बिहार राज्य के जमुई जिला गिद्धौर प्रखंड से रंजन कुमार मोबाइल वाणी के द्वारा कहते हैं की जमुई जिले में दो लोगों को डेंगू हो जाने की खबर मिली है,लेकिन उनका ईलाज जिले के सदर अस्पताल में सम्भव नहीं है,क्युँकि यहाँ पर डेंगू ईलाज की सुविधा उपलब्ध नहीं है।ऐसे में मरीज को ईलाज के लिए पटना जाना पड़ता है।डेंगू से बचाव के लिए हम सब को हमेशा मच्छरदानी के अंदर ही सोना चाहिए।डेंगू मच्छर हमेशा साफ़ पानी में पनपते हैं,इसलिए यह ध्यान देना चाहिए की घर में या घर के आस-पास कहीं भी जल जमाव ना हो।ध्यान रहे कि डेंगू का मच्छर दिन के समय ही काटता है, इसलिए दिन में खुद को मच्छरों से बचाएं, मच्छरों से बचाने वाली क्रीम लगाएं और पूरी आस्तीन के कपड़े पहनें। खासतौर पर बरसात के समय फुल बाहों वाली कमाज और चप्पलों की जगह जूते जरूर पहनें। घर में कूलर, गमलों व परिंदों के पानी के लिये रखे बर्तनों आदि का पानी साफ करें। अपने घर के आसपास के गड्ढों में लार्वाभक्षी मछलियां डालें। ये मछलियां मलेरिया कार्यालय में निःशुल्क उपलब्ध होती हैं। घर में पानी की टंकियों को अच्छी तरह से ढंक कर रखें।ठंड लगने के बाद अचानक तेज बुखार चढ़ना,सिर, मांसपेशियों और जोड़ों में दर्द होना।आंखों के पिछले हिस्से में दर्द होना, जो आंखों को दबाने या हिलाने से और बढ़ जाता है।बहुत ज्यादा कमजोरी लगना, भूख न लगना और जी मितलाना और मुंह का स्वाद खराब होना। डेंगू का इलाज इससे होने वाली परेशानियों को कम कर के ही किया जा सकता है