भीषण गर्मी और लू के कारण स्वास्थ्य, पर्यावरण, कृषि और अर्थव्यवस्था पर गंभीर प्रभाव पड़ रहे हैं, इन सभी खतरों से निपटने के लिए हमें तैयारियां करनी होंगी।

गर्मी से बचने के लिए सभी जरुरी कदम उठाने होंगे | बिजली का जरुरत से ज्यादा इस्तेमाल ना करें, पानी का सही इस्तेमाल करें और जब तक ज़रूरी ना हो, घर से बाहर धुप में ना निकले |

उत्तर प्रदेश राज्य के सिद्धार्थनगर जिला से राहुल गुप्ता ने मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि जलवायु परिवर्तन के प्रमाण अलग-अलग स्रोतों से देखने को मिलता है। दुनिया भर में तापमान में वृद्धि और गर्मियों के दिनों में अत्यधिक तापमान। बर्फ की घटती मात्रा भी हिमालय और अन्य चोटियों पर जलवायु परिवर्तन का प्रमाण है।विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।

उत्तर प्रदेश राज्य के सिद्धार्थनगर जिला से राहुल गुप्ता ने मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि औसत तापमान,वर्षा,बर्फबारी आदि में होने वाले दीर्घकालिक परिवर्तन को जलवायु परिवर्तन कहा जाता है। विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।

उत्तर प्रदेश राज्य के सिद्धार्थनगर जिला से राहुल गुप्ता ने मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि प्राकृतिक संसाधनों के अत्यधिक दोहन से जलवायु परिवर्तन की गंभीर समस्या पैदा हो गई है। यदि समय पर जलवायु परिवर्तन को नहीं रोका गया तो लाखों लोग को भुखमरी और जल संकट का सामना करना पड़ेगा।विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।

उत्तर प्रदेश राज्य के सिद्धार्थनगर जिला से राहुल गुप्ता ने मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि विश्व पर्यावरण दिवस पर सिर्फ बड़ी-बड़ी बातें ही नही करनी चाहिए ,बल्कि पर्यावरण बचने की दिशा में काम करना चाहिए। विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।

उत्तर प्रदेश राज्य के सिद्धार्थनगर जिला से राहुल गुप्ता ने मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि 5 जून को पर्यावरण दिवस मनाया जाता है।इस दिन सभी लोगों को एक वृक्ष जरूर लगाना चाहिए ।

उत्तर प्रदेश राज्य के सिद्धार्थनगर जिला से राहुल गुप्ता ने मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि 2024 में विश्व पर्यावरण दिवस का नारा है "हमारी भूमि हमारा भविष्य" .हमारे देश में लोग गन्दगी फ़ैलाने में माहिर हैं। ऐसे लोगों के विरुद्ध कार्यवाई होनी चाहिए। विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।

हर साल 5 जून का दिन दुनियाभर में विश्व पर्यावरण दिवस के रूप में मनाया जाता है। वर्ष 1972 में पर्यावरण के प्रति वैश्विक स्तर पर राजनीतिक और सामाजिक जागृति लाने हेतु इस दिवस को मनाने की घोषणा संयुक्त राष्ट्र ने की थी। प्रकृति को प्रदूषण से बचाने के लिए पर्यावरण दिवस को मनाया जाता है. इस दिन लोगों को प्रकृति के प्रति जागरूक किया जाता है और प्रदूषित होने से बचाने के लिए प्रेरित किया जाता है.हर वर्ष विश्व पर्यावरण दिवस के लिए एक अलग थीम निर्धारित की जाती है। इस वर्ष (2024) विश्व पर्यावरण दिवस की थीम है, "भूमि पुनर्स्थापन, मरुस्थलीकरण, और सूखा लचीलापन।" यह स्वस्थ भूमि को वापस लाने,और पानी की कमी का प्रबंधन करने से जुड़ा है ।

उत्तरप्रदेश राज्य के सिद्धार्थनगर ज़िला से कीर्ति सिंह ,मोबाइल वाणी के माध्यम से कहते है कि पर्यावरण दिवस की हार्दिक शुभकामनाएँ दे रही है ।पीपल और नीम,बरगद के पेड़ को लगाना चाहिए। जिससे पर्यावरण संतुलित रहे