बिहार राज्य के मधुबनी ज़िला से रामानंद सिंह ने मधुबनी मोबाइल वाणी के माध्यम से बताया कि कोरोना वायरस महामारी के कारण आँगनबाड़ी केन्द्रो पर टेक होम राशन वाली प्रथा चरमरा गई थी । पिछले चार पांच महीनों से यह कार्यक्रम बंद रहा और इसके स्थान पर लाभुकों के खाते में पोषाहार की राशि डीबीटी के माध्यम से हस्तांतरित की जा रही थी। परन्तु अब विभाग द्वारा फिर से नए निर्देश के अनुसार आँगनबाड़ी केंद्रों पर टेक होम राशन शुरू होने जा रहा है। आईसीडीएस से डॉक्टर रश्मी वर्मा कहती है कि कुपोषण के दर में कमी लाने के लिए 3 से 6 साल के बच्चों को 150 ग्राम दूध पिलाने का प्रावधान किया गया है। उन्होंने कहा कि प्रत्येक बच्चे को 18 ग्राम दूध पाउडर 150 मिलीलीटर के शुद्ध पेयजल में घोलकर पिलाने का प्रावधान किया गया। बच्चों में कुपोषण की समस्या को दूर करने के लिए साफ सफाई पर विशेष ध्यान देना चाहिए। नियमित रूप से खाने से पहले और खाने के बाद हाथ धोया जाए और यही क्रम शौचालय में भी रखना चाहिए। आँगनबाड़ी केंद्रों पर मिल रही सुविधाओं को पारदर्शी करने के लिए अब आँगनबाड़ी केंद्रों से पोषाहार लेने के लिए टोकन प्रणाली लागू की जा रही है।