चुनावों में असली मुद्दे तो जैसे गायब ही हो गए हैं मतदाताओं को गुमराह किया जा रहा है शिक्षा स्वास्थ्य रोजगार जैसे मुद्दों पर बहस हो अर्थव्यवस्था सिदृढ़ कैसे हो किसानों की आमदनी कैसे बढे आत्महत्याओं पर रोक कैसे लगे
चुनावों में असली मुद्दे तो जैसे गायब ही हो गए हैं मतदाताओं को गुमराह किया जा रहा है शिक्षा स्वास्थ्य रोजगार जैसे मुद्दों पर बहस हो अर्थव्यवस्था सिदृढ़ कैसे हो किसानों की आमदनी कैसे बढे आत्महत्याओं पर रोक कैसे लगे