए कई बाधाओं का सामना करना पड़ता है।

उत्तरप्रदेश राज्य के बस्ती जिला से रमजान अली ने मोबाइल वाणी के माध्यम से हुसैन अली से बातचीत किया। बातचीत के दौरान उन्होंने बताया कि पहले की तुलना में अब महिलाओं को ज्यादा सम्मान मिलता है। साथ ही उन्होंने बताया कि पिता के संपत्ति में महिला को भी अधिकार मिलना चाहिए।