मुंगेर, 7 मई। कोरोना की चौथी लहर आने की संभावनाh बनी हुई है । ऐसे में कुछ लोगों में इसको लेकर डर भी पैदा हो गया है, लेकिन लोगों को इससे डरने के बजाय कोरोना से सतर्क रहने की जरूरत ज्यादा है। यदि लोग सतर्क रहेंगे तो कोरोना की चपेट में आने से बचे रहेंगे। इसलिए कोरोना का डर मन से निकाल दीजिए और घर से बाहर जाते वक्त मास्क लगाइए और सामाजिक दूरी के नियम का पालन कीजिए। पिछली तीन लहरों के दौरान देखा गया है कि जो लोग सतर्क रहे, वे लोग कोरोना की चपेट में आने से बचे रहे। इसलिए सतर्कता पर ध्यान देने की जरूरत है।जिला प्रतिरक्षण पदाधिकारी डॉ. राजेश कुमार रौशन ने बताया कि कोरोना ही नहीं, बल्कि किसी भी बीमारी से बचाव में सतर्कता सबसे बड़ा हथियार होता है। कोरोना में भी यही बात लागू होती है। कोरोना को लेकर तो पिछले दो सालों का लोगों के पास अनुभव भी है और आदत भी । अभी भी सतर्क रहने की आदत को बरकरार रखने की जरूरत है। बहुत सारे लोग अभी भी मास्क लगाकर ही घर से बाहर निकलते हैं, लेकिन कुछ ऐसे भी लोग हैं, जो इसका पालन नहीं करते। ऐसे लोगों को सावधान रहने की जरूरत है। कोरोना से बचाव एक तरह से सामूहिक जिम्मेदारी है। जिसमें सभी लोगों को अपनी भूमिका निभाने की जरूरत है।