कौन कहता है कि आसमां में सुराख नहीं हो सकता, एक पत्थर तो तबियत से उछालो यारोें...। इस कहावत को चरितार्थ कर दिखाया है केबीसी के पहले पांच करोड़ के विजेता बने सुशील कुमार ने। चार साल पूर्व विश्व गौरैया दिवस के अवसर पर आज के ही दिन उन्होंने एक बड़ी मुहिम छेड़ी थी। यह मुहिम थी विलुप्त हो रही गौरैया पक्षी के संरक्षण की। काम आसान नहीं था। लेकिन उन्होंने ठान ली तो पीछे मुड़कर नहीं देखा। खुद अपने खर्च से घोंसला तैयार कर लोगों के घरों में लगाना शुरू कर दिया। साथ में धान की बाली रखते। अभियान धीरे-धीरे रंग लाने लगा। समाज के विभिन्न तबके के लोग भी जुड़ते गये। अब तक दस हजार से अधिक लगा चुके हैं घोंसला चार साल में वे दस हजार से अधिक घोंसला लगा चुके हैं। खुद से व सामाजिक सहयोग से भी घोंसला लगाया गया है। केबीसी विजेता सुशील कुमार के अनुसार इन घाेंसलों में हजारों गौरैया अपना आशियाना बनाया है। उनके अनुसार अब शहर के करीब सभी मोहल्ले में गौरेया दिखने लगी हैं। पोस्टर प्रतियोगिता का किया गया आयोजन मोतिहारी। गौरैया दिवस पर राजेंद्र नगर स्थित कला प्रशिक्षण की संस्था कलाश्रम में गौरैया संरक्षण पर आधारित पोस्टर प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। इस प्रतियोगिता को दो श्रेणियों में रखा गया, जूनियर व सीनियर। जिसमें लगभग दो दर्जन छात्र - छात्राओं ने भाग लिया। कार्यक्रम के संयोजन केबीसी विजेता सुशील कुमार ने किया। सभी छात्रों को मेडल एवं सर्टिफिकेट देकर सम्मानित किया गया। छात्रों ने चित्र के माध्यम से गौरैया संरक्षण पर पोस्टर बनाया। जूनियर वर्ग में आयुष कुमार प्रथम, रित कुमारी द्वितीय व अकक्षिता तृतीय स्थान पर रही। विश्व गौरेया दिवस पर शहर में कार्यक्रमों की रही धूम मोतिहारी। विश्व गौरैया दिवस पर शहर में कई कार्यक्रम आयोजित किये गये। इस दौरान, मोतिहारी नगर निगम की महापौर प्रीति गुप्ता के आवासीय परिसर में विश्व गौरैया दिवस के अवसर पर गौरैया का घोंसला लगाया गया। साथ ही उपस्थित लोगों के बीच गौरैया का घोंसला वितरित किया गया। इस अवसर पर मेयर प्रीति गुप्ता ने कहा कि गौरैया बिहार की राजकीय पक्षी है और इसके संरक्षण की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि नगर निगम मोतिहारी में भी गौरैया संरक्षण संबंधित कार्य किए जायेंगे। साथ ही उन्होंने नगर के सभी निवासियों से अपील किया कि गर्मी के मौसम में चिड़ियों के लिए आंगन व छत पर पानी जरूर रखें