राजू सिंह चतरा,सिमरिया से झारखण्ड मोबाइल वाणी पर जानकारी दे रहे है की सिमरिया दो पंचायतो,दर्जनो गांवो से घिरा हुआ क्षेत्र है जिसमे मनरेगा अंतर्गत सड़क बनाने का कार्य चल रहा है जिसमे घोर अनिमित्ता बरती जा रही है. सड़क बनाने के क्रम में मिट्टी मात्र आधा फिट डाला गया है बरसात आने की वजह से मिटटी बह गयी है यह के स्थानीय लोगो को काम मिले इस उदेश्य से मनरेगा संचालित किया गया है पर इसमें इतनी भ्रस्टाचार है की जो लोग कम करते है उन मजदूरो का भी तत्काल में कुछ पैसा देकर निपटारा कर दिया जाता है सरकार की तरफ से जो पैसे मजदूरो के लिए आते है उसका निकासी किस तरह से किया जाता है यह आश्चर्य की बात है यहाँ के मुखीया और डाक विभाग तक के लोग इस बात खुलासा करने में कोई सकारात्मक कदम नहीं उठा रहे है यहाँ के लोगो को मनरेगा का उचित लाभ नहीं मिल पा रहा है और यहाँ के लोगो में भी जागरूकता की कमी है और सारा खेल सर्कार की बिहाफ में बिचोलिये के द्वारा संचालित होप्ता है अत: सरकार की तरफ से कोई सुनिश्चित हल निकल जाये।