सिसवन सिवान।सूर्योपासना के महापर्व छठ पूजा पर सिसवन प्रखण्ड के दक्षिणी छोर पर स्थित चटेयाँ सरयू नदी के आम घाट पर छठ की व्रती महिलाओं की बड़ी संख्या पूजा करने के लिए आती है। छठ पर्व के दरम्यान आमघाट पर छठव्रतियों का सैलाब उमड़ता है। प्रकृति की गोद में भव्य व आकर्षक यह छठ घाट है। इस घाट पर चटेयाँ,मनरा डेरा, जई छपरा,नई बस्ती,सहित कई गांवों के हजार से अधिक श्रद्धालु अस्ताचलगामी व उदीयमान सूर्य को अर्ध देने के लिए पहुंचते हैं। लेकिन,इस घाट पर प्रशासनिक रूप से अभी कोई भी कार्य शुरू नहीं हुआ है। सरयू नदी की धारा घाट से सटे होकर बह रही है। लेकिन बाढ़ में नदी की तेज धारा इधर से होकर बहने पर किनारे से महज कुछ मीटर की दूरी पर काफी गहराई है। यहीं नहीं घाट के किनारे गंदगी का अंबार लगा है। यहां पर व्रतियों के लिए नदी के किनारे पहुंचना काफी खतरनाक है। इस घाट पर अभी तक कोई भी प्रशासनिक तैयारी शुरू नहीं हुई है। स्थानीय स्तर पर युवाओं द्वारा अपने स्तर से लाइट की व्यवस्था व घाट का निर्माण किया जाता है। वहीं आम घाट भी खरनाक है। घाट से सटे होकर नदी की धारा बह रही है। इससे व्रतियों को अर्ध देने में काफी परेशानी होगी। वही चटेयाँ गांव के मुखिया प्रत्याशी बसंत कुमार चौबे ने बताया कि नदी की तेज धार व कटाव के कारण इस बार सिसवन प्रखण्ड के सरयू नदी सभी के अमूमन घाट खतरनाक हैं। वही सिसवन प्रखण्ड के चटेयाँ आम घाट इसमें से एक है।यहां पर अभी तक प्रशासनिक रूप से साफ सफाई या सुरक्षा के उपाय नहीं किए गए हैं। पंचायत स्तर व प्रशासनिक स्तर पर इस घाट पर व्रतियों के सुविधाओं के लिए उपाय किया जाना चाहिए। सिसवन सिवान।सूर्योपासना के महापर्व छठ पूजा पर सिसवन प्रखण्ड के दक्षिणी छोर पर स्थित चटेयाँ सरयू नदी के आम घाट पर छठ की व्रती महिलाओं की बड़ी संख्या पूजा करने के लिए आती है। छठ पर्व के दरम्यान आमघाट पर छठव्रतियों का सैलाब उमड़ता है। प्रकृति की गोद में भव्य व आकर्षक यह छठ घाट है। इस घाट पर चटेयाँ, मनरा, डेरा, जई छपरा, नई बस्ती, सहित कई गांवों के हजार से अधिक श्रद्धालु अस्ताचलगामी व उदीयमान सूर्य को अर्ध्य देने के लिए पहुंचते हैं। लेकिन,इस घाट पर प्रशासनिक रूप से अभी कोई भी कार्य शुरू नहीं हुआ है। सरयू नदी की धारा घाट से सटे होकर बह रही है। लेकिन बाढ़ में नदी की तेज धारा इधर से होकर बहने पर किनारे से महज कुछ मीटर की दूरी पर काफी गहराई है। यहीं नहीं घाट के किनारे गंदगी का अंबार लगा है। यहां पर व्रतियों के लिए नदी के किनारे पहुंचना काफी खतरनाक है। इस घाट पर अभी तक कोई भी प्रशासनिक तैयारी शुरू नहीं हुई है। स्थानीय स्तर पर युवाओं द्वारा अपने स्तर से लाइट की व्यवस्था व घाट का निर्माण किया जाता है। वहीं आम घाट भी खरनाक है। घाट से सटे होकर नदी की धारा बह रही है। इससे व्रतियों को अर्ध्ग देने में काफी परेशानी होगी। वही चटेयाँ गांव के मुखिया प्रत्याशी बसंत कुमार चौबे ने बताया कि नदी की तेज धार व कटाव के कारण इस बार सिसवन प्रखण्ड के सरयू नदी सभी के अमूमन घाट खतरनाक हैं। वही सिसवन प्रखण्ड के चटेयाँ आम घाट इसमें से एक है। यहां पर अभी तक प्रशासनिक रूप से साफ सफाई या सुरक्षा के उपाय नहीं किए गए हैं। पंचायत स्तर व प्रशासनिक स्तर पर इस घाट पर व्रतियों के सुविधाओं के लिए उपाय किया जाना चाहिए।