भारत में जादू-टोना हमारी अंधविश्वासी मान्यताओं और लोक कथाओं का एक हिस्सा है। माना जाता है कि जादू-टोना विशेष शक्तियों द्वारा संचालित किया जाता है। जिसके माध्यम से व्यक्ति या वस्तुओं को प्रभावित किया जा सकता है। उन्हें नुकसान पहुंचाया जा सकता है। जब कि यह एक प्रकार का अंधविश्वास है और इसका कोई वैज्ञानिक आधार नहीं है। जादू-टोना की सहायता से किसी को भी बीमार किया जा सकता है या उसे मारा जा सकता है। हमारे समाज में यह एक आम भ्रांति है। इनसे बचाव के लिए किई निरर्थक टोटके भी बताए जाते है। जिसमें घोडे की नाल, पीले कपड़े में चावल बांधना आदि शामिल है। कई बीमारियां जैसे लिव्हर की बीमारियां, पेट का अल्सर, आदि असाधरण बीमारियां आसानी से समझ में नहीं आती है। और कुछ दिनों बाद तकलीफ यानी दर्द देते रहते है। कई बार इसे किसी का जादू-टोना समझकर अज्ञानवश निर्दोष लोगों को परेशान किया जाता है।