सीतापुर के सकरन ब्लाक के ग्राम नकैला से तहसील, कोतवाली व लहरपुर के गेरुहा सम्पर्क मार्ग की हालत खराब होने से नाराज ग्रामीण हुए इकट्ठा। सम्पर्क मार्ग को पक्की सड़क बनाने की मांग करने लगे। पक्की सड़क नहीं बनी तो मतदान का बहिष्कार करेंगे ग्रामीण। भारी भीड़ इकट्ठी होती देख स्थानीय पुलिस ने मौके पर पहुंचकर स्थिति का जायजा लिया और सम्बंधित को पूरे मामले से अवगत कराया।
सीतापुर। कोहरा, गलन व बर्फीली हवा का प्रकोप लगातार बना हुआ है। शनिवार को भी सर्दी के तेवर बेहद तल्ख रहे। गलन इस कदर कि लोगों के हाथ-पैर सुन्न हो रहे हैं। भीषण ठंड के आगे धूप बेअसर रही। राहत के लिए दिनभर लोग हीटर व अलाव के आसपास सिमटे नजर आए। दिन का न्यूनतम तापमान पांच डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। पारे में उतार-चढ़ाव के साथ कोहरे व गलन का असर अभी बना रहेगा। पहाड़ों पर बर्फबारी के असर से जिले में सर्दी लगातार कहर बरपा रही है। शनिवार को सुबह घने कोहरे से लिपटी रही। ठंडी हवाओं से लोग ठिठुरने को मजबूर हो गए। कोहरे से दृश्यता घटने के कारण हाईवे पर वाहनों की आवाजाही बेहद कम रही। हाईवे पर जो वाहन निकल रहे थे, हेडलाइट जलाने के बाद भी धीमी गति से चलते दिखाई दिए। दोपहर एक बजे तक सूर्यदेव ने दर्शन नहीं दिए। फिर सूरज ने हाजिरी लगाई पर छह किमी प्रति घंटे की गति से चलने वाली शीतलहर के आगे धूप बेअसर रही। गलन की वजह से पूरे दिन लोगों के हाथ-पैर सुन्न होते रहे।
सीतापुर। जिले में कड़ाके की ठंड से जनजीवन प्रभावित रहा। सुबह घने कोहरे के कारण दृश्यता 50 मीटर रही। इससे वाहनों की रफ्तार थम गई। हाईवे पर चल रहे इक्का-दुक्का वाहन भी हेडलाइट जलाने के बाद रेंगते नजर आए। बर्फीली हवाओं ने ऐसा सितम ढाया कि न्यूनतम तापमान लुढ़ककर चार डिग्री सेल्सियस पर पहुंच गया। इससे कंपकंपी बढ़ गई। हर कोई हीटर व अलाव के इर्द-गिर्द सिमटा नजर आया। दिनभर सूरज के दर्शन पाने को लोग तरसते रहे। सीजन का सबसे ठंडा दिन रहा। सर्दी के सितम से राहत के आसार फिलहाल नहीं हैं। बृहस्पतिवार को लोग सुबह उठे तो गलन व कोहरे के प्रकोप से उनका सामना हुआ। सुबह साढ़े नौ बजे दृश्यता 50 मीटर दर्ज की गई। घने कोहरे के कारण वाहन चालकों को भारी परेशानी झेलनी पड़ी। सड़कों पर वाहन काफी धीमी गति से रेंगते रहे। हवा चलने से दोपहर तक कोहरा छट गया मगर सूरज के दर्शन दुर्लभ हो गए। दिनभर चली बर्फीली हवाओं ने खूब सितम ढाया।
सीतापुर। घने कोहरे व गलन के कारण माध्यमिक विद्यालयों के समय में बदलाव कर दिया गया है। कक्षा नौ से 12 तक के स्कूल अब सुबह 10 बजे से खुलेंगे। सर्दी के तेवर बृहस्पतिवार को और तल्ख हो गए। पहाड़ों से आने वाली बर्फीली हवा के चलते गलन का प्रकोप जारी है। धूप नहीं खिलने व शीतलहर के चलते दिन भर लोगों की कंपकंपी छूटती रही। दिन का न्यूनतम पारा 9 डिग्री दर्ज किया गया। पिछले दिनों की तरह सुबह भी कोहरे में लिपटी रही। सुबह के समय दृश्यता 500 मीटर से भी कम रही। हाईवे पर हेडलाइट जलाने के बाद भी वाहन रेंगते नजर आए। ठिठुरन से लोग परेशान रहे। राहत पाने के लिए लोग अलाव के पास सिमटे नजर आए। बुधवार के मुकाबले बृहस्पतिवार को सर्द हवा की गति दो किमी. प्रति घंटा ज्यादा रही। आठ किमी. प्रति घंटे की रफ्तार से चली बर्फीली हवा ने ठिठुरन बढ़ा दी।
जनपद सीतापुर में लगातार कोहरा पड़ रहा है जिसके चलते वाहनों की रफ्तार भी काम पड़ी है लगातार पारा लुढ़क रहा है
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सीतापुर। भीषण ठंड में शेल्टर होम तक पहुंचने के लिए जरूरतमंदों को चिंता करने की आवश्यकता नहीं है। नगर पालिका इस बार मुसाफिरों को ई-रिक्शा के माध्यम से शेल्टर होम तक पहुंचाएगा। इसके बदले मुसाफिरों से कोई शुल्क नहीं लिया जाएगा। नगरपालिका ने इसके लिए टोल फ्री नंबर जारी कर दिया है। यह व्यवस्था तत्काल प्रभाव से शुरू कर दी गई है। ठंड में लोगों को बचाने के लिए नगरपालिका ने शहर में चार रैन बसेरे बनाए हैं। साथ ही कोट कजियारा मोहल्ला में स्थाई रैन बसेरा बनाया गया है। इस बार लोगों को रैन बसेरे तक पहुंचने के लिए कोई परेशानी नहीं उठानी पड़ेगी। स्थाई रैन बसेरा कोट कजियारा मोहल्ले के अंदर होने से वहां पर रात में आने-जाने में दिक्कत होती थी। अब यह समस्या दूर हो गई है। नगरपालिका ने इसके लिए एक ई-रिक्शा चलवाया है। इस ई-रिक्शा के पीछे एक मोबाइल नंबर प्रदर्शित किया गया है। इस नंबर पर कॉल करने पर ई रिक्शा जरूरतमंद को रैन बसेरे तक पहुंचाएगा। यह ई-रिक्शा रोडवेज बस स्टेशन व रेलवे स्टेशन के पास मौजूद रहेगा।
सीतापुर। पहाड़ों पर बर्फबारी से हवा में ठंड घुलने लगी है। तेज सर्द पछुआ हवाओं के असर से सर्दी बढ़ती जा रही है। पिछले चार दिनों में रात का पारा छह डिग्री लुढ़क गया। शाम ढलते ही ठंड बढ़ने से सड़कों पर सन्नाटा पसरने लगा है। इसके बावजूद प्रशासन की ओर से अब तक न रैन बसेरे शुरू किए गए हैं और न ही अलाव की व्यवस्था हो सकी है। रविवार को दिन में 11 किमी प्रति घंटे की गति से सर्द हवाएं चलीं। इससे धूप के बीच भी सिहरन का अहसास हुआ। मौसम विशेषज्ञों के अनुसार रविवार को अधिकतम तापमान 24 डिग्री व न्यूनतम तापमान 8 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया। उधर, रात में गलन शुरू होने के बाद भी रैन बसेरों व अलाव की व्यवस्था नहीं की जा सकी है। पिछले साल शहर के लालबाग चौराहे, जीआईसी व रोडवेज बस स्टैंड पर रैन बसेरे की व्यवस्था कराई थी। इन रैन बसेरों में काफी संख्या में लोग रातें गुजारते थे। वहीं सभी तहसीलों पर भी रैन बसेरों बने थे, लेकिन इस वर्ष दिसंबर के दूसरे सप्ताह तक भी रैन बसेरे शुरू नहीं हो सके हैं।
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