आज की कड़ी में हम सुनेंगे डिजिटल पेमेंट से जुड़ी बातें। आप डिजिटल पेमेंट का उपयोग करते हैं या नहीं और आपको ऐप से पैसों का लेन देन करना कैसा लगता है ? हमारे साथ अपने अनुभव और विचार जरूर साझा करें

पिछले 10 सालों में गेहूं की एमएसपी में महज 800 रुपये की वृद्धि हुई है वहीं धान में 823 रुपये की वृद्धि हुई है। सरकार की तरफ से 24 फसलों को ही एमएसपी में शामिल किया गया है। जबकि इसका बड़ा हिस्सा धान और गेहूं के हिस्से में जाता है, यह हाल तब है जबकि महज कुछ प्रतिशत बड़े किसान ही अपनी फसल एमएसपी पर बेच पाते हैं। एक और आंकड़ा है जो इसकी वास्तविक स्थिति को बेहतर ढ़ंग से बंया करत है, 2013-14 में एक आम परिवार की मासिक 6426 रुपये थी, जबकि 2018-19 में यह बढ़कर 10218 रुपये हो गई। उसके बाद से सरकार ने आंकड़े जारी करना ही बंद कर दिए इससे पता लगाना मुश्किल है कि वास्तवितक स्थिति क्या है। दोस्तों आपको सरकार के दावें कितने सच लगते हैं। क्या आप भी मानते हैं कि देश में गरीबी कम हुई है? क्या आपको अपने आसपास गरीब लोग नहीं दिखते हैं, क्या आपके खुद के घर का खर्च बिना सोचे बिचारे पूरे हो जाते हैं? इन सब सरकारी बातों का सच क्या है बताइये ग्रामवाणी पर अपनी राय को रिकॉर्ड करके

सुनिए एक प्यारी सी कहानी। इन कहानियों की मदद से आप अपने बच्चों की बोलने, सीखने और जानने की क्षमता बढ़ा सकते है। ये कहानी आपको कैसी लगी? क्या आपके बच्चे ने ये कहानी सुनी? इस कहानी से उसने कुछ सीखा? अगर आपके पास भी है कोई मज़ेदार कहानी, तो रिकॉर्ड करें फ़ोन में नंबर 3 का बटन दबाकर।

किसान नेताओं ने केंद्र सरकार पर आरोप लगाए।

किसानों को पीएम किसान सम्मान योजना की 16वीं किस्त जारी।

लगातार कोर्ट द्वारा टीले वाली मस्जिद पर विवाद चल रहा है

उत्तरप्रदेश राज्य के जिला लखीमपुर खेरी से साकेत कुमार पांडेय , मोबाइल वाणी के माध्यम से यह बताना चाहते है कि कांग्रेस ने कहा है कि लोकतंत्र में आम जनता को अपनी पसंद की सरकार चुनने का अधिकार है । हिमाचल प्रदेश के लोगों ने इस अधिकार का प्रयोग किया है । इसने ऐसा किया है और स्पष्ट बहुमत के साथ कांग्रेस की सरकार बनाई है , लेकिन भाजपा धन शक्ति एजेंसियों और केंद्र की शक्ति का दुरुपयोग करके हिमाचल के लोगों के इस अधिकार को कुचलना चाहती है । इस उद्देश्य के लिए , पच्चीस विधायकों वाली पार्टी विभिन्न रणनीति अपना रही है । अगर तैंतीस विधायकों के बहुमत को चुनौती दी जा रही है , तो प्रतिनिधियों का क्या मतलब है ?

Lakhimpur Kheri News: मेडिकल कॉलेज में कक्षाएं तो शुरू हो जाएंगी... इलाज नहीं

Lakhimpur Kheri: इस बार बटाईदार भी सरकारी केंद्रों पर बेच सकेंगे गेहूं, एक मार्च से शुरू हो रही खरीद

लखीमपुर मंडी में मोटे अनाज के दाम