मऊ जिले के मधुबन तहसील क्षेत्र में श्रमायुक्त ने तीन बाल श्रमिको को मुक्त कराकर उनके परिजनों को सौंप दिया।
बालीपुर के सहायक उप श्रम आयुक्त प्रभात कुमार सिंह के नेतृत्व में तीन बाल मजदूरों के परिवार के सदस्यों को नोटिस जारी किया है । मंगलवार को श्रम प्रवर्तन अधिकारी लाइक अहमद और कोतवाल धर्मेन्द्र सिंह की टीम ने बाल श्रम को रोकने के लिए एक विशेष अभियान चलाया । परिवार के सदस्यों को सौंपते हुए तीनों दुकानदारों को नोटिस जारी किया गया था । श्रम प्रवर्तन अधिकारी ने तीनों दुकानदारों को इस सप्ताह के भीतर अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करने का निर्देश दिया यदि तीनों दुकानदारों ने इस सप्ताह के भीतर तीनों बच्चों को खो दिया है ।
जिले के अधिकांश चौक-चौराहे के होटल,गैरेज,दुकानों मे धडल्ले से बाल मजदूर काम कर रहे है। बालमजदूरी रोकने के नाम पर सरकारी/गैर सरकारी कोशिश नाकाम..... आईये सूनते है बालमजदूरी एक दस्तान....
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रुई गांव से बोल रहा हुं , बच्चों को बाल मजदूरी से कैसे मुक्त कराया जाए
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बाल श्रम रोकने में फेल विभाग, कागजों पर हो रही कार्रवाई शेखपुरा।। राज्य में बाल मजदूरी रोकने के लिए श्रम विभाग ने सभी प्रखंडों में पदस्थापित श्रम प्रवर्तन अधिकारीयों को वाहन सुविधा उपलब्ध कराकर बाल मजदूरी रोकने का निर्देश दिया है। बावजूद बाल मजदूरी को बड़े लोगों और माफियाओं ने किस प्रकार से अपना व्यापार बनाया है इसका नजारा क्षेत्र में इन दिनों आसानी से देखा जा सकता है। नन्हे-मुन्नो बालकों को चिमनी भट्ठों पर इंट उतारते,कबाड़ा खरीदने से लेकर सब्जी बेचते व किराना दुकान सहित कई शासकीय विद्यालयों एवं कार्यालयों में चाय पानी देते हुए भी आसानी से देखा जा सकता है, जिसके चलते नन्हे-मुन्नो बालकों का बाल्य जीवन नष्ट हो रहा है। वहीं जिले में बैठे जिम्मेदारों द्वारा बाल मजदूरी रोकने के लिए कागजी कार्रवाई की जाती है, जिसके चलते क्षेत्र में बाल श्रम बढ़ता ही जा रहा है। रविवार को स्टेशन रोड में ट्रैक्टर से ईंट उतरते इन मजदूरों ने साफ तौर पर बताया कि उन्हें किसी ने आज तक नही रोका और वह रोज ट्रैक्टर से ईंट उतारने शहर आता है। उसने बताया कि उसका किसी भी स्कूल में नाम भी नही लिखाया गया है। आश्चर्य तो तब होता है जब श्रम विभाग जो बाल मजदूरी रोकने के लिए संकल्पित है ,उसके पास अधिकारी है ,गाड़ी है संसाधन है तब भी बाल मजदूरी यह बताने के लिए पर्याप्त है कि जिले में निकम्मे अधिकारियों को देखने बाला कोई नही।श्रम बिभाग से अगर पूछा जाय की पिछले एक साल में कितने बाल मजदूर की बिमुक्त कराया गया है तो आंकड़ा हास्यास्पद होगा।
विकासखंड क्षेत्र की ग्राम पंचायत और ओरेनी सड़क निर्माण में नाबालिग का काम करते हुए वीडियो वायरल हो रहा है सड़क निर्माण ग्राम पंचायत की ओर से कराए जाने का दावा किया जा रहा है
बाल मजदूरी है देश के लिए हानिकारक
बिहार के सिवान जिले के भगवानपुर की रिपोर्ट: भगवानपुर हाट थाना क्षेत्र के मलमलिया चौक पर एक मिठाई दुकानदार के पर श्रम प्रवर्तन पदाधिकारी नरेश प्रसाद के आवेदन पर बाल मजदूरी कराने का प्राथमिकी दर्ज की गई है। थानाध्यक्ष रीतेश कुमार मंडल ने बताया कि श्रम प्रवर्तन पदाधिकारी भगवानपुर द्वारा मलमलिया स्थित अंकित मिष्ठान दुकान के संचालक लहुडी कौडिया निवासी अवध नारायण महतो के खिलाफ बाल मजदूर भिड़वानिया निवासी मिथुन महतो के पुत्र आकाश कुमार से होटल में काम कराने के आरोप में प्राथमिकी दर्ज कराई है।
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बालवाणी पर अपणा सवाल पुछ ने केलीये धन्यवाद. आपके सवाल का जवाब है, बच्चों को शिक्षा में रुचि लेनी चाहिए, माता-पिता को बच्चों की शिक्षा के लिए समय देना चाहिए।माता-पिता और बच्चों को शिक्षा के महत्व को समझना चाहिए। उम्मीद है आपको आपके सवाल का जवाब मिल गया होगा|बालवाणी के साथ जुडने केलीये धन्यवाद ,बालवाणी पर आगे भी ईसी तरह से ऐसे अपने सवाल पुछते रहीये|
Feb. 21, 2024, 1:18 p.m. | Tags: Episode BV-UGC Positive child labour Question BV