बिहार राज्य के जिला मुंगेर से विपिन कुमार मोबाइल वाणी के माध्यम से कहते है कि व्यर्थ के जल दोहन को रोकने के लिए सरकार तो निरंतर प्रयास करते ही हैं परंतु व्यर्थ जल दोहन की जटिल समस्या का समाधान होता नजर नहीं आता है। भूजल स्तर लगातार घटता ही जा रहा है लेकिन आज की युवा पीढ़ी शिक्षित होते हुए भी अपनी आदत में बदलाव नहीं कर पा रही है। जब तक आम आदमी की सोच शुद्ध नहीं होगी तब तक व्यर्थ का जल दोहन नहीं रुकेगा। जल ही जीवन है इस सत्य कथन को आज की पीढ़ी बिल्कुल ही समझना नहीं चाहती है। बिहार में ऐसे कई इलाके हैं जहां लोगों को शुद्ध पानी नहीं मिल पा रहा है, इसके लिए लोगों को संघर्ष करना पड़ता है और लोग अनेक बीमारियों से ग्रस्त होते चले जा रहे हैं। इसलिए हमें समय रहते व्यर्थ जल दोहन रोकने के लिए प्रयास करने होंगे तभी जल ही अमृत है और जल ही जीवन है का स्लोगन शब्दार्थ होगा।