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थाना मिर्जापुर पुलिस को मिली बड़ी सफलता जरीयनपुर बस स्टैंड से किया गया व्यक्ति गिरफ्तार

बलिदान दिवस पर भाभी की आंखों से छलक आए आंसू। कलान शाहजहांपुर। भारत देश के द्वितीय परमवीर चक्र विजेता नायक यदुनाथ सिंह का 6 फरवरी मंगलवार को 76वें बलिदान दिवस बड़े ही धूमधाम से मनाया गया। फर्रुखाबाद फतेहगढ़ राजपूत रेजीमेंट के डिप्टी कमांडर विनीत पंत ने परमवीर चक्र विजेता नायक यदुनाथ सिंह के गांव पहुँच कर पुष्पचक्र अर्पित कर श्रद्धांजलि दी। नायक यदुनाथ सिंह 1948 में जम्मू-कश्मीर में बलिदानी हुए थे। वर्ष 1950 में उन्हें मरणोपरांत परमवीर चक्र से सम्मानित किया गया। 6 फरवरी बलिदान दिवस हर साल 6 फरवरी को नौशेरा की रक्षा में दुश्मनों के मात देते हुए शहीद हुए डिप्टी कमांडर रोहित पंत, विनीत कल्याण, शाहजहांपुर से जतिन्द्र जसरोटिया एसएचओ ने परमवीर चक्र विजेता नायक यदुनाथ सिंह के परिजनों से मुलाकात की और हालचाल जाना। इस मौके पर डिप्टी कमांडर रोहित पंत, विनीत कल्याण, जे एस जगमाल, विजय कुमार, एसडीएम कलान महेश कुमार कैथल, थाना अध्यक्ष सोनी शुक्ला, नेत्रपाल सिंह, रामसेवक सिंह, मुनेंद्र सिंह पप्पू सिंह, राजेश सिंह,बबलू सिंह, अवनीश, पहलवान फौजी, संतराम कुमार सिंह, अनरेश सिंह,अभिषेक प्रताप सिंह, गुना देवी, सत्यवीर सिंह मास्टर, आशीष सिंह, उधमपाल सिंह,रामनारायण सोलंकी, श्रीनगर कॉलेज के प्रबंधक सत्यवीर सिंह सहित भारी संख्या में लोग मौजूद रहे। नायक यदुनाथ सिंह आठ भाई बहन थे। नायक यदुनाथ सिंह जन्म 21 नवंबर 1916 को कलान तहसील क्षेत्र के खजुरी गांव में हुआ था। इनके पिता बीरबल सिंह राठौर थे और इनकी माता का नाम यमुना कंवर था। वह आठ बच्चों में 6 भाई और एक बहन में तीसरे नंबर के थे। इन्होंने गांव में ही चौथी कक्षा तक शिक्षा अध्ययन की थी पहलवानी में महान योद्धा जाने जाते थे। बचपन से ही यह बजरंगबली के भक्त थे। एसडीएम महेश कुमार कैथल ने कहा। कलान एसडीएम महेश कुमार कैथल ने कहा कि आज हम देश के वीर सैनिक नायक यदुनाथ सिंह के बलिदान दिवस पर उपस्थित हुए हैं और हमें गर्व है कि उन्होंने देश की रक्षा करते हुए अपने प्राणों की आहुति दे दी। हम सबको जाति मतभेद ना करते हुए देश की रक्षा करना चाहिए। भाभी की आंखों से छलक आए आंसू। अमर नायक यदुनाथ सिंह के श्रद्धांजलि दिवस पर भाभी ने अपने अमर नायक यदुनाथ सिंह को नम आंखों से श्रद्धांजलि अर्पित की। गुना देवी की आंखों में आंसू छलक रहे थे। शहीद प्रतिमा के मैदान की बाउंड्री वॉल न होने पर एसडीएम महेश कुमार कैथल ने उच्च अधिकारियों को रिपोर्ट प्रेषित कर जल्द से जल्द रिपोर्ट भेज कर कार्य निर्माण कराया जाएगा। गांव में नहीं है स्वास्थ्य सेवाएं। खजुरी गांव में स्वास्थ्य सेवाएं न होने से ग्रामीणों को काफी परेशानियां होती हैं। 15 किलोमीटर दूर लोगों को प्राथमिक उपचार के लिए भागना पड़ता है। 74 वर्ष पहले गांव में चिकित्सीय सुविधा के लिए अस्पताल बनाया गया था लेकिन धीरे-धीरे ध्वस्त होता चला गया। गांव में नहीं है उच्च शिक्षा का स्कूल। सत्यवीर सिंह मास्टर ने कहा कि खजुरी गांव में जूनियर तक शिक्षा अध्ययन करने के लिए जूनियर प्राथमिक विद्यालय है इस विद्यालय का उच्चीकरण कराया जाए। ताकि शिक्षा अध्यान करने के लिए छात्र-छात्राओं को दूर भागना न पड़े। प्राथमिक विद्यालय का शहीद यदुनाथ सिंह का नाम दिया जाए। इस गांव के युवाओं को आर्मी जॉइन करने की काफी रुचि है लेकिन स्टेडियम न होने की वजह से गांव पिछड़ता जा रहा है। बलिदान दिवस पर लगा निशुल्क दंत परीक्षण। अमर नायक यदुनाथ सिंह के बलिदान दिवस पर खजुरी गांव में दंत एवं मुख रोग विशेषज्ञ डॉक्टर केपी सक्सेना ने निशुल्क दंत परीक्षण कैंप लगाया। कैंप में युवा वृद्ध महिलाओं व बच्चों सहित 40 लोगों के दातों का परिक्षण किया। परीक्षण के दौरान विभिन्न जानकारियां देते हुए तंबाकू का सेवन न करने की जानकारी दी। नहीं पहुंचे अधिकारी। खजुरी गांव में यदुनाथ के बलिदान दिवस पर सैनिको द्वारा अधिकारियो को इन्वाइट किया गया। कार्यक्रम में कोई अधिकारी नहीं पहुंचा। सैनिको ने काफ़ी देर तक इंतजार किया। शहीद परिवार को विना सम्मानित किए हुआ कार्यक्रम।