झारखण्ड राज्य के बोकारो जिला के पेटरवार प्रखंड के तेनुघाट अनुमंडल से सुषमा कुमारी मोबाइल वाणी के माध्यम से बताती हैं कि वर्षों से जंगल में रह रहे आदिवासी समुदाय का जीवन प्रकृति पर निर्भर करती आ रही हैं। लेकिन आज उन्हीं आदिवासियों को जंगल छोड़ने के लिए मजबूर किया जा रहा है। सरकार द्वारा भूमि अधिग्रहण कर तरह-तरह की लालसा दे कर जंगल छोड़ने पर मजबूर किया जा रहा है।आदिवासी समुदाय पेड़-पौधों और प्रकृति को बचाने की पूरी कोशिश करते आ रहे हैं। वहीँ दूसरी ओर आदिवासियों के अलावा और ऐसा कोई नहीं है जो पेड़-पौधों के साथ-साथ प्रकृति को बचाए रखने पर ध्यान दिया हो। आज कई क्षेत्रों में हजारों की संख्या में पेड़ों को काट कर बड़ी-बड़ी इमारते बनाई जा रही है। जो आने वाले समय में ख़तरनाक रूप ले सकता है। अतः सभी लोग को एक जुट हो कर पेड़ों एवं जंगलो की रक्षा के लिए आने की जरुरत है।