उत्तर प्रदेश राज्य के उन्नाव ज़िला से राम करन साझा मंच मोबाइल वाणी के माध्यम से बता रहे हैं कि उनका और उनके परिवार के सदस्यों का ईएसआई कार्ड बना हुआ हैं।उनकी बेटी का इलाज अस्पताल में करवाने के बाद डॉक्टरों से पक्की पर्ची बनाने को कहा गया ताकि इलाज का खर्च वापस ईएसआई द्वारा प्रतिदाय हो पाए। परन्तु डॉक्टरों ने कहा कि जी.एस.टी के कारण पर्ची नहीं बना सकते। इससे सरकार को टैक्स देना पड़ेगा। अगर पर्ची बना भी दे तो उसमें बीस प्रतिशत के हिसाब से पैसा लगेगा। ऐसे कई मामले कई जगहों से सुनने को आए हैं।