सैकड़ो वर्ष पूर्व तक्षशिला नालंदा भल्लवी और सोमपुरा जैसे भारत के विश्वविद्यालय में कई देशों के छात्रों ने शिक्षा ग्रहण की थी मगर विडंबना यह है कि विश्व के ज्ञान देने वाली भारत की प्रतिभाएं तथा अभिभावकों का मौजूदा दौर में शिक्षा को लेकरदुश्वारियां के ।