हरैया थाना अंतर्गत रमेश तिवारी रंगदारी गोलीकांड में गिरफ्तार शहर में सक्रिय अपराधी गिरोह की एलआईसी कार्यालय लूटने की योजना थी। इस चौंकाने वाले आपराधिक घटना की योजना का खुलासा तब हुआ। जब गिरोह का सरगना जैनुलाह व संजीव कुमार राम की गिरफ्तारी के बाद उनके पास से कागज पर बना एक नक्शा का डाइग्राम पुलिस के हाथ लगी। इसकी पुष्टि हरैया थाना अध्यक्ष पंकज कुमार ने की। उन्होंने बताया कि नक्शे में स्थानीय एलआईसी कार्यालय, उसमें आने जाने का रास्ता व भीतर के काउंटर सहित कैश जमा करने वाले स्थान को दर्शया गया है। इसमें क्षेत्र के सभी लोकेशन को इंगित करते हुए डाइग्राम बनाया गया है। इससे अपराधी गिरोह की आपराधिक योजना स्पष्ट तौर पर प्रकट होती है।थानाध्यक्ष श्री कुमार ने बताया कि रमेश तिवारी गोली व रंगदारी कांड का सरगना जैनुलाह के पास से पुलिस ने नेपाली नंबर का वह मोबाइल सिम भी बरामद कर लिया है जिससे रमेश तिवारी सहित विभिन्न लोगों से रंगदारी की मांग की जाती थी व रंगदारी नहीं मिलने पर गोली मारने की धमकी दी जाती थी। यही नहीं बल्कि रमेश तिवारी से रंगदारी में लिए गए तीन लाख रुपया में से पैसठ हजार रुपया भी बरामद किया गया है। छापेमारी के बाद जैनुलाह व संजीव कुमार राम की गिरफ्तारी से रक्सौल सीमा क्षेत्र सहित जिला में घटने वाली विभिन्न आपराधिक घटना बेनकाब हुई है जिसमें उसी नेपाली नंबर के सिम का इस्तेमाल किया गया था। थानाध्यक्ष ने बताया यह एक संगठित आपराधिक गिरोह था जो नेपाली सिम का उपयोग करके लोगों से रंगदारी की वसूली किया करता था। उनके पास से कागज पर लिखा एक लिस्ट भी बरामद हुआ जिसमें जिला के दस लोगों का नाम अंकित है जो गिरोह के टारगेट में थे। यह गिरोह फिल्म स्क्रिप्ट के तर्ज पर कागज पर डाइग्राम बना कर घटना को अंजाम देता था। इसी ड्राईग्राम के अनुसार रमेश तिवारी को गोली मारी गई थी। लिस्ट में ही कोड सांकेतिक शब्द लिख कर तय किया जाता कि किसे मारना है ।