झारखण्ड राज्य के जिला बोकारो नावाडीह प्रखंड से संतोष कुमार साझा मंच मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि झारखण्ड राज्य में झारखण्ड सरकार द्वारा विभिन्न प्रकार के टेंडर निकाले जाते हैं। राज्य में सामुदायिक भवनों का निर्माण किया जाता है ,लेकिन मजदूरों को न्यूनतम मजदूरी भी नहीं दी जाती है।
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जी आपको बताना चाहेंगे कि हर राज्य सरकार की तरफ से साल में दो बार न्यूनतम वेतन में कुछ बदलाव या सुधार किये जाते है। उसी के अनुसार हर कार्य वर्ग में अलग अलग न्यूनतम वेतन निर्धारित किये है इसकी पूर्ण जानकारी आप श्रम विभाग में जाकर ले सकते है और साथ ही आप इसके वेबसाइट पर जाकर भी पता कर सकते है। न्यूनतम वेतन को तीन श्रेणिओं में बांटा गया है कुशल,अर्धकुशल, और उच्च कुशल श्रमिक। सरकार द्वारा न्यूनतम मजदूरी ना देना कानून का उल्लंघन है। हम आपके द्वारा बताये गए काम के बारे नहीं जानते हैं लेकिन यह सरकारी अनुबंध है इसलिए यह निर्माण क्षेत्र हो सकता है। झारखंड में न्यनतम मजदूरी कम से कम अकुशल श्रेणी के लिए 6,172 रु और कुशल के लिए प्रति माह 8,523 है ,जो प्रति सप्ताह48 घंटे से अधिक नहीं है।इसके अलावा, श्रमिकों को समय पर भुगतान नहीं किया जाता है और न ही महीने के अंत में पूर्ण निपटान दिया जाता है। यह पेमेंट ऑफ वेजेस एक्ट का उल्लंघन है। हम कैसे कार्रवाई कर सकते हैं? आप किसी भी क्षेत्र में काम शुरू करने से पहले कंपनी में काम करने का सभी नियम और शर्तों को जान लें और साथ ही सबूत भी ले लें,इसके लिए आप साझा मंच मोबाइल वाणी पर बात पते की कार्यक्रम सुन सकते है।
July 31, 2019, 9:57 p.m. | Tags: int-PAJ