भारत में लगातार कोविड-19 के सक्रिय मामलों में गिरावट दर्ज की गई है। आज यानी 28 मई 2023 को सक्रिय मामलों की संख्या 4,972 के आसपास बनी हुई है। 27 मई 2023 की सुबह आठ बजे केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक देश में सक्रिय मामलों की संख्या 5,259 थी, जबकि 26 मई को इनकी संख्या 5,707 दर्ज की गई थी।विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।
मौसम विभाग के अनुसार पश्चिमी विक्षोभ मध्य स्तरों में एक ट्रफ के रूप में उत्तर पश्चिम भारत के मौसम को बदल रहा है। निचले स्तरों में उत्तरी पाकिस्तान के ऊपर एक चक्रवाती प्रसार बना हुआ है। मौसम संबंधी इस गतिविधि के 25 और 26 मई को उत्तर पश्चिम भारत में आगे बढ़ने का अनुमान है।इस खबर को सुनने के लिए ऑडियो पर क्लिक करें।
भारत में लगातार कोविड-19 के सक्रिय मामलों में गिरावट दर्ज की गई है। आज यानी 26 मई 2023 को सक्रिय मामलों की संख्या 5,707 के आसपास बनी हुई है। केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक देश में सक्रिय मामलों की संख्या 6,168 थी,स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक पिछले 24 घंटों में 490 नए मामले सामने आए हैं। इस खबर को सुनने के लिए ऑडियो पर क्लिक करें।
केंद्रीय बिजली मंत्री आरके सिंह ने गत मार्च महीने में बिजली कंपनियों से कहा था कि वे गर्मी के महीने में बिजली की मांग की पूर्ति के लिए तैयार रहे और इस दौरान कोई लोडशेडिंग नहीं चाहिए। इस काम के लिए मुख्य रूप से कोयले की आपूर्ति की स्थिति बेहतर करने के लिए कहा गया था ताकि बिजली का उत्पादन प्रभावित नहीं हो। विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।
इंस्टैंट मैसेजिंग ऐप व्हाट्सअप हमारी जिंदगी का अहम हिस्सा बन चुका है। व्हाट्सएप पर इन दिनों कौन बनेगा करोड़पति (केबीसी) के नाम पर लोगों से ठगी की जा रही है। लोगों को व्हाट्सएप पर एक अज्ञात अंतरराष्ट्रीय नंबर से एक ऑडियो क्लिप के साथ संदेश मिल रहे हैं, जिसमें कहा गया है कि उनके मोबाइल फोन को 25 लाख रुपये के केबीसी लॉटरी पुरस्कार के लिए चुना गया है।विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।
भारत से विदेश भेजे जाने वाले सभी कफ सिरप की अब लैब टेस्टिंग होगी। लैब में परीक्षण के बाद ही सिरप को एक्सपोर्ट किया जा सकेगा। नया नियम 1 जून से लागू होगा।पिछले साल गाम्बिया में 66 और उज्बेकिस्तान में 18 बच्चों की मौत हुई थी। दावा किया गया था कि ये मौतें भारत में बनी खांसी की दवाइयों को पीने के बाद हुई हैं।विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।
हाल ही में चलन से वापस लिए गए 2,000 रुपये के अधिकतम 10 नोटों यानी कुल 20,000 रुपये को बदलने के लिए किसी फार्म या पहचान पत्र (आईडी) की जरूरत नहीं है। आरबीआई ने शुक्रवार को 2,000 रुपये के नोटों को चलन से वापस लेने की घोषणा की थी। इन नोटों को बैंक खातों में जमा करने या बदलने के लिए जनता को 30 सितंबर तक का समय दिया गया है। हालांकि, 2000 रुपये का नोट 30 सितंबर तक वैध मुद्रा बना रहेगा।भारतीय स्टेट बैंक ने अपने सभी प्रधान कार्यालयों के मुख्य महाप्रबंधक को पत्र लिखकर कहा है कि आम जनता को एक बार में कुल 20,000 रुपये तक के 2,000 रुपये के नोटों को बदलने के लिए किसी फार्म की जरूरत नहीं होगी। ऐसे नोटों को अपने खाते में जमा करने के लिए आरबीआई ने कोई सीमा नहीं तय की है।हालांकि इसके लिए 'अपने ग्राहक को जानो’ या केवाईसी मानदंडों व अन्य लागू वैधानिक जरूरतों को पूरा करना होगा। बैंक ने 20 मई के पत्र में कहा कि नोट बदलते समय कोई पहचान प्रमाण पत्र देने की जरूरत नहीं है।एसबीआइ ने कार्यालयों को लोगों के लिए सभी तरह की सुविधाओं की व्यवस्था करने को कहा है। सूत्रों के मुताबिक 2,000 रुपये के नोट बदलने के लिए कोई कितनी भी बार कतार में खड़ा हो सकता है।नोट बदलने की सुविधा 23 मई से उपलब्ध होगी, लेकिन कई ग्राहक शनिवार को 2,000 रुपये के नोट बदलने के लिए अपनी शाखाओं में पहुंचे। कुछ ग्राहकों ने खातों में 2,000 रुपये के नोट जमा करने के लिए कैश डिपाजिट मशीनों का प्रयोग किया।साथयों, 2000 के नोट चलन से वापस लेने से क्या फायदा होगा ?क्या सरकार का नोटबंदी करवाने से आम नागरिकों को दिक्कत होती है ?अपनी बात हम तक पहुंचाने के लिए फोन में अभी दबाएं नम्बर 3.
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भारत भीड़ से जुड़े हादसों का तेजी से केंद्र बनता जा रहा है। एक नए अध्ययन में यह बात सामने आई है। अध्ययन में कहा गया है कि धार्मिक समारोहों में भीड़ से जुड़े हादसे होने की आशंका सबसे ज्यादा रहती है। भीड़ से जुड़े हादसों में जान गंवाने वाले और घायल होने वाले लोगों का अबतक का सबसे व्यापक डेटाबेस तैयार किया गया है। विस्तार पूर्वक जानकारी के लिए क्लिक करें ऑडियो पर और सुनें पूरी खबर।
भारतीय मौसम विज्ञान विभाग ने 11 से 17 मई के लिए जारी ऐरिडिटी एनोमली आउटलुक इंडेक्स में जानकारी दी है कि भारत में कम से कम 78 फीसदी जिले सूखे जैसी स्थिति का सामना कर रहे थे।इस के मुताबिक देश के 691 में से केवल 116 जिले ऐसे थे जहां स्थिति शुष्क नहीं हैं। विस्तृत जानकारी के लिए ऑडियो पर क्लिक करें।