कोरोना संकट के बीच देश में करोड़ों गरीब बच्चे ऐसे हैं, जिन्हें स्कूल बंद होने और सरकारी लेटलतीफी के कारण मिड-डे मील मिलना मुश्किल हो गया है। मोबाइल वाणी के अगस्त -सितंबर 2020 के बीच हुए सर्वे में कई चौंकाने वाली बातें सामने आई हैं। बिहार , उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश और झारखण्ड में लॉकडाउन के कारण करीब 63 % बच्चों को मिड डे मील के बदले,सूखा राशन या कोई मौद्रिक सहायता नहीं मिल पाया है।

कोरोना माहामारी के कारण सारे स्कुल बंद है। और बच्चो को पढ़ने का मन नहीं कर रहा है। क्या आप भी परेशान है कि आपका बच्चा कैसे पढ़ेगा ? तो जानने के लिए इस ऑडियो को क्लिक करें

क्या कोरोना महामारी के कारण लगे लॉक डाउन के दौरान आप भी पोषणहार और मध्याह्न भोजन के लाभ से रह गए हैं वंचित...?? अगर हाँ तो सुने इस ऑडियो को और जाने कैसे हम इन योजनाओं का लाभ इस मुश्किल समय में भी बड़ी आसानी से ले सकते हैं...जागरूकता ही हमें अपने अधिकारों तक पहुँचा सकती है इसलिए सुनना ना भुलें इस जानकारी को।

क्या आप जानते हैं लॉक डाउन में विद्यालय बंद है, लेकिन मध्याह्न भोजन योजना बंद नहीं बल्कि कुछ बदलावों के साथ अब भी हैं संचालित।लेकिन कुछ खामियों और जागरूकता की कमी के कारण कई विद्यार्थियों को इसका लाभ नहीं मिल पा रहा। लेकिन बड़ी ही सरलता से इन कमियों को दूर कर आप मध्याह्न भोजन योजना का लाभ ले सकते हैं। इस योजना से संबन्धित विस्तृत जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी जानकारी को और उठायें योजना का लाभ

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