मानव तस्कर के चंगुल से नेपाली नबालिग लड़की मुक्त। सामुदायिक संवाददाता रेयाज आलम रामगढ़वा । इंडो नेपाल बॉर्डर शहर रक्सौल से एसएसबी 47 वी बटालियन की मानव तस्करी रोधी इकाई क्षेत्रक मुख्यालय ससीब टीम ने छापेमारी करके नेपाल से आ रहे हैं एक मानव तस्कर युवक के चंगुल से एक नेपाली नबालिग लड़की को मुक्त कराया। इसकी जानकारी आज टीम के इंस्पेक्टर मनोज कुमार शर्मा ने फिर दी। उन्होंने बताया कि इस मानव तस्करी का खुलासा व मानव तस्करी के नए ट्रेंड की नयी युक्ति संज्ञान में तब आई। जब सीमा पर तैनात मानव तस्करी रोधी इकाई क्षेत्रक मुख्यालय एसएसबी रक्सौल की टीम ने एक युवक को देखा जो नेपाली रूपये को भारतीय रुपए में परिवर्तित करा रहा था व उसके साथ एक नाबालिग नेपाली लड़की भी थी। उनके संदेहास्पद व्यवहार को देख कर मानव तस्करी रोधी इकाई टीम ने अनुभव कर लिया कि कुछ तो ऐसा है जो कि सही नहीं है। टीम के सहायक निरीक्षक अनिल शर्मा व मुख्य आरक्षी ने उनको रोक पूछताछ कि तो उन्होंने संतोषजनक जबाब नहीं दी जिसके बाद टीम ने माइती नेपाल बीरगंज को बुला कर नेपाली भाषा में पूछताछ कराया। तो पहले युवक अपना झूठा नाम बताता रहा व लड़की को अपनी सगी बहन बताता रहा। किन्तु टीम के अथक प्रयास से युवक टूट गया उसने कहा कि ये उसकी मित्र है। वह उसे दिल्ली नौकरी व शादी के नाम पर दिल्ली में सुलतान नाम के व्यक्ति के पास लड़की को ले कर जा रहा था। इस प्रकार मानव तस्करी का मामला सामने आया। मुक्त लड़की व मानव तस्कर को नेपाल पुलिस के हवाले आवश्यक कार्यवाही के लिए सौंप दिया गया। इस पूरे रेस्क्यू में इंस्पेक्टर टेक बहादुर कार्की नेपाल, गोमा पोडल नेपाल, अनिल कुमार शर्मा, अरविंद द्विवेदी, मिकी कुमारी, अमृता कुमारी का सहयोग रहा। इंस्पेक्टर श्री शर्मा ने कहा कि भारत में कुछ ऐसे मानव तस्कर के ऐसे गैंग्स काम कर कर रहा है जो कम उम्र के युवकों को नेपाली लड़की से प्रेम सम्बन्ध में फंसा कर भारत के बड़े शहरों जैसे दिल्ली, कोलकाता, मुंबई या गल्फ देशों में तस्करी करने का कार्य कर रहे है।