जोधपुर से उषा सोलंकी का कहना है की उन्होंने ने सुरक्षा सखी ट्रेनिंग/ मीटिंग में भाग लिया है, अपने एरिया के कई लड़कियों के इसके बारे में बताया, स्कूल न जाने वाले बच्चो से मिली उन्हें इस नंबर के बारे में जानकारी दिया, और उन्हें आगे की पढ़ाई के लिए समझाया, बाल मजदूरी करने वाले बच्चो (जो दुसरो के घरो में जाकर झाड़ू पोछा करती है) से जाकर मिली उन्हें भी समझाया है, सुरक्षा वाणी का यह मंच बहुत अच्छा है और हमें ख़ुशी है की मै इसका हिस्सा हूँ.