उत्तरप्रदेश राज्य के गोंडा जिला से माधुरी श्रीवास्तव मोबाइल वाणी से बता रही हैं कि घरेलू हिंसा से महिलाओं का संरक्षण अधिनियम का उद्देश्य महिलाओं को घरेलू हिंसा से बचाना और पीड़ित महिलाओं को सहायता प्रदान करना है। उन लोगों को सुरक्षा प्रदान करना जो परिवार के भीतर किसी भी प्रकार की हिंसा, शारीरिक दुर्व्यवहार यानी शारीरिक पीड़ा, जीवन की हानि या स्वास्थ्य के लिए खतरे से पीड़ित हैं। यौन उत्पीड़न दुर्व्यवहार एक महिला की गरिमा का उल्लंघन इनकार शोषण अतिक्रमण या मौखिक और भावनात्मक दुर्व्यवहार उपहास आर्थिक शोषण मानसिक उत्पीड़न या वित्तीय संसाधनों से वंचित होना, जिसके कारण कोई भी हकदार है, सभी घरेलू हिंसा के दायरे में आते हैं।