लालगंज प्रखंड के बीआरसी भवन में गुरुवार को सांझा प्रयास नेटवर्क एवं औलिया अध्यात्मिक अनुसंधान केन्द्र की ओर से सुरक्षित गर्भ समापन कार्यक्रम के तहत आंगनबाड़ी दीदी को जानकारियाँ दी गईं। आईपास डेवलपमेंट फाउंडेशन के रिसर्च एंड ट्रेनिंग कोऑर्डिनेटर राम कृष्णा ने विशेष श्रेणी की महिलाओं के गर्भ समापन की अवधि 20 से 24 सप्ताह तक बढ़ाये गए संशोधित कानून के बारे में बताया। बताया गया कि 1971 से पूर्व किसी भी प्रकार का गर्भ समापन अवैध माना जाता था। गर्भ समापन के लिए बड़ी कठिनाइयां होती थी। अनेक तरह के घरेलू उपायों से गर्भ समापन करने की प्रक्रिया में महिलाओं की मृत्यु हो जाती थी। जिसे रोकने के लिए 1971 में एमटीपी एक्ट बना। इसके बाद से सुरक्षित गर्भ समापन की प्रक्रिया शुरू हुई। विस्तृत जानकारी के लिए ऑडियो पर क्लिक करें।