सोनो( जमुई)/ शिक्षा के मंदिर में जहां नौनिहालों के भविष्य की इबारत लिखी जाती, जब इसी मंदिर में भविष्य के इबारतकर्ता द्वारा अमर्यादित और असामाजिक कार्यों को अंजाम देने का कार्य किया जाता तो वाकई समाज के सामने एक विकट और गंभीर समस्या आन पड़ती। शिक्षक समाज का दर्पण है जो समाज में रहने वाले बच्चों के भविष्य का निर्माण अपनी प्रतिभाओं के द्वारा सदियों से करता आ रहा, लेकिन वर्तमान शिक्षा व्यवस्था में जिस प्रकार शिक्षकों के मानसिक और शारीरिक दशा और दिशा बदल रही वह अपने आप में चिंता का विषय है। बटिया थाना अंतर्गत उत्क्रमित मध्य विद्यालय बुझायत में पढ़ने वाले दो शिक्षकों ने शिक्षा के मंदिर में ऐसे कार्यों को अंजाम दिया जिससे न सिर्फ शिक्षक समाज बल्कि पढ़ने वाले बच्चों के भी मन में शिक्षकों के प्रति अनादर की भावना घर कर गई। विगत दिनों विद्यालय के प्रांगण में प्रभारी प्रधानाध्यापक दशरथ शर्मा और शिक्षा सेवक प्रकाश कुमार बौद्ध के बीच हुई हाथापाई और मारपीट की घटना ने पूरे शिक्षक समाज को शर्मसार कर दिया। उक्त घटनाक्रम पर दोनों पक्षों द्वारा दिए गए बयान के आधार पर एक और जहां दशरथ शर्मा ने बताया कि शिक्षा सेवक प्रकाश कुमार बौद्ध द्वारा अपने पद का दुरुपयोग करते हुए हर समय अनावश्यक हस्तक्षेप का प्रयास किया जाता रहा है जिससे शिक्षण कार्य में बाधाएं उत्पन्न होती रहती है, किसी कार्य का विरोध करने के पश्चात शिक्षा सेवक ने विद्वेष की भावना से अपने परिजनों के साथ मिलकर विद्यालय प्रांगण में ही प्रभारी प्रधानाध्यापक के साथ मारपीट की घटना को अंजाम दिया जिसके गवाह विद्यालय में कार्यरत रसोईया और पढ़ने वाले बच्चे भी हैं। दरअसल शर्मा ने अपने साथ हुई आपबीती में यह भी बताया कि मारपीट की घटना में उनके आगे के चार दांत भी टूट गए साथ ही शरीर के कई जगहों पर अंदरूनी छोटें भी आई, दूसरी और अपना पक्ष रखते हुए प्रकाश कुमार बौद्ध ने बताया कि प्रभारी प्रधानाध्यापक और विद्यालय प्रबंधन कमेटी के अध्यक्ष के पति मुकेश सिंह द्वारा उनके साथ गाली-गलौज करते हुए जाति सूचक शब्द का प्रयोग किया गया, जिसका विरोध करने पर दोनों ने मारपीट की घटना को अंजाम दिया। उपरोक्त घटनाक्रम में बटिया थाना में दिए आवेदन के आधार पर मामले की सत्यता के लिए टीम का गठन कर दिया गया जिसमें गहनता से छानबीन करने के उपरांत ही किसी नतीजे पर पहुंचा जा सकता है। प्रकाश बौद्ध ने बताया कि विद्यालय में किया जाता है दुर्व्यवहार विरोध करने पर दीया घटना का अंजाम