बिहार में औद्योगिक विकास को लेकर भूमि के पट्टे की अवधि का निर्धारण आधारभूत संरचना विकास प्राधिकार (आइडा) करेगा। सोमवार को इससे संबंधित संशोधन विधेयक को विधान मंडल के दोनों सदनों से पारित कर दिया गया। इससे संबंधित आधारभूत संरचना विकास सामर्थ्यकारी (इनेबलिंग) (संशोधन) विधेयक, 2023 उद्योग मंत्री समीर कुमार महासेठ द्वारा लाया गया जिसे सदन ने अपनी मंजूरी दे दी। श्री महासेठ के अनुसार राज्य में औद्योगिकीकरण में आ रही बाधाओं को दूर करना एक सतत प्रक्रिया है। सरकार ने इसी उद्देश्य से बिहार राज्य आधारभूत संरचना विकास सामर्थ्यकारी अधिनियम, 2006 लागू किया है। इस अधिनियम की अनुसूचित 5-2-क में भूमि के पट्टे की अवधि का वर्णन है। इसमें भूमि 33 वर्षों के लिए ही निजी प्रक्षेत्र को सौंपे जा सकने का प्रावधान है। इससे एक मानसिकता निजी क्षेत्र की बन जाती है कि 33 वर्षों के बाद क्या होगा और लोग परियोजना शुरू करने में हिचकिचाते हैं। इसी को सरल करने के लिए यह संशोधन विधेयक लाया गया।
