रायबरेली। कुछ स्कूली बच्चे 'पानी रे पानी, यही है जिंदगानी' गीत गा रहे थे तो कुछ 'जल है तो कल है' जैसे स्लोगन पढ़ रहे थे। यह नजारा रायबरेली में रायपुर मेहरी योजना में आयोजित जल ज्ञान यात्रा कार्यक्रम में दिखाई दिया। स्कूली बच्चों ने जल की बूंद-बूंद की उपयोगिता समझी और यहां जल जागरूकता कार्यक्रमों में भाग लिया। जल के बारे में जानने के लिए उनमें उत्सुकता भी देखते ही बनी। उनको जल परीक्षण करके दिखाया गया और दूषित पानी के खतरों से परिचित कराया गया। जल जीवन मिशन की हर घर जल योजना के तहत ग्रामीणों को दी जा रही पानी सप्लाई की प्रक्रिया भी दिखाई गई। नमामि गंगे एवं ग्रामीण जलापूर्ति विभाग की ओर से राज्य में पहली बार भावी पीढ़ी को जल जीवन मिशन की परियोजनाओं का सहभागी बनाने के लिए "जल ज्ञान यात्रा" का शुभारंभ किया गया है। इस कड़ी में रायबरेली में आयोजित जल ज्ञान यात्रा को जल निगम कार्यालय से जल निगम (ग्रामीण) के अधिशासी अभियंता एस. रहमान ने हरी झण्डी दिखाई। उनको सबसे पहले प्रयोगशाला ले जाया गया और वहां जल गुणवत्ता का परीक्षण करके दिखाया गया। इसके बाद उनको रायपुर मेहरी योजना का भ्रमण कराया गया। यहां रायबरेली की सदर विधायक अदिति सिंह भी मौजूद रहीं। उन्होंने भी बच्चों को जल की उपयोगिता बताई। उनको नुक्क्ड़ नाटक दिखाया गया और जल संरक्षण के प्रति जागरूक किया गया। जल निगम के इंजीनियरों ने स्कूली बच्चों को पानी की टंकी की खासियत बताई, पम्प हाउस से कैसे गांव-गांव में पानी सप्लाई की जा रही है इसकी प्रक्रिया दिखाई। हर घर जल योजना की जानकारी देने के साथ ही योजना से ग्रामीणों को मिल रहे फायदे भी बताए गये।