पुस्तकालय और कंप्यूटर लैब की रखी आधारशिला

समग्र शिक्षा माध्यमिक से कैरियर गाइडेंस फॉर गर्ल्स प्रोग्राम के तहत राज्यकीय शिक्षकों को दिया जा रहा दो दिवसीय प्रशिक्षण समाप्त हो गया

प्रोफेसर बने वैभव तिवारी। थाना अतरौली क्षेत्र के श्यामदासपुर निवासी वैभव तिवारी ने नेशनल टेस्टिंग एजेंसी से जेआरएफ पार्टी गत परीक्षा पास कर हिंदी विषय के प्रोफेसर बने हैं वैभव ने अपनी सफलता का श्रेय गुण व माता-पिता को दिया है पिता सरोज वर्मा अर्चना तिवारी ने वैभव का मिठाई खिलाकर मुंह मीठा कराया है।

विकासखंड कछौना की ग्राम सभा दीन नगर के निवासी ऋषि सिंह की बिटिया पूर्णिमा सिंह का चयन दिल्ली पुलिस में हो गया है। पूर्णिमा सिंह की हाई स्कूल तक की शिक्षा कस्बे में स्थित जनता इंटर कॉलेज में की, उसके बाद स्नातक तक की शिक्षा कमीपुर महाविद्यालय से की। इस सफलता का श्रय माता-पिता गुरुजनों को देती हैं। महिला सशक्तिकरण में दिल्ली पुलिस सेवा में उत्तीर्ण कर अन्य बेटियों को उदाहरण प्रस्तुत किया हैं। बिटिया की सफलता से परिजन, गांव के लोग, साथी गणों में काफी खुशी है। बिटिया पूर्णिमा ने बताया बेहतर कानून व्यवस्था के लिए सदैव तत्पर रहेंगे।

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*सात्विक ने किया कमाल. PCS परीक्षा में पाया तीसरा स्थान, बताया सफलता का राज* *लोक सेवा आयोग के मंगलवार की देर शाम जारी परिणाम में हरदोई के लाल सात्विक श्रीवास्तव ने प्रदेश में तीसरा स्थान हासिल कर कमाल किया है* *दस्तावेज लेखक के पुत्र सात्विक श्रीवास्तव अपने माता-पिता को ही आदर्श मनाते हैं और तीसरे प्रयास में सफलता हासिल की है* परिणाम जारी होने के बाद बधाई देने वालों का तांता लग गया। सात्विक का कहना है कि देश और समाज की सेवा कर मिसाल कायम करना उनकी मंशा है। माता-पिता का सपना था बेटा बने अधिकारी मोहल्ला नवीपुरवा के जगदीश चंद्र श्रीवास्तव व चित्रा श्रीवास्तव के सात्विक श्रीवास्तव इकलौते पुत्र हैं। जगदीश श्रीवास्तव दस्तावेज लेखक हैं और उनका सपना था कि बेटा पढ़ लिख कर बड़ा अधिकारी बने। सात्विक ने सेंट जेवियर्स 2013 और 2015 में इंटर करने के बाद वर्ष 2020 में सिविल इंजीनियरिंग में बीटेक किया। पहले उन्होंने रेलवे में नौकरी की, लेकिन माता-पिता का सपना था कि वह प्रशासनिक अधिकारी बनें तो नौकरी छोड़कर तैयारी शुरू कर दी और तीसरे प्रयास में सफलता हासिल कर ली। ईमानदारी से करेंगे नौकरी सात्विक श्रीवास्तव का कहना कहना कि उनके माता-पिता ने काफी संघर्ष कर उन्हें पढ़ाया लिखाया। वह कहते हैं कि भगवान ने उन्हें जो मौका दिया है, उसका पूरी ईमानदारी से निर्वहन करना उनकी मंशा है। वह बताते हैं कि दो प्रयास में वह सफल नहीं हुए तो न उन्होंने हार मानी और न ही माता-पिता ने और माता-पिता उत्साह बढ़ाते रहे और उसी का परिणाम सामने आया। सात्विक के ताऊ ब्रजेश श्रीवास्तव कलेक्ट्रेट से सेवानिवृत्त कर्मचारी हैं। परिवार के बेटे की सफलता पर खुशियां छाई हैं।

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नगर स्थित सेठ बाबू राम भारतीय इंटर कॉलेज के पूर्व छात्र डॉ हिमांशु मिश्रा ने बुधवार को प्रार्थना सभा स्थल पर छात्र छात्राओ को कैरियर में सफल होने के लिए जरूरी टिप्स दिए है।कालेज के प्रधानाचार्य ने डॉ हिमांशु मिश्रा का धन्यवाद ज्ञापित कर स्वागत किया है।विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।

संगीत में भी है कॅरियर की राह

कारपोरेट कम्युनिकेटर विभिन्न योजनाओं को कंपनी से जुड़े लोगों तक पहुचाने का काम करता है।