दोस्तों, हमारे आपके बीच ऐसी महिलाओं के बहुत से उदाहरण हैं, पर उन पर गौर नहीं किया जाता. अगर आपने गौर किया है तो हमें जरूर बताएं. साथ ही वे महिलाएं आगे आएं जो घंटों पानी भरने और ढोने का काम करती हैं. उनका अपना अनुभव कैसा है? वे अपने जीवन के बारे में क्या सोचती हैं? क्या इस काम के कारण उनका जीवन नरक बन रहा है? क्या वे परिवार में पानी की आपूर्ति के चक्कर में अपना आत्मसम्मान खो रही हैं? क्या कभी ऐसा कोई वाक्या हुआ जहां पानी के बदले उनसे बदसलूकी की गई हो, रास्ते में किसी तरह की दुर्घटना हुई हो या फिर किसी तरह के अपशब्द अपमान सहना पडा?
दोस्तों, राष्ट्रीय महिला आयोग की रिपोर्ट के अनुसार एक महिला अभी भी 2.5 किमी तक पैदल चलकर जाती हैं ग्रामीण क्षेत्रों में महिलाएं अपने परिवार के लिए पीने का पानी लाने में औसतन दिन में 3-4 घंटे खर्च करती हैं, यानि अपने पूरे जीवन काल में 20 लाख घंटों से भी ज्यादा. क्या आपको ये बातें पता है ?और ज्यादा जानने के लिए इस ऑडियो को क्लिक करें.
उत्तर प्रदेश राज्य के बहराइच जिला से विशाल सिंह ने मोबाइल वाणी के माध्यम से बता रहे है की प्राकृतिक भूजल जलाशयों में से एक के ऊपर एक कुआँ खोदा जाता है ताकि सीधे नीचे के स्रोत से पानी एकत्र किया जा सके, जिससे यह भारत के अधिकांश ग्रामीण क्षेत्रों में पानी की आपूर्ति का मुख्य स्रोत बन जाता है। हालाँकि अब पानी की कमी के कारण अधिकांश कुएँ सूख रहे हैं।
उत्तर प्रदेश राज्य के बहराइच जिला से विशाल सिंह ने मोबाइल वाणी के माध्यम से बता रहे है की एक अध्ययन के अनुसार हर मिनट एक नल से पैंतालीस बूँद पानी टपकता है, यानी तीन घंटे में एक लीटर से अधिक पानी बहता है। ब्रश करते समय नल बंद करने से नल बंद करने से बहुत सारा पानी बचाया जा सकता है
उत्तर प्रदेश राज्य के बहराइच जिला से विशाल सिंह ने मोबाइल वाणी के माध्यम से बता रहे है की दूषित पानी जालवा भी सब्त हो सकता है। विश्व में 301 प्रतिशत मौतें जल प्रदुषण और खराब गुणवत्ता के पानी के कारण होती हैं, विश्व स्वास्थ्य संगठन का अनुमान है कि दुनिया भर 80 प्रतिसत बीमारिया दूषित जल के कारण होती हैं।
दोस्तों, मोबाइलवाणी के अभियान क्योंकि जिंदगी जरूरी है में इस बार हम इसी मसले पर बात कर रहे हैं, जहां आपका अनुभव और राय दोनों बहुत जरूरी हैं. इसलिए हमें बताएं कि आपके क्षेत्र में बच्चों को साफ पानी किस तरह से उपलब्ध हो रहा है? क्या इसमें पंचायत, आंगनबाडी केन्द्र आदि मदद कर रहे हैं?आप अपने परिवार में बच्चों को साफ पानी कैसे उपलब्ध करवाते हैं? अगर गर्मियों में बच्चों को दूषित पानी के कारण पेचिस, दस्त, उल्टी और पेट संबंधी बीमारियां होती हैं, तो ऐसे में आप क्या करते हैं? क्या सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों से बच्चों का इलाज संभव है या फिर इलाज के लिए दूसरे शहर जाना पड रहा है? जो बच्चे स्कूल जा रहे हैं, क्या उन्हें वहां पीने का साफ पानी मिल रहा है? अगर नहीं तो वे कैसे पानी का इंतजाम करते हैं?
पानी में आर्सेनिक, लोह तत्व और दूसरे घातक पदार्थों की मात्रा महिलाओं के स्वास्थ्य पर सबसे बुरा असर कर रही है और फिर यही असर गर्भपात, समय से पहले बच्चे का जन्म या फिर कुपोषण के रूप में सामने आ रहा है. साथियों, हमें बताएं कि आपके परिवार में अगर कोई गर्भवति महिला या नवजात शिशु या फिर छोटे बच्चे हैं तो उन्हें पीने का पानी देने से पहले किस प्रकार साफ करते हैं? अगर डॉक्टर कहते हैं कि बच्चों और महिलाओं को पीने का साफ पानी दें, तो आप उसकी व्यवस्था कैसे कर रहे हैं? क्या आंगनबाडी केन्द्र, एएनएम और आशा कार्यकर्ता आपको साफ पानी का महत्व बताती हैं? और ये भी बताएं कि आप अपने घर में किस माध्यम से पानी लाते हैं यानि बोरवेल, चापाकल या कुएं और तालाबों से?
साथियों, आपके यहां पानी के प्रदूषण की जांच कैसे होती है? यानि क्या सरकार ने इसके लिए पंचायत या प्रखंड स्तर पर कोई व्यवस्था की है? अगर आपके क्षेत्र में पानी प्रदूषित है तो प्रशासन ने स्थानीय जनता के लिए क्या किया? जैसे पाइप लाइन बिछाना, पानी साफ करने के लिए दवाओं का वितरण या फिर पानी के टैंकर की सुविधा दी गई? अगर ऐसा नहीं हो रहा है तो आप कैसे पीने के पानी की सफाई करते हैं? क्या पानी उबालकर पी रहे हैं या फिर उसे साफ करने का कोई और तरीका है? पानी प्रदूषित होने से आपको और परिवार को किस किस तरह की दिक्कतें आ रही हैं?
उत्तर प्रदेश राज्य के बहराइच जिला के ब्लॉक यूट्यूब तहसील पयागपुर थाना हुजूरपुर से विशाल सिंह ने मोबाइल वाणी के माध्यम से पिंटू पिता हरिचंद से बातचीत की। बातचीत में उन्होंने बताया कि माननीय प्रधानमंत्री द्वारा दी गयी नल जल योजना के तहत पानी नहीं मिल रहा है.साथ ही उन्हें राशन कार्ड की भी समस्या है।
उत्तर प्रदेश राज्य के बहराइच जिला के मौजा सुल्तानपुर ब्लॉक विशेश्वरगंज थाना विशेश्वरगंज से विशाल सिंह ने मोबाइल वाणी के माध्यम से भास्कर पिता रक्षा राम से बातचीत की। बातचीत में उन्होंने बताया कि माननीय प्रधानमंत्री द्वारा दी गयी नल जल योजना के तहत पानी नहीं मिल रहा है.साथ ही उन्हें बिजली की भी समस्या है।