कोरोना वायरस को फैलने से रोकने में हाथों की सफ़ाई एक प्रमुख कारक है. इस वजह से हाथों को साफ़ रखने वाले सैनिटाइज़र की माँग बाज़ार में बढ़ गई है. बाज़ार में सैनिटाइज़र की कमी को देखते हुए कई लोग सोशल मीडिया पर घर पर सैनिटाइज़र बनाने के तरीक़े समझाने लगे हैं। विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर। 

देश में बाल विवाह की घटनाएं सबसे अधिक बिहार, पश्चिम बंगाल और त्रिपुरा में देखी जा रही हैं. इन राज्यों में 40 फीसदी से अधिक लड़कियों की शादी 18 साल से कम उम्र में हुईं. राष्ट्रीय परिवार स्वास्थ्य सर्वेक्षण-5 के दौरान आंध्रप्रदेश (12.6 फीसदी), असम (11.7 फीसदी), बिहार (11 फीसदी), त्रिपुरा(21.9 फीसदी), पश्चिम बंगाल (16.4फीसदी) में 15 वर्ष से 19 वर्ष की आयुवर्ग में सबसे ज्यादा संख्या में महिलाएं या तो मां बन चुकी थीं या गर्भवती थीं.विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।

भारत की लगभग 69 प्रतिशत आबादी गांवों में रहती है और उसकी आमदनी का प्रमुख जरिया खेती है। किसानों की आमदनी को दोगुना करने संबंधी समिति ने 2017 में टिप्पणी की थी कि ग्रामीण आय या तो स्थिर है या कम हुई है. 2012 और 2017 के बीच औसत किसान परिवार की मासिक आय 8,000 रुपए से भी कम थी. 7.5 प्रतिशत की महंगाई दर के मुकाबले आय की वार्षिक वृद्धि दर 9.5 प्रतिशत थी, यानी आमदनी में होने वाली लगभग 80 प्रतिशत बढ़ोतरी खेती से जुड़े खर्चों में खप जाती थी। विस्तृत जानकारी के लिए ऑडियो पर क्लिक करें। 

देश के 22 राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों में किए गए राष्ट्रीय परिवार स्वास्थ्य सर्वेक्षण के मुताबिक, पांच राज्यों की 30 फीसदी से अधिक महिलाएं अपने पति द्वारा शारीरिक एवं यौन हिंसा की शिकार हुई हैं. वहीं, सामाजिक कार्यकर्ताओं और गैर-सरकारी संगठनों ने कोविड-19 महामारी के मद्देनजर ऐसी घटनाओं में वृद्धि की आशंका जताई है. महिलाओं के खिलाफ घरेलू हिंसा के मामलों में सबसे बुरा हाल कर्नाटक, असम, मिजोरम, तेलंगाना और बिहार में है. एनएफएचएस-5 सर्वेक्षण के मुताबिक, कर्नाटक में 18-49 आयु वर्ग की करीब 44.4 फीसदी महिलाओं को अपने पति द्वारा घरेलू हिंसा का सामना करना पड़ा.विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।

मतदाता पहचान पत्र अब डिजिटल होने जा रहा है, यानि बहुत जल्द वोट डालने के लिए आपका स्मार्टफोन ही काफी होगा जिसमें आपका चुनाव पहचान पत्र मौजूद होगा, चुनाव आयोग इस पर विचार कर रहा है, जिसे बहुत जल्द ही शुरू किया जा सकता है। विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।

दिल्ली सीमा से लगभग 70 किलोमीटर दूर दिल्ली-आगरा राष्ट्रीय राजमार्ग पर मध्यप्रदेश व उत्तर प्रदेश से आ रहे किसानों को रोक दिया गया।तब से ये किसान वहीं बैठे हैं. सिंघु व टीकरी बॉर्डर पर बैठे किसानों की तरह उनके पास राशन का इंतजाम है और इरादा बुलंद है। विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।

कोरोनावायरस के संक्रमण को रोकने के लिए लगाए गए लॉकडाउन के प्रभाव और इसके चलते आया आर्थिक संकट गरीब व कमजोर तबके के लिए मुसीबतों का सबब बना हुआ है. 11 राज्यों के गरीब व कमजोर तबके के करीब 4000 लोगों पर किए गए सर्वे में दो तिहाई आबादी ने बताया कि वे जो भोजन कर रहे हैं, वो लॉकडाउन से पहले के मुकाबले ‘कुछ हद तक कम’ या ‘काफी कम’ है. सितंबर और अक्टूबर में जब हंगर वाच को लेकर सर्वे किया गया था, तो पता चला कि हर 20 में से एक परिवार को अक्सर रात का खाना खाए बगैर सोना पड़ा.विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।

भय के इस माहौल में कई ऐसी जानकारियां सोशल मीडिया पर चल रही हैं, जिनमें दावा किया जा रहा है कि इनके इस्तेमाल से कोरोना वायरस के असर को कम किया जा सकता है. लेकिन ये तमाम जानकारियां ना सिर्फ़ भ्रांति फैला रही हैं बल्कि इनका उपयोग करना किसी भी व्यक्ति को अस्वस्थ कर सकता है। विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर। 

देश में जब किसान आंदोलन चरम पर है. कई तरह की मांगों को लेकर ठंड में भी किसान सड़क पर बैठे है. सरकार ने साल 2022 तक किसानों की आय दोगुना करने का लक्ष्य रखा है. तब यह जान लेना दिलचस्प है कि किसानों की कमाई वास्तव में कितनी होती है.विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर। 

शिक्षा मंत्रालय की ओर से जारीए नई स्कूल बैग नीति 2020 के अनुसारए दूसरी क्लास के बच्चों को होमवर्क नहीं दिया जाना चाहिए और उन्हें 2 किलो से ज़्यादा भारी बैग लेकर नहीं चलना चाहिए इसे 24 नवंबर को तमाम राज्य सरकारों के साथ साझा किया गया। विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।