दोस्तों, लिंग आधारित हिंसा के खिलाफ सक्रियता के 16 दिन पूरे होने हो हैं... लेकिन हमारा अभियान बदलाव का आगाज जारी है... इस कार्य क्रम में हमने बीते कुछ दिनों में बहुत सी कहानियां सुनी...इन सभी ने हमें प्रेरित भी किया और सोचने पर मजबूर भी...! सोचना ये है कि आखिर कैसे लिंग और पहचान, ऊँच और नीच, अमीर और गरीब, रंग और भेद के नाम पर हिंसा के इस क्रम को रोका जा सकता है..? अगर आपके पास जवाब है तो जरुर रिकॉर्ड करें. साथ ही अपने आसपास से ऐसी और भी कहानियां लेकर हमारे पास आएं... अपनी बात रिकॉर्ड करने के लिए फोन में अभी दबाएं नम्बर 3.