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कार्यक्रम बदलाव का आगाज़ जेंडर के नाम पर होने वाली हिंसा के खिलाफ 16 दिनों तक चलने वाले इस कार्यक्रम में आपका स्वागत है।लड़कियों के मन में शादी को ले कर उलझन और उत्साह दोनों तरह की भावनायें होती हैं। कई तरह के सवाल भी होते हैं। आईये सुनते हैं इस कड़ी में रेखा की आपबीती।

जिंदगी का सफर बड़ा ही अनोखा होता है, हर मोड़ हर पल नई चुनौतीयां और अनुभव मिलते हैं।कभी खुशियां रंग बिखेर देती हैं तो कभी ग़मों का सामना करना पड़ता है।लेकिन जीवन का असली मकसद सफर में आने मुश्किलों को हराते हुए आगे बढ़ना है। यही संदेश दे रहा है हमारा कार्यक्रम बदलाव का आगाज़।

साथियों, आपने वो कहानी तो सुनी ही होगी कि एक लकड़ी को तो कोई भी तोड़ सकता है लेकिन लकड़ियों के बंडल को तोड़ना आसान नहीं है.. कई मुश्किलें ऐसी होती हैं जिन्हें अकेले से ज़्यादा कई लोग मिलकर हल कर सकते हैं. जी हाँ यही है एकता की ताकत. इसी ताकत को आप तक पहुंचा रहे हैं हम अपने कार्यक्रम बदलाब का आगाज़ के ज़रिये, इसमें 16 दिनों तक बातें होंगी हिंसा के खिलाफ सक्रियता को लेकर।

कोई सोच नहीं सकता की कैसा महसूस होता है, जब कोई हमारे विश्वास हमारे सम्मान हमारे जीवन के साथ छल करता है। कैसा होता है वो दर्द जो की किसी ऐसे इंसान द्वारा हमें दिया जाता है। जिस पर हम सबसे ज्यादा विश्वास करते हैं। दोस्तों,16 दिनों के हमारे ख़ास अभियान बदलाव का आगाज में हम आज एक महिला की कहानी आपके साथ साझा कर रहे हैं, जिसने अपनी जानकारी को ना सिर्फ बढ़ाया, बल्कि खुद के लिए आवाज उठाई। साथियों ये कहानी तो आपने सुन ली पर इसके जैसी बहुत सी कहानियाँ हमारे आपके घरों के आस-पास अभी भी घटित हो रही हैं। जिनका बहार आना बहुत जरूरी है। तो चलिए फिर उन कहानियों को इस मंच पर रिकॉर्ड करते हैं और कदम बढ़ाते हैं बदलाव की ओर मोबाइल वाणी के साथ।

नमस्कार दोस्तों, स्वागत है आपका मोबाइल वाणी मंच पर | जहाँ हम शुरू कर रहे है बदलाव का आगाज़, यानी की बदलाव का पहला कदम | बस वो पहला कदम कब, कैसे और क्यों उठे, ये समझने के लिए बातचीत करने आये है हम | पूरी दुनिया में लोग हिंसा के खिलाफ सक्रियता को लेकर अभियान चला रहे है | चर्चा कर रहे है, बात कर रहे है | तो मोबाइल वाणी पर हम उनसे बात करेंगे जिन्होंने हिंसा के खिलाफ आवाज़ उठाई, सवाल किये,संघर्ष किया, कभी पूरा जीते तो कभी थोड़ा। दोस्तों, आइए इन 16 दिनों में हम और आप मिलकर बदलाव की इबादत लिखें.. कदम बढ़ाये एक बेहतर कल की ओर.. एक ऐसा समाज बनाने में अपनी भूमिका निभाएं जहां लोग रंग रूप, अमीर गरीब, महिला पुरुष या किसी भी लिंग पर गौर किए बिना एक साथ खुशी से जीवन जिएं..

ये लिंग का भेद जिस दिन समाज से जायेगा, तब यहाँ रहने वाले हर एक लोग इंसान कहलाएगा।बदलाव के इस खूबसूरत सफर में आप भी हिस्सा लें लिंग और जेंडर के नाम पर होने वाले भेद-भाव और हिंसा पर अगर आपकी भी कोई कहानी है, तो देर मत कीजिये अपनी आवाज बुलंद कीजिये और अभी रिकॉर्ड कीजिये मोबाइल वाणी के साथ।