बिहार राज्य में बगैर लाइसेंस और निबंधन के सैकड़ों निजी अस्पताल और क्लिनिक अवैध रूप से संचालित हो रहे है ,जो मुर्दे से कफन छीनने की कहावत को चरितार्थ करता है।श्रोताओं ,डॉक्टरों को भगवान और अस्पतालों को भगवान का घर माना है बावजूद इसके अस्पतालों में मरीज़ों के ज़िन्दगी के साथ खिलवाड़ और परिजनों के साथ धोखाधड़ी की जाती है जो कई बार मरीजों के लिए जानलेवा साबित होता है। श्रोताओं, क्या आप जानते हैं कि अस्पतालों का अवैध रूप से संचालन कानूनन अपराध है ? क्या आपके क्षेत्र में भी अवैध रूप से नीजि क्लिनिक या अस्पताल का संचालन किया जा रहा है ? और क्या सरकार इस प्रकार अवैध रूप से संचालित नीजि क्लिनिक या अस्पताओं पर लगाम लगाने के लिए कोई ठोस कदम उठा रही है ? अगर नहीं ,तो आखिर क्या वजह है कि अवैध रूप से संचालित अस्पतालों पर सरकार कोई कार्रवाई नहीं करती है ? साथ ही अस्पतालों में सेवा की गुणवत्ता और विश्वसनीयता को बनाये रखने के लिए क्या प्रशासन कोई प्रयास कर रही है ? श्रोताओ आपकी राय में अवैध रूप से संचालित अस्पतालों या निजी क्लिनिकों पर रोक लगाने के सरकार द्वारा किस तरह के कठोर कदम उठाने की जरुरत है ? साथ ही अवैध रूप से संचालित अस्पतालों या निजी क्लिनिकों पर रोक लगाने में आम लोगों की क्या भूमिका होने चाहिए ? इस विषय से जुड़ी अपनी राय व क्षेत्र की स्थित हमारे साथ जरूर बांटे नंबर