दोस्तों, हम पुरानी परम्परा रही है कि किसी भी नवजात शिशु को 6 दिन तक किसी अन्य व्यक्ति के हाथ में नहीं दिया जाता. ताकि गंदे हाथों की वजह से उसे संक्रमण न हो जाए. साथ ही लोगों को हिदायत दी जाती है कि बच्चे को गोद में लेने से पहले हाथ जरुर साबुन से साफ करें. पर कई बार देखा जाता है कि लोग इस नसीहत को गंभीरता से नहीं लेते. कोरोना के दौरान भी तो यही हुआ...! घर की महिलाओं और नवजात शिशुओं की मांओं के लिए हाथ धोना क्यों जरूरी है, इस बारे में आज राजू और पंकज के साथ साथ आप भी जान लें...!

अंजू ग़ाज़ीपुर स्वास्थ सहायक वाणी के माध्यम से कह रहीं हैं कि, देवकुली ब्लॉक में आशा कार्यकर्ता द्वारा किशोरियों को माहवारी स्वच्छता प्रबंधन के सम्बन्ध में किसी भी तरह की जानकारी नहीं दी जा रही थी। लेकिन जब से स्वास्थ सहायक वाणी चला है तब से आशा कार्यकर्ता किशोरियों को निजी साफ़ सफाई तथा सेनेटरी नैपकिन के इस्तेमाल की जानकारी दे रहीं हैं

दोस्तों, हाथ धोते रहने का कोई निश्चित समय नहीं है पर जब भी हाथ गंदे दिखते हैं हाथ धो लिया करो. इसके अलावा खाना बनाने से पहले और बाद में, खाना खाने से पहले और बाद में, घर पर किसी ऐसे व्यक्ति की देखभाल करने से पहले और बाद में जो उल्टी या दस्त से बीमार है. कट या घाव का इलाज करने से पहले और बाद में. शौचालय का उपयोग करने के बाद. और ज्यादा जानने के लिए इस ऑडियो को क्लिक करें.

उत्तरप्रदेश राज्य के ग़ाज़ीपुर जिला से संगीता ग़ाज़ीपुर स्वास्थय सहायक वाणी के माध्यम से बताना चाहती है की, इन्हे आवास योजना, शौचालय किसी भी सरकारी योजना का लाभ नहीं मिला है। इसके लिए इन्हे सहायता चाहिए

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श्रोता सरस्वती वर्मा ने ग़ाज़ीपुर स्वास्थ्य सहायक वाणी के माध्यम से बताया कि उन्हें शौचालय और आवास योजना का लाभ नहीं मिला है

हमारी श्रोता गंगा ग़ाज़ीपुर स्वास्थ्य सहायक वाणी के माध्यम से बताती हैं कि उन्हें शौचालय और आवास योजना का लाभ नहीं मिला है

दोस्तों, संयुक्त राष्ट्र, हमारी सरकार और कई स्वयंसेवी संगठन इसी कोशिश में लगे हुए हैं कि देश के ज्यादा से ज्यादा लोग कोविड बचाव टीके की दोनों खुराकें ले लें! ताकि संक्रमण के खतरे को कम किया जा सकते. लेकिन टीका लेने के बाद लोग कोविड संक्रमण से बचाव के प्रति लापरवाह हो जाते हैं और फिर होते हैं कोरोना का शिकार! पर अगर ठीक से देखभाल की जाए तो संक्रमित व्यक्ति जल्दी ही स्वस्थ हो जाता है... कैसे? आइए जानते हैं कार्यक्रम वेरीफाइड की इस कड़ी में...

दोस्तों, सही जानकारी ना हो तो कितनी परेशानी हो जाती है... अभी सुना ना आपने. इसलिए तो कहते हैं कि हर बात को वेरीफाइ जरूर करें. खैर अब आप बताएं कि अगर आपके घर में या आसपास कोई कोरोना संक्रमित हो तो उसकी मदद कैसे करेंगे? संक्रमित व्यक्ति से संक्रमण दूसरों में ना फैले इस​के लिए कौन कौन सी सावधानियां रखनी चाहिए? अगर आपके आसपास कोई कोरोना संक्रमित व्यक्ति है तो उसके साथ सभी का व्यवहार कैसा है? अपनी बात हम तक पहुंचाने के लिए फोन में अभी दबाएं नम्बर 3.

दोस्तों, कोरोना का खतरा अब पहले जैसा नहीं है. लोग अस्पताल कम पहुंच रहे हैं पर इसका मतलब ये नहीं कि कोरोना जड़ से खत्म हो गया है और खतरा अभी टला नहीं....! अगर आप भी कोरोना को हल्के में ले रहे हैं तो जरा हमारे राजू और पंकज से सबक ले लीजिए..!